तिरुवनंतपुरम : केरल अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (आईएफएफके) को इस साल फरवरी-मार्च में राजधानी तिरुवनंतपुरम के अलावा तीन अन्य स्थानों पर भी आयोजित करने के एलडीएफ सरकार के फैसले को लेकर विवाद उत्पन्न हो गया है. तिरुवनंतपुरम के कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने फैसले को निंदनीय करार दिया है.
उल्लेखनीय है कि राज्य के संस्कृति मामलों के मंत्री एके बालन ने नए साल के अवसर पर घोषणा की थी कि यह महोत्सव कोविड-19 नियमों के तहत भीड़ से बचने के लिए चार स्थानों - तिरुवनंतपुरम, एर्नाकुलम, थालसेरी और पालक्कड़- में आयोजित किया जाएगा.
इस फैसले का विरोध करते हुए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर ने कहा, 'यह केरल के मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से निंदनीय कदम है.'
थरूर ने ट्वीट किया कि तिरुवनंतपुरम न केवल आईएफएफके को बेहतर स्थान मुहैया कराता है, बल्कि परंपरा, सुविधा और इन सबसे बढ़कर फिल्मों की जानकारी रखने वाली आबादी मुहैया उपलब्ध कराता है.
उन्होंने कहा, 'यह वह स्थान है जहां सेनेगल की फिल्में भी लोगों को आकर्षित करती हैं.
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महोत्सव के आयोजक, चलचित्र अकादमी के अध्यक्ष कमल ने कहा कि यह फैसला केवल कोविड-19 की वजह से उत्पन्न स्थिति के कारण लिया गया. प्रतिष्ठित फिल्मकार कमल ने कहा कि बेवजह विवाद उत्पन्न किया जा रहा है, यह अस्थायी व्यवस्था है.
सबसे पहले यह मुद्दा उठाने वाले कांग्रेस विधायक केएस सबरीनाथ ने कहा कि सभी कोविड-19 नियमों का पालन करते हुए इसे तिरुवनंतपुरम में ही आयोजित किया जाना चाहिए.