हैदराबाद : असम विधानसभा चुनाव के तीसरे और आखिरी चरण के लिए 6 अप्रैल को मतदान होगा. अंतिम चरण में 40 सीटों पर वोट डाले जाएंगे. इससे पहले असम में हुए दो चरणों में 47 और 39 सीटों पर मतदान हुआ था.
तीसरे चरण पर एक नज़र
असम में तीसरे और अंतिम चरण में 40 सीटों पर वोटिंग होगी इनमें से 2 सीटें अनुसूचित जाति और 6 सीटें अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं. तीसरे चरण में कुल 337 उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं. तीसरे चरण में 29 सियासी दलों के 212 उम्मीदवार चुनाव मैदान में है जबकि 125 उम्मीदवार आजाद प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लड़ रहे हैं.
आखिरी चरण में 79,19,641 वोटर्स अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे. जिनमें 40 लाख से ज्यादा पुरुष और 39 लाख से ज्यादा महिला मतदाता हैं. इस बार 139 थर्ड जेंडर वोटर भी वोट डालेंगे. मतदान के लिए इन 40 विधानसभा क्षेत्रों में कुल 11,401 मतदान केंद्र बनाए गए हैं.
राजनीतिक दलों की बात करें तो 40 सीटों में से कांग्रेस ने 24, असम जातीय परिषद ने 22, बीजेपी ने 20, जेडीयू ने 19, एजीपी ने 13, एआईयूडीएफ ने 12, आरपीआई(ए) ने 11, वोटर्स पार्टी इंटरनेशनल ने 11, तृणमूल कांग्रेस ने 10 सीटों पर उम्मीदवार उतारे हैं. इसके अलावा अन्य 20 राजनीतिक दलों ने भी अपने उम्मीदवार अलग-अलग सीटों से उतारे हैं.
इस चरण में 25 महिला उम्मीदवार भी चुनाव मैदान में हैं. जिनमें से बीजेपी ने 2, कांग्रेस ने 3, एजेपी ने 2, एआईयूडीएफ ने 1, एजीपी ने 1 और अन्य दलों ने कुल 9 महिलाओं को टिकट दिया है. निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में भी 7 महिलाएं चुनाव मैदान में हैं.
अंतिम चरण के दागी उम्मीदवार
अंतिम चरण में कुल 337 में से 60 प्रत्याशियों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं जबकि 45 उम्मीदवारों के खिलाफ गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं.
कांग्रेस के 24 में से 14 उम्मीदवारों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं. जबक एआईयूडीएफ से 12 में से 5, बीजेपी के 20 में से 5, बोडोलैंड पीपुल्स फ्रंट के 8 में से 2, जेडीयू के 19 में से 2 प्रत्याशियों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं. असम गण परिषद और असम जातीय परिषद का भी एक-एक उम्मीदवार इसी श्रेणी में शामिल है.
वहीं गंभीर आपराधिक मामले भी सबसे अधिक कांग्रेस उम्मीदवारों के खिलाफ ही दर्ज हैं. कांग्रेस के 13, एआईयूडीएफ के 4, बीजेपी के 4, असम गण परिषद का एक और असम जातीय परिषद के एक उम्मीदवार पर गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं.
6 उम्मीदवारों के खिलाफ महिलाओं के खिलाफ अपराध, 3 प्रत्याशियों के खिलाफ हत्या और 5 के खिलाफ हत्या की कोशिश की धाराओं के तहत मामला दर्ज है.
अंतिम चरण के करोड़पति उम्मीदवार
अंतिम चरण के कुल 337 उम्मीदवारों में से 90 उम्मीदवार करोड़पति हैं, यानि कुल उम्मीदवारों में से 27 फीसदी उम्मीदवार करोड़पति हैं. इनमें से 10 असम गण परिषद, 13 बीजेपी, 15 कांग्रेस, 5 बोडोलैंड पीपुल्स फ्रंट, 6 एआईयूडीएफ और 10 असम जातीय परिषद के उम्मीदवार हैं. 22 निर्दलीय उम्मीदवार और 9 अन्य दलों के करोड़पति उम्मीदवार भी चुनाव मैदान में हैं.
कुल 25 उम्मीदवार ऐसे हैं जिनकी संपत्ति 5 करोड़ या उससे अधिक है. 38 उम्मीदवारों की संपत्ति 2 करोड़ से 5 करोड़ के बीच है. वहीं 72 उम्मीदवारों के पास 50 लाख से 2 करोड़ रुपये तक की संपत्ति है. 10 लाख से 50 लाख तक की संपत्ति 102 उम्मीदवारों के पास है. जबकि 100 उम्मीदवार ऐसे है जिनकी कुल संपत्ति 10 लाख से कम है.
कोकराझार पश्चिम से युनाइटेड पीपुल्स पार्टी लिब्रल के उम्मीदवार मनोरंजन ब्रह्म सबसे अमीर उम्मीदवार हैं जिनकी कुल संपत्ति 268 करोड़ से अधिक है. वहीं बोंगईगांव सीट से वोटर्स पार्टी इंटरनेशनल के सबेन्द्र बसुमतारी की संपत्ति सबसे कम है. सबेन्द्र की कुल संपत्ति 2500 रुपये की है.
कितने पढ़े लिखे हैं प्रत्याशी
असम विधानसभा चुनाव के अंतिम चरण में जो 337 उम्मीदवार चुनावी मैदान में ताल ठोक रहे हैं उनमें से 132 उम्मीदवारों की शैक्षणिक योग्यता 5वीं से 12वीं तक है. वहीं 199 उम्मीदवार ग्रेजुएट या उससे अधिक पढ़े लिखे हैं. 4 उम्मीदवार डिप्लोमा होल्डर हैं जबकि 1 उम्मीदवार सिर्फ शिक्षित और 1 उम्मीदवार अशिक्षित है.
कुल 337 में से 2 उम्मीदवार सिर्फ 5वीं पास हैं जबकि 19 उम्मीदवार 8वीं पास. इसके अलावा 44 उम्मीदवार 10वीं पास, 67 उम्मीदवार 12वीं पास, 105 उम्मीदवार ग्रेजुएट, 23 उम्मीदवार ग्रेजुएट प्रोफेशनल, 63 उम्मीदवार पोस्ट ग्रेजुएट और 8 उम्मीदवार डॉक्टरेट हैं.
उम्मीदवारों की उम्र
तीसरे चरण में 104 उम्मीदवारों की उम्र 25 से 40 साल के बीच है जबकि 191 उम्मीदवार 41 से 60 साल के बीच हैं. वहीं 42 उम्मीदवारों की उम्र 61 से 80 साल के बीचे है.
इस चरण में 32 युवा उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं जिनकी उम्र 25 से 30 साल के बीच है. वहीं 6 उम्मीदवार ऐसे भी हैं जिनकी उम्र 71 से 80 साल के बीच है.
इन चेहरों की साख दांव पर
प्रमिला रानी ब्रह्म- बोडो नेता प्रमिला रानी साल 2016 में सर्बानंद सोनोवाल की सरकार में मंत्री बनी. इससे पहले वो गोगोई सरकार सरकार में भी मंत्री रह चुकी हैं. बीपीएफ की टिकट पर कोकराझार पूर्व से चुनाव मैदान में हैं.
फणी भूषण चौधरी- वो एक ही सीट से रिकॉर्ड 7वीं बार लगातार असम विधानसभा पहुंच चुके हैं. साल 1985 से बोंगाईगांव विधानसभा सीट का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं. इस बार भी असम गण परिषद की टिकट पर वहीं से चुनाव मैदान में हैं.
रंजीत कुमार दास- भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष रंजीत कुमार दास पटाचारकुची सीट से ताल ठोक रहे हैं.
कल्पना पटवारी- प्ले बैक और लोक गायक कल्पना को एजीपी ने सरुखेत्री से चुनाव लड़ रही हैं.
रेकिबुद्दिन अहमद- कांग्रेस के वरिष्ठ विधायक हैं और इस बार चायगांव से चुनाव मैदान में हैं.
हेमंत बिस्वा सर्मा- नॉर्थ ईस्ट में बीजेपी का चेहरा हैं और असम सरकार में मंत्री हैं. उत्तर पूर्व में बीजेपी का परचम लहराने का श्रेय इन्हें दिया जाता है. जालुकबाड़ी सीट से चुनाव लड़ रहे हैं.
अतुल बोरा- वरिष्ठ नेता अतुल बोरा को बीजेपी ने दिसपुर सीट से मैदान में उतारा है.
सिद्धार्थ भट्टाचार्य- असम सरकार के शिक्षा मंत्री हैं और गुवाहाटी पूर्व से चुनाव लड़ रहे हैं.
अदीप कुमार फूकन- अदीप कुमार फूकन असम के क्षेत्रीय आंदोलनों का चेहरा रहे हैं और गुवाहाटी पूर्व से असम गण परिषद के उम्मीदवार हैं.
मीरा बोरठाकुर गोस्वामी- बीजेपी में रही मीरा बोरठाकुर ने कांग्रेस का हाथ थामा और कांग्रेस की टिकट पर गुवाहाटी पश्चिम सीट से चुनाव मैदान में हैं.
रामेंद्र नारायण कलिता- 1985 से 1996 और 2006, 2016 में गुवाहाटी पश्चिम सीट पर जीत हासिल की. इस बार भी उसी सीट से असम गणपरिषद के उम्मीदवार हैं.
चंद्र मोहन पटवारी- धर्मापुर विधानसभा सीट से 5 बार विधानसभा पहुंच चुके हैं. 2006 से 2011 तक नेता विपक्ष भी रहे. मौजूदा विधायक हैं और बीजेपी की टिकट पर फिर से धर्मापुर से चुनाव मैदान में हैं.
श्री नब कुमार सरन्या- लोक सभा सदस्य हैं और असम में सबसे ज्यादा वोटों के अंतर से जीतने का रिकॉर्ड इनके नाम है. इसके अलावा लोकसभा चुनाव में निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में भी सबसे बड़ी जीत इन्हीं के नाम है. इस बार भी निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में बरामा सीट से चुनाव मैदान में हैं.