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बीजेपी करप्ट नेताओं की पार्टी हो गई है, चंदेल अपने दल का ध्यान रखें : सीएम भूपेश बघेल

सीएम भूपेश बघेल ने शनिवार को अंबिकापुर दौरे से पहले रायपुर में पत्रकरों से चर्चा की. सीएम ने इस दौरान बजरंग दल विवाद को लेकर पीएम मोदी और भाजपा पर जमकर निशाना साधा.

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Published : May 6, 2023, 5:42 PM IST

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बजरंग दल विवाद में सीएम ने भाजपा को घेरा
बजरंग दल विवाद में सीएम ने भाजपा को घेरा

रायपुर: मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने बजरंग दल विवाद को लेकर भाजपा पर निशाना साधा है. नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल और पीएम मोदी पर भी सीएम ने करारा पलटवार किया है. उन्होंने कहा है कि" पीएम देश को गुमराह कर रहे हैं.

पीएम के बयान पर किया पलटवार: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बयान दिया था कि "कांग्रेस तुष्टीकरण करती है और बजरंगबली बोलने में उन्हें तकलीफ होती है." इस पर पलटवार करते हुए सीएम भूपेश बघेल ने कहा "हमें बजरंगबली की जय बोलने में कोई तकलीफ नहीं है. हम छत्तीसगढ़ में रामायण का पाठ करवाते हैं, 15 साल प्रदेश में भाजपा की सरकार रही, इन्होंने कभी रामायण का पाठ नहीं करवाया, कौशल्या माता के मंदिर का जीर्णोद्धार भी करवाया. शिवरीनारायण ,राजिम में श्री राम की प्रतिमा किसने स्थापित की है. पूरे राज्य में ना केवल हम रामायण का पाठ करवा रहे हैं. बल्कि रामायण समितियों को भी 5000 रुपए सम्मान निधि दे रहे हैं. बजरंगबली और हनुमान हम सब के आराध्य हैं."

अडानी पर पीएम को घेरा: सीएम ने आगे कहा कि "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 40% कमीशन के बारे में क्यों नहीं कहते हैं. वे अडानी बारे में क्यों नहीं कहते हैं? जब से अडानी वाला केस सामने आया है . तब से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उस घटना पर कुछ नहीं बोले हैं. आज अरुणाचल प्रदेश में आग लगी हुई है. 12 में से 8 जिलों पर देखते ही गोली मारने का आदेश, वहां डबल इंजन की सरकार है. इसके बावजूद भी वह इस मुद्दे पर क्यों नहीं बोल रहे हैं. नरेंद्र मोदी पहले खुद के बारे में बताएं अपने पार्टी के बारे में बताएं. आज भारतीय जनता पार्टी करप्ट लोगों की पार्टी बन गई है, वे उसके बारे में बोलें."


सीएम ने चंदेल को दे डाली नसीहत: नारायण चंदेल ने बयान दिया था कि "कांग्रेस भर्तियां निकाल रही है, लेकिन उनके पास देने के लिए पैसे नहीं हैं. कांग्रेस सरकार की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं है." इस पर पलटवार करते हुए सीएम ने कहा कि "नारायण चंदेल पूरे बजट सत्र के दौरान थे और बजट भाषण में मैंने कहा था. तीन राज्य है जहां इस बार कर्जा नहीं लिया गया है. ओडिशा, त्रिपुरा और छत्तीसगढ़. हमारी अर्थव्यवस्था अच्छी है. अगर खराब अर्थव्यवस्था होती तो सारी योजनाओं को हम लागू नहीं कर पाते. जहां तक तनख्वाह बांटने की बात है. कोरोना संक्रमण काल के दौरान भी किसी भी विभाग के कर्मचारियों के वेतन में कटौती नहीं की गई. जबकि उस समय देश के 6 राज्यों में वेतन में कटौती की गई थी. भारत सरकार ने सांसदों के वेतन में 30% की कटौती की थी. हमारी आर्थिक स्थिति अच्छी है. नारायण चंदेल लोगों को गुमराह करने की कोशिश ना करें."

यह भी पढ़ें: 'छत्तीसगढ़ में नहीं रहा पनामा का दौर,हम दे देंगे पैसे', सीएम भूपेश का बीजेपी को जवाब


नारायण चंदेल ने बयान दिया था कि कई कांग्रेस नेता बीजेपी के संपर्क में हैं. वे लोग समय आने पर भाजपा में शामिल होंगे. इस पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि "नारायण चंदेल पहले अपने नेताओं के संपर्क में रह लें, बस्तर में उनकी बैठक होती है. नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल गायब रहते हैं. जितने भी यह पुराने नेता हैं, जिसमें रमन सिंह, धरमलाल कौशिक और नारायण चंदेल सभी को नेपथ्य में ढकेल दिया गया है."

नंद कुमार साय के बीजेपी छोड़कर कांग्रेस में जाने के बाद से लगातार छत्तीसगढ़ में सियासी पारा चढ़ा हुआ है. दोनों ओर से जुबानी जंग जारी है. इस बीच बजरंग बली और कर्नाटक चुनाव को लेकर छत्तीसगढ़ में दोनों पार्टियां एक दूसरे पर हमलावर हैं. ऐसे में देखना होगा कि अब छत्तीसगढ़ की राजनीति में किस नए प्वाइंट की एंट्री होती है.

बजरंग दल विवाद में सीएम ने भाजपा को घेरा

रायपुर: मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने बजरंग दल विवाद को लेकर भाजपा पर निशाना साधा है. नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल और पीएम मोदी पर भी सीएम ने करारा पलटवार किया है. उन्होंने कहा है कि" पीएम देश को गुमराह कर रहे हैं.

पीएम के बयान पर किया पलटवार: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बयान दिया था कि "कांग्रेस तुष्टीकरण करती है और बजरंगबली बोलने में उन्हें तकलीफ होती है." इस पर पलटवार करते हुए सीएम भूपेश बघेल ने कहा "हमें बजरंगबली की जय बोलने में कोई तकलीफ नहीं है. हम छत्तीसगढ़ में रामायण का पाठ करवाते हैं, 15 साल प्रदेश में भाजपा की सरकार रही, इन्होंने कभी रामायण का पाठ नहीं करवाया, कौशल्या माता के मंदिर का जीर्णोद्धार भी करवाया. शिवरीनारायण ,राजिम में श्री राम की प्रतिमा किसने स्थापित की है. पूरे राज्य में ना केवल हम रामायण का पाठ करवा रहे हैं. बल्कि रामायण समितियों को भी 5000 रुपए सम्मान निधि दे रहे हैं. बजरंगबली और हनुमान हम सब के आराध्य हैं."

अडानी पर पीएम को घेरा: सीएम ने आगे कहा कि "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 40% कमीशन के बारे में क्यों नहीं कहते हैं. वे अडानी बारे में क्यों नहीं कहते हैं? जब से अडानी वाला केस सामने आया है . तब से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उस घटना पर कुछ नहीं बोले हैं. आज अरुणाचल प्रदेश में आग लगी हुई है. 12 में से 8 जिलों पर देखते ही गोली मारने का आदेश, वहां डबल इंजन की सरकार है. इसके बावजूद भी वह इस मुद्दे पर क्यों नहीं बोल रहे हैं. नरेंद्र मोदी पहले खुद के बारे में बताएं अपने पार्टी के बारे में बताएं. आज भारतीय जनता पार्टी करप्ट लोगों की पार्टी बन गई है, वे उसके बारे में बोलें."


सीएम ने चंदेल को दे डाली नसीहत: नारायण चंदेल ने बयान दिया था कि "कांग्रेस भर्तियां निकाल रही है, लेकिन उनके पास देने के लिए पैसे नहीं हैं. कांग्रेस सरकार की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं है." इस पर पलटवार करते हुए सीएम ने कहा कि "नारायण चंदेल पूरे बजट सत्र के दौरान थे और बजट भाषण में मैंने कहा था. तीन राज्य है जहां इस बार कर्जा नहीं लिया गया है. ओडिशा, त्रिपुरा और छत्तीसगढ़. हमारी अर्थव्यवस्था अच्छी है. अगर खराब अर्थव्यवस्था होती तो सारी योजनाओं को हम लागू नहीं कर पाते. जहां तक तनख्वाह बांटने की बात है. कोरोना संक्रमण काल के दौरान भी किसी भी विभाग के कर्मचारियों के वेतन में कटौती नहीं की गई. जबकि उस समय देश के 6 राज्यों में वेतन में कटौती की गई थी. भारत सरकार ने सांसदों के वेतन में 30% की कटौती की थी. हमारी आर्थिक स्थिति अच्छी है. नारायण चंदेल लोगों को गुमराह करने की कोशिश ना करें."

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नारायण चंदेल ने बयान दिया था कि कई कांग्रेस नेता बीजेपी के संपर्क में हैं. वे लोग समय आने पर भाजपा में शामिल होंगे. इस पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि "नारायण चंदेल पहले अपने नेताओं के संपर्क में रह लें, बस्तर में उनकी बैठक होती है. नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल गायब रहते हैं. जितने भी यह पुराने नेता हैं, जिसमें रमन सिंह, धरमलाल कौशिक और नारायण चंदेल सभी को नेपथ्य में ढकेल दिया गया है."

नंद कुमार साय के बीजेपी छोड़कर कांग्रेस में जाने के बाद से लगातार छत्तीसगढ़ में सियासी पारा चढ़ा हुआ है. दोनों ओर से जुबानी जंग जारी है. इस बीच बजरंग बली और कर्नाटक चुनाव को लेकर छत्तीसगढ़ में दोनों पार्टियां एक दूसरे पर हमलावर हैं. ऐसे में देखना होगा कि अब छत्तीसगढ़ की राजनीति में किस नए प्वाइंट की एंट्री होती है.

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