हैदराबाद: चुनाव आयोग ने तेलंगाना में राजनीतिक दलों और उम्मीदवारों द्वारा सोशल मीडिया के माध्यम से इस्तेमाल किए जा रहे चुनाव प्रचार के तरीकों पर ध्यान केंद्रित किया है. उम्मीदवारों से सोशल मीडिया पर होने वाले अपने खर्च का ब्यौरा मांगे जा रहे हैं. यह पहले ही सुझाव दिया जा चुका है कि खर्च को उम्मीदवारों के चुनाव खर्च के तहत गिना जाना चाहिए.
चुनाव आयोग के तत्वावधान में राज्य के सभी जिलों में सोशल मीडिया टीमों का गठन किया गया है. ये टीमें विज्ञापन अभियान खर्च, अभियानों के लिए पूर्व मंजूरी आदि पर गौर करेंगी. सोशल मीडिया प्लेटफार्मों में भारी वृद्धि के कारण राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केंद्र (एनआईसी) विज्ञापनों और पेड न्यूज का पता लगाने के लिए विशेष उपकरणों का उपयोग कर रहा है.
किस सोशल मीडिया अकाउंट पर विज्ञापन वायरल हो रहे हैं ? अन्य व्यक्तिगत खातों के माध्यम से उम्मीदवारों की ओर से क्या प्रचार किया गया है? अन्य विवरणों को एनआईसी टूल्स के माध्यम से विशेष तकनीकी विशेषज्ञों द्वारा जांचने की व्यवस्था की गई है. डेटा के प्रसार के बाद इंटरनेट पर वेबसाइट, यूट्यूब चैनल और सोशल मीडिया अकाउंट तेजी से उभरे हैं.
कुछ उम्मीदवारों ने पार्टी की ओर से प्रचार करने और अनुकूल समाचार लिखने के लिए संबंधित वेबसाइट और चैनल प्रबंधकों के साथ समझौता किया है. ये सभी पार्टियों के लिए विज्ञापन बना रहे हैं और उन्हें वायरल कर रहे हैं. एनआईसी वेबसाइटों, यूट्यूब चैनलों, एक्स, थ्रेड्स और इंस्टाग्राम पर प्रासंगिक जानकारी जान लेगा और इस प्रकार पेड न्यूज के साथ अभियान लागत की गणना करेगा. सोशल मीडिया के माध्यम से चुनाव नियमों एवं मीडिया निगरानी नियमों का उल्लंघन करने पर प्रत्याशियों के विरुद्ध कार्रवाई की अनुशंसा की जाएगी.