मुंबई : शिवसेना सांसद संजय राउत ने बुधवार को कहा कि कोविड-19 महामारी की दूसरी लहर के दौरान ऑक्सीजन की कमी से अपने परिजनों को खो देने वाले लोगों को केंद्र सरकार को अदालत में ले जाना चाहिए.
गौरतलब है कि केंद्र सरकार ने एक दिन पहले ही राज्यसभा को एक प्रश्न के लिखित उत्तर में बताया कि कोविड-19 महामारी की दूसरी लहर के दौरान राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों की ओर से ऑक्सीजन की कमी की वजह से किसी की मृत्यु होने के संबंध में कोई विशेष जानकारी नहीं दी गयी.
राउत ने सरकार के इस उत्तर पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, 'अनेक राज्यों में कई लोग ऑक्सीजन की कमी से मारे गये. जिन लोगों के रिश्तेदार ऑक्सीजन की कमी की वजह से मारे गये, उन्हें केंद्र सरकार को अदालत में ले जाना चाहिए.'
संजय राउत ने ईटीवी संवाददाता से बातचीत की, जिसमें ऑक्सीजन की कमी से मरने वाले लोगों के मुद्दे पर जब उनसे पूछा गया कि क्या आप इसपर सरकार से सवाल करेंगे ? तो इसके जवाब में उन्होंने कहा "ज़रूर करेंगे. हमें मालूम है ऑक्सीजन की कमी से कितनी मौतें हुईं हैं. महाराष्ट्र में नहीं हुई होगी, लेकिन बहुत से राज्यों में, उत्तर प्रदेश हो, बिहार हो, दिल्ली हो, उसके लिए मैं राज्य सरकार या केंद्र को ज़िम्मेदार नहीं बता रहा हूं. ये हुआ है और आने वाले दिनों में हमको उस पर ज़्यादा ध्यान देना चाहिए. ऐसा नहीं होना चाहिए. अगर दूसरी लहर का डर हमें लगता है तो ऑक्सीजन की जो कमी थी, वो दूर होनी चाहिए. अभी देखिए सरकार ने कल हमें आश्वासन दिया है कि देश हर ज़िले में ऑक्सीजन प्लांट लगाएंगे. अच्छी बात है और होना भी चाहिए."
जब उनसे पूछा जाता है कि ज़िम्मेदारी राज्य पर छोड़ दी गई है. क्या आपको लगता है कि कहीं न कहीं केंद्र की गलती है ?
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तो उन्होंने कहा "अगर ये national calamity है तो राज्य पर नहीं छोड़ सकते. केंद्र की ज़िम्मेदारी सबसे ज़्यादा है. राज्य और केंद्र सरकार का संघर्ष ऐसे मामलों में नहीं होना चाहिए. मगर कुछ लोग कर रहे हैं, ये राजनीति गलत है."