नई दिल्ली : राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश सिंह ने 24 घंटे का उपवास तोड़ दिया है. बता दें कि हरिवंश ने सदन में उनके साथ हुए अपमानजनक व्यवहार के प्रति क्षोभ व्यक्त किया था. जिसके बाद उन्होंने 24 घंटे के अनशन की घोषणा की थी.
उन्होंने घोषणा की थी कि उनका अनशन मंगलवार सुबह से शुरू होकर बुधवार को राष्ट्र कवि रामधारी सिंह दिनकर के जन्मदिन पर समाप्त होगा.
बता दें कि राज्यसभा के उप सभापति हरिवंश ने विपक्षी सदस्यों के आपत्तिजनक आचरण पर गहरी पीड़ा जताते हुए मंगलवार को घोषणा की कि वह 24 घंटे का उपवास करेंगे. इसके साथ ही उन्होंने उम्मीद जतायी कि इससे आपत्तिजनक आचरण करने वाले सदस्यों में 'आत्म-शुद्धि' का भाव जागृत होगा.
हरिवंश ने राज्यसभा के सभापति एम वेंकैया नायडू को लिखे पत्र में, कृषि संबंधी दो विधेयकों के पारित होने के दौरान रविवार को सदन में हुए हंगामे का जिक्र किया और कहा, 'सदस्यों द्वारा लोकतंत्र के नाम पर हिंसक व्यवहार किया गया. आसन पर बैठे व्यक्ति को भयभीत करने की कोशिश हुई. उच्च सदन की हर मर्यादा और व्यवस्था की धज्जियां उड़ायी गयीं.'
उन्होंने कहा था, '20 सितंबर को राज्यसभा में जो कुछ भी हुआ, उससे पिछले दो दिनों से गहरी आत्मपीड़ा, आत्मतनाव और मानसिक वेदना में हूं. पूरी रात सो नहीं पाया.'
हरिवंश ने कहा कि 20 सितंबर को उच्च सदन में जो दृष्य उत्पन्न हुआ, उससे सदन और आसन की मर्यादा को अकल्पनीय क्षति हुई है.
उल्लेखनीय है कि रविवार को सदन में हुए हंगामे को लेकर विपक्ष के आठ सदस्यों को मौजूदा सत्र के शेष समय के लिए निलंबित कर दिया गया था.
निलंबित किए गए सदस्यों में कांगेस के राजीव सातव, सैयद नजीर हुसैन और रिपुन बोरा, तृणमूल कांग्रेस के डेरेक ओ ब्रायन और डोला सेन, माकपा के केके रागेश और इलामारम करीम व आप के संजय सिंह शामिल हैं.