नई दिल्ली : स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री मनसुख मंडाविया ने कोरोना वायरस के संक्रमण एवं अन्य बीमारियों से मुकाबला करने में भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के प्रयासों की सराहना की. संसद में मंडाविया ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के समय पर सही निर्देश देने का ही परिणाम है कि आज भारत कोविड-19 महामारी से विश्व में सबसे अच्छे तरीके से निपट सका है.
शुक्रवार को लोक सभा में कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी के पूरक प्रश्न के उत्तर में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री मंडाविया ने यह बात कही. चौधरी ने कोविड महामारी से निपटने के प्रयासों को लेकर आईसीएमआर पर सवाल उठाया था. सदस्य ने कोविड-19 की दूसरी लहर के प्रबंधन को लेकर भी सवाल किया और कहा कि इस दौरान लाखों लोग संक्रमित हुए. उन्होंने कहा कि इससे पहले फरवरी 2020 में प्रधानमंत्री ने कहा था कि कोरोना वायरस के खिलाफ भारत की लड़ाई ने दुनिया को प्रभावित किया.
भारत में कोरोना के खिलाफ लड़ाई पीएम मोदी के निर्देश पर : इस पर स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री ने कहा, 'देश के प्रधानमंत्री द्वारा समय पर दिये गए सही निर्देशों का परिणाम है कि आज भारत कोविड महामारी से सबसे अच्छे तरीके से निपट सका है.' उन्होंने कहा कि हिन्दुस्तान में काफी बेहतर ढंग से टीकाकरण अभियान चलाया गया. उन्होंने कहा कि आईसीएमआर इन प्रयासों में शीर्ष एजेंसी के रूप में काम कर रहा है और इसने महामारी से निपटने के लिये काफी प्रयास किये हैं.
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महामारी के दौर में स्वदेशी कोरोना वैक्सीन : पूर्ववर्ती सरकार पर परोक्ष निशाना साधते हुए मंत्री ने कहा 'एक समय था जब कोई नयी बीमारी आती थी तब टीका तैयार करना बहुत दूर की बात थी. लेकिन कोविड के समय में न केवल टीका तैयार करने के लिये अनुसंधान किये गये बल्कि स्वदेशी टीके भी बनाए गए.' उन्होंने कहा कि कोविड को लेकर सबसे अधिक टीकाकरण भारत में हुआ है. मंडाविया ने कहा कि कोरोना वायरस के ओमीक्रॉन स्वरूप के कारण दुनिया भर में कोविड की दूसरी लहर के बराबर मौत के मामले आए लेकिन बेहतर टीकाकरण के कारण भारत तीसरी लहर से बेहतर ढंग से निपट सका. उन्होंने कहा कि आईसीएमआर, कोविड-19 सहित अन्य रोगों से जुड़े शोध कार्य कर रहा है.
(पीटीआई-भाषा)