नई दिल्ली : सरकार द्वारा संसद के वर्तमान भवन के पुनर्विकास या नये भवन के निर्माण के लिए सुझाव मांगा गया है. इस आशय का सुझाव सांसदों को 11 अक्टूबर को भेजे गए पत्र के माध्यम से मांगा गया है.
दरअसल, लोकसभा सचिवालय ने सांसदों से वर्तमान ढांचे में संभावित बदलाव क्या हों एवं नये परिसर में कैसी खूबियों हों, इन विकल्पों पर विचार किये जाने के लिए सुझाव मांगा है.
इस पत्र में कहा गया है कि इस बारे में सक्रियता से विचार किया जा रहा है कि संसद के वर्तमान भवन का पुनर्विकास किया जाए अथवा नये भवन का निर्माण हो.
पत्र के अनुसार, ऐसे में सदस्यों से सुझाव मांगा गया है कि वह इसमें खामियों के बारे में सुझाव दें, जिसके कारण वर्तमान इमारत में दैनिक कामकाज करने में असुविधा का सामना करना पड़ रहा है.
सांसदों से यह भी सुझाव देने को कहा गया है कि नई सुविधा या इमारत में कैसी खूबियां होनी चाहिए ताकि इसे 'फुलप्रूफ' बनाया जा सके.
अहम बात ये है कि सांसदों को एक सप्ताह के भीतर ही ई-मेल से सुझाव देने को कहा गया है. साथ ही उनसे लिखित में भी सुझाव देने को कहा गया है.
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गौरतलब है कि संसद का वर्तमान भवन 90 साल पुराना है. इस बारे में संप्रग के समय से ही नये भवन का सुझाव आता रहा है. लोकसभा के वर्तमान अध्यक्ष ओम बिरला भी इस बारे में उल्लेख कर चुके हैं. हाल ही में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इसका उल्लेख किया था.
गौरतलब है कि शहरी विकास मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार इस परियोजना के संदर्भ में पांच स्थापत्य कंपनियों ने बोली पेश की है, इस पर केंद्रीय लोक निर्माण विभाग को अमल करना है.