नई दिल्ली: देश की राजधानी दिल्ली में बढ़ते चेन स्नेचिंग के मामलों को देखते हुए दिल्ली महिला आयोग ने गृहमंत्री को एक पत्र लिखा है. जिसमें उन्होंने मांग की है कि स्नेचिंग के जिस तरीके के मामले बढ़ते हैं. उस पर जल्द से जल्द अंकुश लगाया जाए. साथ ही कानून में बदलाव भी किया जाए. महिला आयोग का कहना है कि शहर में बढ़ते चेन स्नैचिंग के मामलों में महिला की सुरक्षा एक गंभीर खतरा बनी हुई है.
महिला आयोग ने दिल्ली पुलिस के रिकॉर्ड का हवाला देते हुए कहा कि पिछले 5 सालों में चैन स्नैचिंग के मामलों में 413% की बढ़ोतरी हुई है. हर महीने चेन स्नैचिंग के औसतन 18 मामले सामने आते हैं. चेन स्नैचिंग की घटनाएं छेड़खानी, हिंसा को मुख्य रूप से जोड़ती है. इस तरह के अपराध बड़ी संख्या में सामने आने के बावजूद पुलिस केवल कुछ ही अपराधियों को गिरफ्तार कर पाई है. इस मामले में सजा होने की दर लगभग ना के बराबर है.
महिला आयोग का सुझाव
महिला आयोग का कहना है कि ऐसे मामलों में अपराध को रोकने के लिए डर एक महत्वपूर्ण कारण है. इसलिए महिला आयोग ने दूसरे राज्यों के अपनाए गए तरीकों को अपनाने का सुझाव इस पत्र में गृह मंत्री को दिया है.उनका कहना है कि पंजाब और हरियाणा राज्य में भी इन अपराधों का परिवर्तन किया गया है.जिसमें इसे गैर जमानती आपराध की श्रेणी में रखा गया है. इस बाबत दिल्ली में भी बढ़ते चेन स्नैचिंग के मामलों पर शिकंजा कसा जाए. जिससे कि महिलाएं सुरक्षित रह सके.
गृहमंत्री से अपील
दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने कहा कि दिल्ली की सड़कों पर महिलाओं का सुरक्षित होना मुश्किल होता जा रहा है. सभी क्षेत्रों से रोजाना चैन स्नैचिंग, मोबाइल झपटमारी की घटनाएं सामने आ रही है.स्नेचिंग के दौरान हमले और छेड़खानी की घटनाएं भी होती हैं.
कई बार महिलाएं और लड़कियों को गंभीर चोटें लग जाती हैं. उन्होंने कहा कि हमें इस अपराध की रोकथाम के लिए कानून में बदलाव करना होगा और अन्य कड़े कदम उठाने होंगे.उनका कहना है कि मैं अपील करती हूं कि गृहमंत्री राजनाथ सिंह महिलाओं की सुरक्षा को देखते हुए इस मामले को प्राथमिकता दें.