तिरुवनंतपुरम : आईएमडी ने जानकारी दी है कि अरब सागर के ऊपर बना निम्न दबाव अत्यधिक निम्न दबाव में बदल गया है. इसके बाद केरल के पांच जिलों में रेड अलर्ट जारी किया गया है.
तिरुवनंतपुरम, कोल्लम, पठानमथिट्टा, अलाप्पुझा और एर्नाकुलम में रेड अलर्ट जारी किया गया है. आज सुबह से ही केरल के कई हिस्सों में भारी बारिश हो रही है. आईएमडी ने भविष्यवाणी की है कि अरब सागर के ऊपर बने कम दबाव से साइक्लोन 'तौक्ताई' में तीव्रता आएगी.
चक्रवात भले ही केरल तट को न छूए लेकिन इसके परिणामस्वरूप राज्य में बहुत भारी बारिश और हवा चलेगी. कम दबाव शनिवार को कर्नाटक में तेज होकर चक्रवात में बदल जाएगा. इसके साथ ही उत्तरी केरल में चक्रवात के प्रभाव की संभावना है.
बता दें कि चक्रवात 'तौक्ताई' के कारण भारत के कई इलाकों में भारी बारिश की आशंका जाहिर की गई है. मौसम विभाग ने महाराष्ट्र, गुजरात, तमिलनाडु, केरल और कर्नाटक सहित पांच तटीय राज्यों को चेतावनी जारी की है. मौसम विभाग के मुताबिक 18 मई सुबह तक चक्रवात तौक्ताई गुजरात तट के पास पहुंच जाएगा. इसी बीच मौसम विभाग ने पूर्वानुमान लगाया है कि केरल में मानसून 31 मई तक आ सकता है.
इसी बीच केरल के एर्नाकुलम में चेल्लानम में गंभीर बाढ़ की आशंका है. अशांत समुद्री लहरें तट से टकरा रही हैं. सैकड़ों घर पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गए हैं. स्थानीय लोगों को स्थानांतरित करने के लिए राहत शिविर लगाए गए हैं, लेकिन लोग कोरोना महामारी फैलने के डर से जिला प्रशासन द्वारा बनाए गए राहत शिविरों में जाने को तैयार नहीं हैं.
राजधानी तिरुवनंतपुरम में भी पिछले तीन दिनों से भारी बारिश हो रही है. शहर के कई हिस्सों में पानी भर गया है. अशांत समुद्री लहरों से एंचुथेंग सहित तटीय क्षेत्र गंभीर रूप से क्षतिग्रस्त हुए हैं. तिरुवनंतपुरम, वर्कला और नेय्यातिनकारा तालुकों में व्यापक क्षति का अनुमान है.
इससे पहले मौसम विज्ञान विभाग की चेतावनी के आधार पर राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) ने अरब सागर में बन रहे चक्रवात तौक्ताई से निपटने के लिए 53 दलों को तैयार किया है. इस चक्रवात को 'तौक्ताई' नाम म्यांमार ने दिया है. यह भारतीय तट पर इस साल पहला चक्रवाती तूफान होगा.
एनडीआरएफ के महानिदेशक एस एन प्रधान ने शुक्रवार को ट्वीट किया कि केरल, कर्नाटक, तमिलनाडु, गुजरात और महाराष्ट्र के तटीय क्षेत्रों में इन दलों को तैनात किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि इन 53 दलों में से 24 दलों को पहले ही तैनात कर दिया गया है जबकि शेष को तैयार रहने को कहा गया है.
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बता दें कि एनडीआरएफ के एक दल में करीब 40 कर्मी होते हैं और उनके पास पेड़ और खंभे काटने के औजार, नौकाएं, मूलभूत दवाएं और अन्य राहत एवं बचाव सामान होता है.
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) और इन तटीय राज्यों द्वारा जारी किए कुछ परामर्शों के अनुसार दक्षिण अरब सागर और लक्षद्वीप इलाके में बृहस्पतिवार को दबाव का क्षेत्र बन गया है.
आईएमडी ने अपनी चेतावनी रिपोर्ट में कहा, 'यह शनिवार सुबह तक इसी क्षेत्र में गहरे दबाव के क्षेत्र में बदल जाएगा और उसके बाद अगले 24 घंटों में चक्रवाती तूफान का रूप ले लेगा.' उसने बताया कि इसके उत्तर-उत्तरपश्चिम गुजरात और पाकिस्तानी तटों की ओर बढ़ने की संभावना है.