ETV Bharat / bharat

असम और उत्तर-पूर्व में ठिकाने बनाने और संगठन मजबूत करने की कोशिश में माओवादी: NIA - Maoists trying to establish

राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने गृह मंत्रालय को दी एक रिपोर्ट में कहा है कि माओवादी छत्तीसगढ़, बिहार, झारखंड और आंध्र प्रदेश के जंगलों से अपना ठिकाना असम और अन्य उत्तर-पूर्वी राज्यों की पहाड़ियों में स्थानांतरित कर सकते हैं. यह निष्कर्ष पश्चिम बंगाल और अन्य राज्यों में हाल ही में की गई गिरफ्तारियों पर आधारित है.

एनआईए का दावा- असम, उत्तर-पूर्व में ठिकाने बनाने और संगठन मजबूत करने की कोशिश में माओवादी
एनआईए का दावा- असम, उत्तर-पूर्व में ठिकाने बनाने और संगठन मजबूत करने की कोशिश में माओवादी
author img

By

Published : Sep 21, 2022, 9:25 AM IST

नई दिल्ली/गुवाहाटी/पश्चिम बंगाल: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने असम में माओवादियों के साथ कथित संबंधों के आरोप में सम्राट चक्रवर्ती नामक व्यक्ति को पश्चिम बंगाल के कल्याणी एक्सप्रेसवे से गिरफ्तार किया है. एनआईए के गुवाहाटी कार्यालय के सूत्रों ने बताया कि सम्राट को असम में दर्ज एक मामले के सिलसिले में मंगलवार को गिरफ्तार किया गया. माओवादी नेता सम्राट चक्रवर्ती को दक्षिण असम के कछार जिला में भाकपा (माओवादी) के एक मामले में कथित संलिप्तता के आरोप में पश्चिम बंगाल के महिषपाता से गिरफ्तार किया गया है.

एनआईए की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि असम और उसके आस-पास के राज्यों में इस तरह के प्रतिबंधित संगठनों की लगातार वृद्धि हुई है. रिपोर्ट में कहा गया है कि यह एक तथ्य है कि भारत के कई राज्यों विशेषकर झारखंड, बिहार, छत्तीसगढ़ और ओडिशा में सुरक्षा एजेंसियों द्वारा बड़े पैमाने पर माओवादी विरोधी अभियान शुरू करने के बाद, माओवादी देश के अन्य हिस्सों में नए ठिकानों की तलाश कर रहे हैं. गृह मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने ईटीवी भारत को बताया कि वे असम सरकार के लगातार संपर्क में हैं.

पढ़ें: सुकमा में पांच नक्सलियों का सरेंडर, बुर्कापाल और मिनपा मुठभेड़ में थे शामिल

असम और उत्तर पूर्व में माओवादियों की वृद्धि एक खतरनाक संकेत है क्योंकि इससे उन्हें पड़ोसी देशों तक आसानी से पहुंच मिलेगी. उनके लिए अपनी गतिविधियों को जारी रखना आसान होगा. हमें इसे तुरंत रोकने की जरूरत है. केंद्रीय जांच एजेंसी की गुवाहाटी शाखा के सूत्रों ने बताया है कि सम्राट चक्रवर्ती एक कट्टर माओवादी नेता है. अरुण भट्टाचार्य को असम सहित पूरे पूर्वोत्तर में संगठन की जड़ें फैलाने का काम सौंपा गया था. बताया जा रहा है कि वह संगठन के शीर्ष नेता एवं असम में रहने वाले अरुण भट्टाचार्य के बीच गुप्त संचार के लिंकमैन के रूप में कार्य करता था.

गुवाहाटी के एनआईए सूत्रों ने बताया कि कि भट्टाचार्जी असम और पूर्वोत्तर में माओवादी आधार का विस्तार करने के लिए काम कर रहे था. उसे कुछ महीने पहले असम के कछार जिले से गिरफ्तार किया गया था. एनआईए के प्रवक्ता ने दावा किया कि चक्रवर्ती सीपीआई (माओवादी) का सबसे करीबी और अरुण भट्टाचार्जी के बीच एक कड़ी था. प्रवक्ता ने आगे कहा कि माना जाता है कि चक्रवर्ती ने हाल में कई मौकों पर असम के कई जिलों का दौरा किया. राज्य में गैरकानूनी समूह के विस्तार करने के लिए भट्टाचार्जी को उनके कार्य में सहायता की.

पढ़ें: सरायकेला के कुचाई में एनकाउंटर, दो नक्सली ढेर

एनआईए ने 2 सितंबर को 6 गिरफ्तार आरोपियों के खिलाफ असम की विशेष एनआईए अदालत में आरोपपत्र दाखिल किया था. मामले में आगे की जांच में पता चला कि आरोपी सम्राट चक्रवर्ती उर्फ अमित उर्फ अर्घा उर्फ निर्मल उर्फ निर्माण उर्फ नीलकमल सिकदर पश्चिम बंगाल स्थित भाकपा (माओवादी) संगठन का सक्रिय सदस्य था. सम्राट चक्रवर्ती ने पार्टी के निर्देशों पर असम और पूर्वोत्तर राज्यों में भाकपा (माओवादी) संगठन की गतिविधियों को आगे बढ़ाने में वरिष्ठ माओवादी नेता कंचन दा की सहायता के लिए कई बार असम के कछार जिले का दौरा किया था.

उल्लेखनीय है कि एनआईए ने सात मार्च को भाकपा (माओवादी) की केंद्रीय समिति के सक्रिय सदस्य अरुण कुमार भट्टाचार्य उर्फ कंचन दा उर्फ ज्योतिष उर्फ कबीर उर्फ कनक और कलान से आकाश ओरंग को कछार जिला के उधरबंद पुलिस थाने के अंतर्गत जॉयपुर इलाके के पातिछेड़ा चाय बागान से गिरफ्तार किया था. भाकपा (माओवादी) की केंद्रीय समिति के सक्रिय सदस्य 70 वर्षीय अरुण कुमार भट्टाचार्य कट्टरपंथी संगठन की असम राज्य संगठनात्मक समिति के सदस्य थे. उस पर 3 लाख रुपये का इनाम घोषित किया गया था.

पढ़ें: ओडिशा में 150 माओवादी समर्थकों ने शहीद स्तंभ को तोड़ा, किया सरेंडर

नई दिल्ली/गुवाहाटी/पश्चिम बंगाल: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने असम में माओवादियों के साथ कथित संबंधों के आरोप में सम्राट चक्रवर्ती नामक व्यक्ति को पश्चिम बंगाल के कल्याणी एक्सप्रेसवे से गिरफ्तार किया है. एनआईए के गुवाहाटी कार्यालय के सूत्रों ने बताया कि सम्राट को असम में दर्ज एक मामले के सिलसिले में मंगलवार को गिरफ्तार किया गया. माओवादी नेता सम्राट चक्रवर्ती को दक्षिण असम के कछार जिला में भाकपा (माओवादी) के एक मामले में कथित संलिप्तता के आरोप में पश्चिम बंगाल के महिषपाता से गिरफ्तार किया गया है.

एनआईए की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि असम और उसके आस-पास के राज्यों में इस तरह के प्रतिबंधित संगठनों की लगातार वृद्धि हुई है. रिपोर्ट में कहा गया है कि यह एक तथ्य है कि भारत के कई राज्यों विशेषकर झारखंड, बिहार, छत्तीसगढ़ और ओडिशा में सुरक्षा एजेंसियों द्वारा बड़े पैमाने पर माओवादी विरोधी अभियान शुरू करने के बाद, माओवादी देश के अन्य हिस्सों में नए ठिकानों की तलाश कर रहे हैं. गृह मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने ईटीवी भारत को बताया कि वे असम सरकार के लगातार संपर्क में हैं.

पढ़ें: सुकमा में पांच नक्सलियों का सरेंडर, बुर्कापाल और मिनपा मुठभेड़ में थे शामिल

असम और उत्तर पूर्व में माओवादियों की वृद्धि एक खतरनाक संकेत है क्योंकि इससे उन्हें पड़ोसी देशों तक आसानी से पहुंच मिलेगी. उनके लिए अपनी गतिविधियों को जारी रखना आसान होगा. हमें इसे तुरंत रोकने की जरूरत है. केंद्रीय जांच एजेंसी की गुवाहाटी शाखा के सूत्रों ने बताया है कि सम्राट चक्रवर्ती एक कट्टर माओवादी नेता है. अरुण भट्टाचार्य को असम सहित पूरे पूर्वोत्तर में संगठन की जड़ें फैलाने का काम सौंपा गया था. बताया जा रहा है कि वह संगठन के शीर्ष नेता एवं असम में रहने वाले अरुण भट्टाचार्य के बीच गुप्त संचार के लिंकमैन के रूप में कार्य करता था.

गुवाहाटी के एनआईए सूत्रों ने बताया कि कि भट्टाचार्जी असम और पूर्वोत्तर में माओवादी आधार का विस्तार करने के लिए काम कर रहे था. उसे कुछ महीने पहले असम के कछार जिले से गिरफ्तार किया गया था. एनआईए के प्रवक्ता ने दावा किया कि चक्रवर्ती सीपीआई (माओवादी) का सबसे करीबी और अरुण भट्टाचार्जी के बीच एक कड़ी था. प्रवक्ता ने आगे कहा कि माना जाता है कि चक्रवर्ती ने हाल में कई मौकों पर असम के कई जिलों का दौरा किया. राज्य में गैरकानूनी समूह के विस्तार करने के लिए भट्टाचार्जी को उनके कार्य में सहायता की.

पढ़ें: सरायकेला के कुचाई में एनकाउंटर, दो नक्सली ढेर

एनआईए ने 2 सितंबर को 6 गिरफ्तार आरोपियों के खिलाफ असम की विशेष एनआईए अदालत में आरोपपत्र दाखिल किया था. मामले में आगे की जांच में पता चला कि आरोपी सम्राट चक्रवर्ती उर्फ अमित उर्फ अर्घा उर्फ निर्मल उर्फ निर्माण उर्फ नीलकमल सिकदर पश्चिम बंगाल स्थित भाकपा (माओवादी) संगठन का सक्रिय सदस्य था. सम्राट चक्रवर्ती ने पार्टी के निर्देशों पर असम और पूर्वोत्तर राज्यों में भाकपा (माओवादी) संगठन की गतिविधियों को आगे बढ़ाने में वरिष्ठ माओवादी नेता कंचन दा की सहायता के लिए कई बार असम के कछार जिले का दौरा किया था.

उल्लेखनीय है कि एनआईए ने सात मार्च को भाकपा (माओवादी) की केंद्रीय समिति के सक्रिय सदस्य अरुण कुमार भट्टाचार्य उर्फ कंचन दा उर्फ ज्योतिष उर्फ कबीर उर्फ कनक और कलान से आकाश ओरंग को कछार जिला के उधरबंद पुलिस थाने के अंतर्गत जॉयपुर इलाके के पातिछेड़ा चाय बागान से गिरफ्तार किया था. भाकपा (माओवादी) की केंद्रीय समिति के सक्रिय सदस्य 70 वर्षीय अरुण कुमार भट्टाचार्य कट्टरपंथी संगठन की असम राज्य संगठनात्मक समिति के सदस्य थे. उस पर 3 लाख रुपये का इनाम घोषित किया गया था.

पढ़ें: ओडिशा में 150 माओवादी समर्थकों ने शहीद स्तंभ को तोड़ा, किया सरेंडर

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.