जयपुर: करीब 8 दिन पहले पुलिस इंटेलिजेंस ने जासूसी के आरोप में रेलवे डाक सेवा जयपुर के एक कर्मचारी को गिरफ्तार किया था. जिसके बाद डाक विभाग ने कर्मचारी को सस्पेंड कर दिया है. जयपुर स्थित रेलवे डाक सेवा के एमटीएस कर्मी भरत बावरी को 10 सितंबर को इंटेलिजेंस ने गिरफ्तार किया था.
दरअसल, भरत बावरी हनी ट्रैप में फंसकर पाकिस्तानी गुप्त एजेंसी को भारतीय सेना के महत्वपूर्ण और गोपनीय दस्तावेज व्हाट्सएप के जरिए भेजा करता था. गिरफ्तारी के करीब 8 दिन बाद डाक विभाग ने भरत बावरी को विभाग से सस्पेंड कर दिया है.
यह था मामला
भरत बावरी पाकिस्तानी गुप्तचर एजेंसी की महिला एजेंट के हनीट्रैप में फंसकर भारतीय सेना के सामरिक महत्व के गोपनीय दस्तावेजों की फोटो वाटस्एप के जरिए भेजा करता था. जिसके बाद मिलिट्री इंटेलिजेंस दक्षिणी कमान और स्टेट इंटेलीजेंस ने संयुक्त कार्रवाई कर उसे गिरफ्तार किया. संयुक्त पूछताछ केंद्र जयपुर पर की जा रही पूछताछ में आरोपी भरत बावरी ने बताया कि वह मूलतः गांव खेडापा जिला जोधपुर का रहने वाला है. वह 3 वर्ष पूर्व ही एमटीएस परीक्षा के तहत रेलवे डाक सेवा के जयपुर स्थित कार्यालय में पदस्थापित हुआ था. यहां वह आने-जाने वाली डाक की छंटनी करने का कार्य करता था.
पूछताछ में बावरी ने बताया कि करीब 4-5 महीने पहले उसके मोबाइल के फेसबुक मैसेंजर पर महिला का मैसेज आया. कुछ दिनों बाद दोनों वाट्सएप पर वॉइस कॉल और वीडियो कॉल से बात करने लगे. महिला ने अपने आप को पोर्ट ब्लेयर में नर्सिंग के बाद एमबीबीएस की तैयारी करना बताया. साथ ही अपने किसी रिश्तेदार का जयपुर स्थित किसी अच्छी आर्मी यूनिट में स्थानांतरण के बहाने आरोपी से धीरे-धीरे आर्मी के संबंध में आने वाले डाक के फोटो मंगवाना शुरू कर दिया. बाद में पाक महिला एजेंट ने आरोपी से जयपुर आकर मिलने, साथ धूमने और उसके साथ रुकने का झांसा देकर अपना फोटो भेजना शुरू कर दिया.
इसके बाद आरोपी को पूर्ण रूप से अपने मोहजाल में फंसाकर आर्मी के पत्रों की फोटो भेजने के लिए कहा तो आरोपी चोरी छिपे गोपनीय डाक पत्रों के लिफाफे खोलकर पत्रों की फोटो खींचकर वाट्सएप के जरिए भेजने लगा. आरोपी के फोन की वास्तविक जांच में उपरोक्त तथ्यों की पुष्टि होने पर आरोपी के विरूद्ध शासकीय गुप्त बात अधिनियम 1923 के तहत मामला दर्ज किया गया है. आरोपी ने पूछताछ में यह भी बताया है कि महिला मित्र के चाहने पर अपनी स्वंय के नाम की एक सिम के मोबाइल नंबर और वाट्सएप के लिए ओटीपी भी शेयर कर दिया ताकि भारतीय नम्बर में पाक महिला एजेंट अन्य नाम से उपयोग कर अन्य लोगों और आर्मी के जवानों को अपना शिकार बना सके.
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बता दें, आरोपी भरत को 11 सितंबर को मेट्रोपॉलिटन अदालत में पेश किया गया. गहन अनुसंधान की आवश्यकता को देखते हुए आरोपी जासूस को न्यायालय ने 13 सितंबर तक पुलिस रिमांड पर भेजा था. महानिदेशक पुलिस इंटेलिजेंस उमेश मिश्रा के अनुसार आरोपी ने भरत गोदारा के नाम से अपनी फेसबुक आईडी बना रखी थी. 6 महीने पहले आरोपी के फेसबुक मैसेंजर पर छदम नाम की महिला पाकिस्तानी खुफिया एजेंट का मैसेज आया था. जिसके बाद आरोपी उक्त महिला एजेंट से व्हाट्सएप पर वॉयस कॉल और वीडियो कॉल के माध्यम से बात करने लगा.
आरोपी ने डिलीट किया था डाटा और चैट
महिला एजेंट ने आरोपी को हनीट्रैप (Honeytrap) में फंसा कर भारतीय सेना से संबंधित रेलवे डाक कार्यालय में आने वाली डाक सामरिक महत्व के दस्तावेजों की सूचना ली जा रही थी. आरोपी के कब्जे से दो मोबाइल फोन बरामद किए गए हैं. आरोपी शातिर किस्म का है. उसने अपने मोबाइल फोन चैट डिलीट कर दिया करता था. इंटेलिजेंस टीम ने मोबाइल फोनों की तकनीकी परीक्षण कराकर बहुत सारा डिलीट किया हुआ डाटा और चैट रिकवर की है.
नरहड़ आर्मी एरिया से भी एक जासूस हुआ था गिरफ्तार
वहीं, राजस्थान इंटेलिजेंस ने 12 सितंबर को झुंझुनू के नरहड़ आर्मी एरिया से भी एक पाकिस्तानी जासूस को गिरफ्तार किया है. पूरे प्रकरण में कार्रवाई करते हुए नरहड़ आर्मी एरिया में इंडेन गैस एजेंसी के संचालक संदीप कुमार (30) को 12 सितंबर को स्टेट इंटेलिजेंस और मिलिट्री इंटेलिजेंस दक्षिणी कमान ने हिरासत में लेकर पूछताछ करना शुरू किया था.
पूछताछ के दौरान संदीप कुमार ने पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी के संपर्क में होने और खुफिया जानकारी पाकिस्तान भेजने की बात कबूल की. जिस पर गुरुवार संदीप कुमार को शासकीय गुप्त बात अधिनियम 1923 के तहत प्रकरण दर्ज कर गिरफ्तार किया गया है. एडीजी इंटेलिजेंस उमेश मिश्रा ने बताया की पाक जासूस संदीप कुमार से जुलाई 2021 में पाक हैंडलिंग ऑफिसर ने मोबाइल पर फोन कर आर्मी कैंप नरहड़ के फोटोग्राफ और संवेदनशील गोपनीय सूचनाएं मांगी.
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रुपयों के लालच में आकर संदीप कुमार ने अपने बैंक खाते की तमाम जानकारी पाक हैंडलिंग ऑफिसर को व्हाट्सएप के जरिए सेंड की. इसके साथ ही नरहड़ आर्मी एरिया से जुड़ी हुई अनेक गोपनीय जानकारी भी व्हाट्सएप के जरिए पाक हैंडलिंग ऑफिसर को सेंड की. फिलहाल पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार करने के साथ ही उसके फोन को सीज किया है. प्रकरण में राजस्थान इंटेलिजेंस की स्पेशल ब्रांच की कार्रवाई जारी है.
सब इंस्पेक्टर की देने वाला था परीक्षा
पुलिस में भर्ती होने का ख्वाब देखने वाला गिरफ्तार संदिग्ध जासूस संदीप सब इंस्पेक्टर परीक्षा की तैयारी कर रहा था. हाल ही में हुई परीक्षा में बैठने वाला भी था, लेकिन उससे पहले ही वह 12 सिंतंबर को इंटेलिजेंस के हत्थे चढ़ गया. आरोपी के आईफोन और सोशल मीडिया अकाउंट को इंटेलिजेंस की टीम चेक कर रही है. इंटेलिजेंस की ओर से पूछताछ करने पर कई चौंकाने वाली जानकारियां सामने आई है. फिलहाल अभी उनका खुलासा इंटेलिजेंस की तरफ से नहीं किया गया है.
भाई पुलिस में कांस्टेबल
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार जासूस संदीप का भाई राजस्थान पुलिस में कांस्टेबल के पद पर कार्यरत है. जयपुर में ड्राईवर के पद पर पोस्टेड है. संदिग्ध जासूस संदीप के खाते को चेक किया तो उसमें 10 हजार रुपये आईएमपीएस के जरिये ट्रांसफर किये गये थे. जिसका संतोषजनक जवाब संदीप नहीं दे पाया. संदीप एमकॉम तक पढ़ा हुआ है और गैस एजेंसी चलाता है.