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'थप्पड़' बोलने की कीमत, आधा निवाला खाते समय गिरफ्तारी, आधी रात को मिली जमानत

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के खिलाफ थप्पड़ वाले कथित बयान के सिलसिले में महाड मजिस्ट्रेट कोर्ट ने देर रात केंद्रीय मंत्री नारायण राणे को जमानत दे दी. हालांकि कोर्ट ने उन्हें अगले सप्ताह पुलिस पूछताछ के लिए थाने में मौजूद रहने के निर्देश भी दिए हैं. मंगलवार को दिनभर यह मामला सुर्खियों में रहा है और आधी रात को जमानत मिलने के बाद इसका पटाक्षेप हुआ. एक रिपोर्ट.

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Published : Aug 24, 2021, 11:52 PM IST

Updated : Aug 25, 2021, 9:41 AM IST

मुंबई : महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के खिलाफ उनके कथित बयान के सिलसिले में महाड मजिस्ट्रेट कोर्ट ने देर रात जमानत दे दी है. इससे बाद केंद्रीय मंत्री नारायण राणे ने ट्विटर पर लिखा 'सत्यमेव जयते'. राणे को कोर्ट ने कुछ शर्तों के साथ जमानत दी है.

वहीं, नासिक पुलिस ने नारायण राणे को उनके खिलाफ दर्ज हुई FIR के संबंध में नोटिस भेजकर दो सितंबर को थाने में पेश होने को कहा है.

नारायण राणे के वकील संग्राम देसाई ने कहा कि केंद्रीय मंत्री नारायण राणे को जमानत देते समय अदालत ने कुछ शर्तें रखी हैं. वह 31 अगस्त और 13 सितंबर को पूछताछ के लिए थाने में मौजूद रहेंगे और भविष्य में इस तरह का अपराध नहीं करेंगे. वहीं भाजपा नेता प्रवीण दरेकर ने कहा कि महाड मजिस्ट्रेट कोर्ट ने केंद्रीय मंत्री नारायण राणे (महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के खिलाफ उनके कथित बयान के सिलसिले में) को जमानत दे दी है. हम परसों जन आशीर्वाद यात्रा शुरू करेंगे.

केंद्रीय मंत्री नारायण राणे
केंद्रीय मंत्री नारायण राणे

केंद्रीय सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्री राणे की टिप्पणी को लेकर महाराष्ट्र में उनके खिलाफ चार प्राथमिकी दर्ज की गई हैं. उन्हें रत्नागिरि पुलिस ने मंगलवार को दोपहर बाद गिरफ्तार किया था और फिर उन्हें महाड ले जाया गया. इससे पहले भाजपा नेता राणे के वकील अनिकेत निकम ने आरोप लगाया कि पुलिस राणे को गिरफ्तार करने से पहले कानून की उचित प्रक्रिया का पालन करने में विफल रही और वह उनकी गिरफ्तारी का विरोध करेंगे.

राणे को दोपहर बाद गिरफ्तार करने के बाद रात 9 बजकर 45 मिनट पर न्यायिक दंडाधिकारी शेखबाबासो एस पाटिल की अदालत के समक्ष पेश किया गया. सरकारी वकील भूषण साल्वी ने आगे की जांच के लिए भाजपा नेता राणे को सात दिन की पुलिस हिरासत में भेजने का अनुरोध किया.

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उन्होंने कहा कि अगर मुख्यमंत्री की प्रतिष्ठा धूमिल करने की साजिश रची गई है तो इस मामले की जांच महत्वपूर्ण है. इसका विरोध करते हुए राणे की ओर से पेश अधिवक्ता अनिकेत निकम और भाउ सालुंखे ने तर्क दिया कि उनकी सेहत गंभीर है, वह 69 वर्ष के हैं और मधुमेह और उच्च रक्तचाप से ग्रस्त हैं.

निकम ने आगे कहा कि राणे के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की जिस धारा के तहत मामला दर्ज किया गया है, उसमें सात साल से कम की सजा का प्रावधान है. ऐसे में हिरासत अनावश्यक है.

उन्होंने यह भी दावा किया कि राणे की गिरफ्तारी गैर कानूनी है क्योंकि उन्हें गिरफ्तार करने से पहले दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 41ए के तहत समन नहीं भेजा गया. अदालत ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद केंद्रीय मंत्री को पुलिस हिरासत में भेजने से इनकार कर दिया. इसके बजाय उन्हें न्यायिक हिरासत में भेजने का फैसला किया/ लेकिन उनके वकीलों द्वारा जमानत की अर्जी देने पर 15 हजार रुपये के मुचलके पर राणे को जमानत दे दी.

यह दिया था विवादित बयान

केंद्रीय मंत्री नारायण राणे ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को थप्पड़ मारने संबंधी ववादित बयाना दिया है, जिसके बाद विवाद खड़ा हो गया. राणे ने दावा किया कि स्वतंत्रता दिवस के मौके पर अपने संबोधन में ठाकरे यह भूल गए कि देश की आजादी को कितने साल हुए हैं और इसी संदर्भ में मंत्री ने यह विवादित बयान दिया.

यह भी पढ़ें-नारायण राणे की गिरफ्तारी पर सियासत गर्म, भाजपा ने लोकतंत्र की हत्या करार दिया

राणे ने रायगढ़ जिले में सोमवार को 'जन आशीर्वाद यात्रा' के दौरान कहा कि यह शर्मनाक है कि मुख्यमंत्री को यह नहीं पता कि आजादी को कितने साल हुए हैं. भाषण के दौरान वह पीछे मुड़कर इस बारे में पूछताछ करते नजर आए थे. अगर मैं वहां होता तो उन्हें एक जोरदार थप्पड़ मारता.

मुंबई : महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के खिलाफ उनके कथित बयान के सिलसिले में महाड मजिस्ट्रेट कोर्ट ने देर रात जमानत दे दी है. इससे बाद केंद्रीय मंत्री नारायण राणे ने ट्विटर पर लिखा 'सत्यमेव जयते'. राणे को कोर्ट ने कुछ शर्तों के साथ जमानत दी है.

वहीं, नासिक पुलिस ने नारायण राणे को उनके खिलाफ दर्ज हुई FIR के संबंध में नोटिस भेजकर दो सितंबर को थाने में पेश होने को कहा है.

नारायण राणे के वकील संग्राम देसाई ने कहा कि केंद्रीय मंत्री नारायण राणे को जमानत देते समय अदालत ने कुछ शर्तें रखी हैं. वह 31 अगस्त और 13 सितंबर को पूछताछ के लिए थाने में मौजूद रहेंगे और भविष्य में इस तरह का अपराध नहीं करेंगे. वहीं भाजपा नेता प्रवीण दरेकर ने कहा कि महाड मजिस्ट्रेट कोर्ट ने केंद्रीय मंत्री नारायण राणे (महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के खिलाफ उनके कथित बयान के सिलसिले में) को जमानत दे दी है. हम परसों जन आशीर्वाद यात्रा शुरू करेंगे.

केंद्रीय मंत्री नारायण राणे
केंद्रीय मंत्री नारायण राणे

केंद्रीय सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्री राणे की टिप्पणी को लेकर महाराष्ट्र में उनके खिलाफ चार प्राथमिकी दर्ज की गई हैं. उन्हें रत्नागिरि पुलिस ने मंगलवार को दोपहर बाद गिरफ्तार किया था और फिर उन्हें महाड ले जाया गया. इससे पहले भाजपा नेता राणे के वकील अनिकेत निकम ने आरोप लगाया कि पुलिस राणे को गिरफ्तार करने से पहले कानून की उचित प्रक्रिया का पालन करने में विफल रही और वह उनकी गिरफ्तारी का विरोध करेंगे.

राणे को दोपहर बाद गिरफ्तार करने के बाद रात 9 बजकर 45 मिनट पर न्यायिक दंडाधिकारी शेखबाबासो एस पाटिल की अदालत के समक्ष पेश किया गया. सरकारी वकील भूषण साल्वी ने आगे की जांच के लिए भाजपा नेता राणे को सात दिन की पुलिस हिरासत में भेजने का अनुरोध किया.

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उन्होंने कहा कि अगर मुख्यमंत्री की प्रतिष्ठा धूमिल करने की साजिश रची गई है तो इस मामले की जांच महत्वपूर्ण है. इसका विरोध करते हुए राणे की ओर से पेश अधिवक्ता अनिकेत निकम और भाउ सालुंखे ने तर्क दिया कि उनकी सेहत गंभीर है, वह 69 वर्ष के हैं और मधुमेह और उच्च रक्तचाप से ग्रस्त हैं.

निकम ने आगे कहा कि राणे के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की जिस धारा के तहत मामला दर्ज किया गया है, उसमें सात साल से कम की सजा का प्रावधान है. ऐसे में हिरासत अनावश्यक है.

उन्होंने यह भी दावा किया कि राणे की गिरफ्तारी गैर कानूनी है क्योंकि उन्हें गिरफ्तार करने से पहले दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 41ए के तहत समन नहीं भेजा गया. अदालत ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद केंद्रीय मंत्री को पुलिस हिरासत में भेजने से इनकार कर दिया. इसके बजाय उन्हें न्यायिक हिरासत में भेजने का फैसला किया/ लेकिन उनके वकीलों द्वारा जमानत की अर्जी देने पर 15 हजार रुपये के मुचलके पर राणे को जमानत दे दी.

यह दिया था विवादित बयान

केंद्रीय मंत्री नारायण राणे ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को थप्पड़ मारने संबंधी ववादित बयाना दिया है, जिसके बाद विवाद खड़ा हो गया. राणे ने दावा किया कि स्वतंत्रता दिवस के मौके पर अपने संबोधन में ठाकरे यह भूल गए कि देश की आजादी को कितने साल हुए हैं और इसी संदर्भ में मंत्री ने यह विवादित बयान दिया.

यह भी पढ़ें-नारायण राणे की गिरफ्तारी पर सियासत गर्म, भाजपा ने लोकतंत्र की हत्या करार दिया

राणे ने रायगढ़ जिले में सोमवार को 'जन आशीर्वाद यात्रा' के दौरान कहा कि यह शर्मनाक है कि मुख्यमंत्री को यह नहीं पता कि आजादी को कितने साल हुए हैं. भाषण के दौरान वह पीछे मुड़कर इस बारे में पूछताछ करते नजर आए थे. अगर मैं वहां होता तो उन्हें एक जोरदार थप्पड़ मारता.

Last Updated : Aug 25, 2021, 9:41 AM IST
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