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कर्नाटक : मजली बीच पर मरी मिली लुप्तप्राय टाइगर शार्क, अंतरराष्ट्रीय बाजार में काफी डिंमाड

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Published : Sep 22, 2021, 6:55 PM IST

कर्नाटक के कारवार तालुक के मजली बीच पर मंगलवार को एक लुप्तप्राय टाइगर शार्क मरी हुई मिली. बीच पर मिली यह शार्क एक मादा टाइगर शार्क है, जिसका वजन लगभग 30 किलो और लंबाई 2 मीटर है. पढ़ें पूरी खबर...

लुप्तप्राय टाइगर शार्क
लुप्तप्राय टाइगर शार्क

कारवार : कर्नाटक के कारवार तालुक के मजली बीच पर मंगलवार को एक लुप्तप्राय टाइगर शार्क मरी हुई मिली. शार्क की यह प्रजाति काफी महंगी होती है.

बीच पर मिली यह शार्क एक मादा टाइगर शार्क है, जिसका वजन लगभग 30 किलो और लंबाई 2 मीटर है. अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी काफी डिमांड है, लेकिन स्वाद न होने के कारण स्थानीय लोग खाना पसंद नहीं करते. हालांकि, स्थानीय लोग शार्क मछली की अन्य प्रजातियों को भोजन के रूप में खाते हैं.

मजली बीच पर मरी मिली लुप्तप्राय टाइगर शार्क

टाइगर शार्क का वजन आमतौर पर 600 किलोग्राम तक होता है और यह लंबाई में 6 मीटर तक बढ़ सकती है. इन शार्क की उम्र 30 से 40 साल तक की होती है. यह समुद्र की सबसे ताकतवर मछलियों में से एक होती है जो मछली व्हेल, इंसानों और अन्य समुद्री जीवों पर हमला करने की क्षमता रखती है.

पढ़ें : मध्य प्रदेश के पन्ना टाइगर रिजर्व में कैमरे में कैद हुई लुप्तप्राय 'फिशिंग कैट'

टाइगर शार्क अब एक लुप्तप्राय मछली के रूप में रेड बुक में दर्ज हो गई है. हालांकि, अंतरराष्ट्रीय बाजार में टाइगर शार्क की भारी मांग है और इसका सूप के लिए उपयोग किया जाता है.

कारवार : कर्नाटक के कारवार तालुक के मजली बीच पर मंगलवार को एक लुप्तप्राय टाइगर शार्क मरी हुई मिली. शार्क की यह प्रजाति काफी महंगी होती है.

बीच पर मिली यह शार्क एक मादा टाइगर शार्क है, जिसका वजन लगभग 30 किलो और लंबाई 2 मीटर है. अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी काफी डिमांड है, लेकिन स्वाद न होने के कारण स्थानीय लोग खाना पसंद नहीं करते. हालांकि, स्थानीय लोग शार्क मछली की अन्य प्रजातियों को भोजन के रूप में खाते हैं.

मजली बीच पर मरी मिली लुप्तप्राय टाइगर शार्क

टाइगर शार्क का वजन आमतौर पर 600 किलोग्राम तक होता है और यह लंबाई में 6 मीटर तक बढ़ सकती है. इन शार्क की उम्र 30 से 40 साल तक की होती है. यह समुद्र की सबसे ताकतवर मछलियों में से एक होती है जो मछली व्हेल, इंसानों और अन्य समुद्री जीवों पर हमला करने की क्षमता रखती है.

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टाइगर शार्क अब एक लुप्तप्राय मछली के रूप में रेड बुक में दर्ज हो गई है. हालांकि, अंतरराष्ट्रीय बाजार में टाइगर शार्क की भारी मांग है और इसका सूप के लिए उपयोग किया जाता है.

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