बेंगलुरु: कर्नाटक पुलिस ने बेंगलुरू में एक डॉक्टर से 1.16 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी के मामले में एक महिला समेत तीन लोगों को गिरफ्तार किया है. यहां के कलबुर्गी जिले में अलंद कस्बे डॉ शंकर बाबूराव ने उप्परपेट थाने में धोखाधड़ी की शिकायत दर्ज कराई थी. बाद में मामले की जांच केंद्रीय अपराध शाखा की स्पेशल विंग ने जांच की तो पता चला कि पूरी साजिश के पीछे कलबुर्गी के डॉक्टर का दोस्त नागराज था.
दरअसल, डॉ बाबूराव एक निजी क्लीनिक चलाते हैं और वह अपने बेटे को मेडिकल कॉलेज में मेडिकल कॉलेज में प्रवेश दिलाना चाहते थे. इसके लिए उन्होंने अपने दोस्त नागराज से बात की जिसपर नागराज ने उन्हें बेंगलुरु के एक प्रतिष्ठित मेडिकल कॉलेज में उनके बेटे के लिए मेडिकल सीट दिलाने का आश्वासन दिया और 66 लाख रुपए की मांग की. बाबूराव ने किश्तों में 66 लाख रुपए का भुगतान तो किया, लेकिन नागराज उनके बेटे को मेडिकल कॉलेज में सीट दिलाने में विफल रहा. जब डॉक्टर ने अपने पैसे वापस मांगे तो नागराज ने उनके खिलाफ साजिश रचने की शुरुआत की.
पुलिस को बाबूराव ने बताया कि नागराज ने उसे पैसे लेने के लिए बेंगलुरु आने के लिए कहा और बताया कि और यहां लॉज उसके ठहरने की व्यवस्था है. लेकिन सुबह तड़के किसी के खटखटाने पर उसने दरवाजा खोला तो दो महिलाएं कमरे उसके बिस्तर पर आकर बैठ गईं. इसके तुरंत बाद ही खुद को पुलिस बताने वाले तीन व्यक्ति आए और उसपर अवैध गतिविधि में शामिल होने का आरोप लगाते हुए डॉक्टर को उन महिलाओं के साथ खड़ा किया और फोटो खींच ली. उन्होंने डॉक्टर से सोने के जेवर और 35 हजार रुपए भी लिए.
इसके बाद नागराज ने मदद करने के बहाने बाबूराव को फोन किया और पुलिस को उसके खिलाफ वेश्यावृत्ति का मामला दर्ज करने से रोकने के लिए उससे 70 लाख रुपए की मांग की. जब डॉक्टर ने उसे पैसे न होने की बात कही तो उसने 50 लाख रुपए देने को कहा. इतना ही नहीं, उसने उन महिलाओं जमानत दिलाने के बहाने और 20 लाख रुपए मांगे. डॉक्टर के पैसे न देने पर आरोपी ने चार अजनबियों को भेजा और उसे धमकाने की कोशिश की और कहा की वह थाने पर आए.
इसपर जब डॉक्टर ने नागराज से कड़े शब्दों में बात की तो वह फरार हो गया. इसके डॉक्टर ने नागराज के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई. मामले में अब तक चार लोगों को गिरफ्तार किया है और आगे की कार्रवाई जारी है.