भोपाल। राजधानी भोपाल सहित प्रदेश के 8 जिलों में पेट्रोल-डीज़ल का संकट गहरा गया है. दरअसल, रिलायंस पेट्रोलियम द्वारा हिंदुस्तान पेट्रोलियम (HPCL) को पेट्रोल और डीज़ल नहीं दिया जा रहा है, इसके पीछे की वजह रिलायंस को लग रहा घाटा है. केंद्र सरकार द्वारा एक्साइज ड्यूटी घटाने और राज्य सरकारों के पेट्रोल और डीज़ल पर अधिभार कम किये जाने से मध्य प्रदेश में पेट्रोल और डीजल का संकट बढ़ रहा है.
रिलायंस ने HPCL को पेट्रोल और डीज़ल देना बंद किया: पेट्रोल पंप एसोसिएशन के अध्यक्ष अजय सिंह का कहना है कि- " मध्य प्रदेश के सात से आठ जिलों में और खास तौर से हिंदुस्तान पेट्रोलियम (Hindustan Petroleum Corporation Limited ) के पंपों पर 70 फ़ीसदी पेट्रोल और डीज़ल की कमी आ गई है, जिसके चलते यह पेट्रोल पंप फिलहाल बंद हो गए हैं.
पेट्रोल उत्पादक देशों ने तेल का उत्पादन प्रतिदिन बढ़ाया: भोपाल, होशंगाबाद ,सीहोर ,रायसेन, नरसिंहपुर, राजगढ़ के साथ लगे हुए जिलों में HPCL के पेट्रोल पंप बंद हो गए हैं. ये स्थिति तब बन गई है जब ओपेक, रूस समेत अन्य सहयोगी देशों के बीच कच्चे तेल का उत्पादन बढ़ाकर प्रतिदिन 6.48 लाख बैरल कर दिया गया है.
सरकार द्वारा पेट्रोल पर 8 रुपये और डीजल पर 6 रुपये एक्साइज ड्यूटी कम कर दी गई है. इसके बाद पेट्रोल 9.50 रुपये और डीजल 7 रुपये प्रति लीटर सस्ता हो गया है. पूरे मध्यप्रदेश में करीब 4,200 पेट्रोल पंप संचालित होते हैं, जिसमें से 145 के करीब भोपाल में हैं. मध्यप्रदेश में हर रोज 2.70 करोड़ लीटर पेट्रोल-डीजल की खपत होती है. भोपाल में हर रोज साढ़े 9 से 10 लाख लीटर पेट्रोल और 12 से 14 लाख लीटर डीजल की खपत होती है, लेकिन पेट्रोलियम डीलर्स का कहना है कि तेल कंपनियों ने पेट्रोल-डीजल की सप्लाई करीब 70% तक घटा दी है, जिससे लगभग 2000 से ज्यादा पंप सूख रहे हैं. ऐसी हालत रही तो प्रदेश में पेट्रोल डीज़ल की आपूर्ति ठप हो जाएगी.
अजय सिंह, अध्यक्ष, पेट्रोल पंप डीलर्स एसोसिएशन
(Reliance Petroleum stopped fuel supply to HPCL )(Petrol diesel crisis in 8 district of MP )(MP Fuel Crisis)