अहमदाबाद : गुजरात पहुंचने से पहले चक्रवात 'महा' की ताकत कम होने की संभावना है. ऐसा अनुमान लगाया जा रहा था कि सात नवम्बरर से पहले देवभूमि-द्वारका जिले और केंद्र शासित प्रदेश दीव के क्षेत्रों में गुजरात तट पर चक्रवाती तूफान 'महा' दस्तक दे सकता है.
मौसम विज्ञान केंद्र के अधिकारियों ने कहा कि चक्रवाती तूफान 'महा' के गुरुवार सुबह पोरबंदर और दीव के बीच गुजरात तट तक पहुंचने से पहले उसका प्रभाव कम हो जाएगा.
तूफान से निबटने के लिए सरकार की तैयारी
राज्य सरकार ने राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (एनडीआरएफ) की 15 अतिरिक्त टीमों को तैयार रखा है और नौसेना इकाइयों को भी तैयार रहने के निर्देश दिये हैं.
मुख्यमंत्री विजय रूपानी ने सोमवार को तैयारियों की समीक्षा बैठक की और केंद्रीय कैबिनेट सचिव ने एक वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से प्रशासनिक तैयारियों का जायजा लिया.
राजस्व के अतिरिक्त मुख्य सचिव पंकज कुमार ने गांधीनगर में संवाददाताओं से कहा कि एनडीआरएफ की 15 अतिरिक्त टीमों की आवश्यकता है और उन्हें राहत और बचाव कार्य के लिए तटीय क्षेत्र में तैनात किया जाएगा.
कुमार ने कहा, 'एनडीआरएफ की 15 टीमें पहले से ही गुजरात में हैं.अतिरिक्त 15 टीमें जल्द ही राज्य पहुंचेंगी. हमने जिलों में राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल (एसडीआरएफ) टीमों को तैनात करना भी शुरू कर दिया है.'
उन्होंने कहा कि समुद्र में मछली पकड़ने गये मछुआरों की 12,600 नौकाओं में केवल 600 को वापस लाना बचा है. उन्हें वापस लाने के प्रयास किये जा रहे हैं क्योंकि आने वाले दिनों में समुद्र की हालत बिगड़ सकती है.
मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक जयंत सरकार ने कहा कि 'महा' को ‘बेहद गंभीर चक्रवाती तूफान’ की श्रेणी में रखा गया था. फिलहाल 'महा' पोरबंदर से लगभग 650 किलोमीटर दूर और दीव से 730 किलोमीटर दूर अरब सागर में केंद्रित है.
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उन्होंने कहा, 'यह कल गुजरात तट की ओर बढ़ेगा.हालांकि तट की ओर आते समय इसकी गति कम होगी. हवा की गति 80-90 किलोमीटर प्रति घंटा रहने की संभावना है.'
यह चक्रवाती तूफान गुजरात के अधिकतर हिस्सों में भारी बारिश लाएगा, जबकि कुछ स्थानों पर छह और सात नवम्बर को तेज बारिश होने की संभावना है.'
मौसम विज्ञान केंद्र की उप निदेशक मनोरमा ने कहा, 'इस तूफान से उत्तरी गुजरात के पोरबंदर से सूरत और दक्षिण गुजरात के भरूच जिले तक का पूरा तटीय इलाका प्रभावित होगा. अमरेली, गिर-सोमनाथ, जूनागढ़, आणंद, अहमदाबाद, बोटाद और राजकोट जिलों में भी मौसम खराब रहने की संभावना है.'
राज्य के कृषि मंत्री आर.सी.फाल्डू ने कहा कि जिले के अधिकारियों को महा द्वारा संभावित प्रभाव से बचने के बारे में निर्देशित किया गया है.
सूरत में नगरपालिका अधिकारियों ने एहतियात के तौर पर होर्डिंग्स हटाना शुरू कर दिया है.नागरिकों को डुमास समुद्र तट और तापी नदी के पास के क्षेत्रों में नहीं जाने को कहा गया है.
देवभूमि-द्वारका के जिला कलेक्टर एन.के. मीणा ने भी शीर्ष अधिकारियों के साथ बैठक की.
रक्षा संबंधी विज्ञप्ति में कहा गया है कि गुजरात में नौसेना की इकाइयां भी राज्य के तट पर मांगी गई सहायता के लिए तैयार हैं.
चार जहाजों को राहत सामग्री से भरकर रखा गया है जबकि सभी अधिकारी निरंतर संपर्क में हैं.