नई दिल्ली : रूस जब यूक्रेन के खारकीव में गोले बरसा रहा था, तब वहां के स्थानीय लोग भी जान बचाकर भाग रहे थे. मगर भारत से गए छात्र ऋषभ कौशिक ने ऐसे हालात में भी लौटने से मना कर दिया क्योंकि उसे अपने पालतू डॉगी को लाने की इजाजत नहीं मिली थी. काफी जेद्दोजेहद के बाद देहरादून निवासी ऋषभ कौशिक अपने पालतू कुत्ते मालिबू के साथ शुक्रवार सुबह बुडापेस्ट (हंगरी) के रास्ते भारत पहुंच गए.
कौशिक खारकीव नेशनल यूनिवर्सिटी ऑफ रेडियो इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग में सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहे हैं. कुछ दिन पहले ऋषभ ने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो पोस्ट किया था और अपने पालतू डॉगी को साथ में लाने की इजाजत मांगी थी. इस वीडियो में उन्होंने डॉगी के साथ लाने में आ रही कठिनाइयों के बारे में बताते हुए भारत सरकार से एनओसी देने का आग्रह किया था.
उनके वीडियो के वायरल होने के बाद पीपल फॉर द एथिकल ट्रीटमेंट ऑफ एनिमल्स (PETA) ने भारत सरकार से पालतू जानवरों को उड़ानों में साथ ले जाने की अनुमति देने की अपील की थी. इसके बाद मंगलवार को भारत सरकार ने युद्ध प्रभावित यूक्रेन से निकाले जा रहे भारतीयों के साथ-साथ पालतू कुत्तों और बिल्लियों को वापस लाने का आदेश जारी कर दिया.
ऋषभ कौशिक ने बताया कि पालतू पशुओं को लाने के लिए उन्हें लंबी कागजी कार्रवाई करनी पड़ी. युद्ध जैसी स्थिति में पशुओं को लाने की अनुमति होनी चाहिए. अब पालतू पशुओं को बिना एनओसी भी लाने की इजाजत मिल गई है.
बता दें कि युद्ध से गुजर रहे यूक्रेन में फंसे 219 भारतीयों को लेकर लेकर हंगरी से एक विशेष उड़ान शुक्रवार को दिल्ली पहुंची. ऋषभ इसी फ्लाइट से भारत लौटे. ऑपरेशन गंगा के तहत इंडिगो की विशेष उड़ान गुरुवार को हंगरी की राजधानी बुडापेस्ट से रवाना हुई थी. दिल्ली पहुंचने पर गृह राज्य मंत्री निशिथ प्रमाणिक ने इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर भारतीय छात्रों का स्वागत किया और उनसे बातचीत भी की.
गौरतलब है कि यूक्रेन में फंसे भारतीयों को स्वदेश लाने के लिए विदेश मंत्रालय ने नागरिक उड्डयन मंत्रालय के साथ ऑपरेशन गंगा चला रही है. विदेश मंत्रालय ने कहा कि अगले दो दिनों में विशेष उड़ानों के माध्यम से 7,400 से अधिक भारतीय वापस आ जाएंगे. शुक्रवार को 3,500 और 5 मार्च को 3,900 से अधिक लोगों को वापस लाए जाने की उम्मीद है.
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