नई दिल्ली: पीएम नरेंद्र मोदी ने नए संसद भवन का उद्घाटन किया. औपचारिक रूप से पूजन पाठ के साथ कार्यक्रम की शुरुआत हो चुकी है. सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट के तहत नये संसद भवन का निर्माण कराया गया है. इस पर 970 करोड़ रुपये का खर्च आया है. नया संसद भवन का क्षेत्रफल 64,500 वर्ग मीटर है. बता दें कि 10 दिसंबर 2020 को नई दिल्ली में एक समारोह में नए संसद भवन की आधारशिला रखी गई थी. इसमें विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं, कैबिनेट मंत्रियों और विभिन्न देशों के राजदूतों ने हिस्सा लिया था.
नए संसद भवन के निर्माण में भारत के हर राज्य के सभ्यता-संस्कृति की झलक मिलती है. वहीं इसके निर्माण में उपयोग की गई वस्तुएं अलग-अलग राज्य से मंगवाई गई है. नए संसद भवन में राजस्थान स्थित सरमथुरा के सैंडस्टोन का उपयोग किया गया है. वहीं राजस्थान के अंबाजी से मंगाये गये सफेद संगमरमर का उपयोग फर्श को सजाने के लिए किया गया है. संसद के अंदर फर्श को उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर में तैयार कालीनों से सजाया गया है. संसद भवन में लगे अशोक चक्र मध्य प्रदेश के इंदौर से मंगाया गया है.
नये संसद भवन की दीवारों की काफी चर्चा है. इसमें उपयोग की गईं ईंटें हरियाणा और उत्तर प्रदेश से विशेष रूप से मंगाई गई हैं. भवन के ट्रेंच में अहमदाबाद के पीतल का उपयोग किया गया है. फर्नीचर मंबई में तैयार किया गया है. पूरे परिसर में आधुनिक तकनीक और सुरक्षा उपकरणों का किया गया है. नये संसद भवन में 3 द्वार हैं. ज्ञान द्वार, शक्ति द्वार और कर्म द्वार. पीएम सहित अन्य वीआईपी के लिए अलग द्वार, संसद सदस्यों व अन्य लोगों के लिए अलग द्वार तय किया गया है.