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Internet Ban In Manipur : मणिपुर में इंटरनेट प्रतिबंध 15 जून तक बढ़ाया गया

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Published : Jun 11, 2023, 11:34 AM IST

Updated : Jun 11, 2023, 1:33 PM IST

मणिपुर में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से झूठी खबरों, अफवाहों और गलत सूचनाओं के प्रसार को रोकने के लिए इंटरनेट प्रतिबंध को और पांच दिनों के लिए बढ़ा दिया गया है. मणिपुर में अब भी तनाव बरकरार है. पढ़ें पूरी खबर..

Internet ban in Manipur
मणिपुर में इंटरनेट प्रतिबंध 15 जून तक बढ़ाया गया

इंफाल : मणिपुर सरकार ने संकटग्रस्त राज्य में इंटरनेट सेवाओं पर प्रतिबंध को 15 जून तक बढ़ा दिया है. एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया कि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से झूठी खबरों, अफवाहों और गलत सूचनाओं के प्रसार को रोकने के लिए इंटरनेट प्रतिबंध को और पांच दिनों के लिए बढ़ा दिया गया है. क्योंकि इंटरनेट के खुलने से कानून व्यवस्था की स्थिति को बिगाड़ने का खतरा हैं. बयान के मुताबिक, इंटरनेट पर प्रतिबंध 15 जून दोपहर तीन बजे तक के लिए बढ़ा दिया गया है.

इस बीच, मणिपुर के सूचना एवं जनसंपर्क मंत्री डीआर सपम रंजन ने शनिवार को कहा कि पिछले 24 घंटों में राज्य के किसी भी हिस्से से कोई अप्रिय घटना की सूचना नहीं मिली है, जो राज्य में सामान्य स्थिति की वापसी का संकेत देता है. मीडियाकर्मियों को संबोधित करते हुए, मंत्री ने कहा कि वर्तमान में पूरे मणिपुर में 349 राहत शिविर चल रहे हैं. मंत्री ने आगे कहा कि कुल लूटे गए 4,537 हथियारों में से राज्य सरकार ने 990 हथियार बरामद कर लिए हैं.

मंत्री ने कहा कि राज्य शांति और सद्भाव बहाल करने के लिए सभी उचित सुरक्षा उपाय कर रहा है. शनिवार को सुरक्षा बलों ने राज्य में हिंसा और जातीय संघर्ष के बाद पहाड़ी और घाटियों दोनों संवेदनशील क्षेत्रों में चौथे दिन संयुक्त तलाशी अभियान चलाया और 22 हथियार बरामद किए. इस बीच, केंद्र सरकार ने मणिपुर में राज्यपाल की अध्यक्षता में एक शांति समिति का गठन किया.

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पैनल का उद्देश्य राज्य में विभिन्न जातीय समूहों के बीच शांति प्रक्रिया को सुविधाजनक बनाना है. समिति के गठन से पहले केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने घोषणा की थी कि मणिपुर में जल्द से जल्द सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए एक शांति पैनल बनाया जाएगा. उच्च न्यायालय द्वारा राज्य सरकार को अनुसूचित जनजाति (एसटी) की सूची में मेइती समुदाय को शामिल करने पर विचार करने के निर्देश के मद्देनजर मणिपुर एक महीने से जातीय हिंसा की गिरफ्त में है. यहां हिंसा बढ़ने के बाद केंद्र सरकार को अर्धसैनिक बलों को तैनात करना पड़ा था.

(एजेंसियां)

इंफाल : मणिपुर सरकार ने संकटग्रस्त राज्य में इंटरनेट सेवाओं पर प्रतिबंध को 15 जून तक बढ़ा दिया है. एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया कि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से झूठी खबरों, अफवाहों और गलत सूचनाओं के प्रसार को रोकने के लिए इंटरनेट प्रतिबंध को और पांच दिनों के लिए बढ़ा दिया गया है. क्योंकि इंटरनेट के खुलने से कानून व्यवस्था की स्थिति को बिगाड़ने का खतरा हैं. बयान के मुताबिक, इंटरनेट पर प्रतिबंध 15 जून दोपहर तीन बजे तक के लिए बढ़ा दिया गया है.

इस बीच, मणिपुर के सूचना एवं जनसंपर्क मंत्री डीआर सपम रंजन ने शनिवार को कहा कि पिछले 24 घंटों में राज्य के किसी भी हिस्से से कोई अप्रिय घटना की सूचना नहीं मिली है, जो राज्य में सामान्य स्थिति की वापसी का संकेत देता है. मीडियाकर्मियों को संबोधित करते हुए, मंत्री ने कहा कि वर्तमान में पूरे मणिपुर में 349 राहत शिविर चल रहे हैं. मंत्री ने आगे कहा कि कुल लूटे गए 4,537 हथियारों में से राज्य सरकार ने 990 हथियार बरामद कर लिए हैं.

मंत्री ने कहा कि राज्य शांति और सद्भाव बहाल करने के लिए सभी उचित सुरक्षा उपाय कर रहा है. शनिवार को सुरक्षा बलों ने राज्य में हिंसा और जातीय संघर्ष के बाद पहाड़ी और घाटियों दोनों संवेदनशील क्षेत्रों में चौथे दिन संयुक्त तलाशी अभियान चलाया और 22 हथियार बरामद किए. इस बीच, केंद्र सरकार ने मणिपुर में राज्यपाल की अध्यक्षता में एक शांति समिति का गठन किया.

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पैनल का उद्देश्य राज्य में विभिन्न जातीय समूहों के बीच शांति प्रक्रिया को सुविधाजनक बनाना है. समिति के गठन से पहले केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने घोषणा की थी कि मणिपुर में जल्द से जल्द सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए एक शांति पैनल बनाया जाएगा. उच्च न्यायालय द्वारा राज्य सरकार को अनुसूचित जनजाति (एसटी) की सूची में मेइती समुदाय को शामिल करने पर विचार करने के निर्देश के मद्देनजर मणिपुर एक महीने से जातीय हिंसा की गिरफ्त में है. यहां हिंसा बढ़ने के बाद केंद्र सरकार को अर्धसैनिक बलों को तैनात करना पड़ा था.

(एजेंसियां)

Last Updated : Jun 11, 2023, 1:33 PM IST
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