बरेली: उत्तर प्रदेश के बरेली में एक साल पहले यानी जून 2022 में महिला ने अपने पति की प्रेमी के साथ मिलकर हत्या कर दी थी. इस मामले में कोर्ट ने महिला और उसके आशिक को आजीवन कारावास की सजा और 20-20 हजार रुपए का जुर्माना लगाया है. मामले में मुख्य गवाह के तौर पर छह साल की बच्ची थी, जिसकी गवाही ने ही उसके पिता की हत्यारिन और उसके आशिक को जीवनभर के लिए सलाखों के पीछे कर दिया.
प्रेम प्रसंग में रोड़ा बन रहे पति संजय गुप्ता की उसकी ही पत्नी ज्योति ने अपने प्रेमी अब्बास के साथ मिलकर दो जून 2022 को हत्या कर दी थी. इस मामले में एक साल में ही अदालत ने छह साल की बेटी की गवाही पर ऐतिहासिक फैसला सुनाते हुए शुक्रवार को पत्नी और उसके प्रेमी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. साथ में दोनों पर 20-20 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया है.
बरेली के सुभाष नगर थाना क्षेत्र के रहने वाले संजय गुप्ता की दो जून को उसकी पत्नी ज्योति ने अपने प्रेमी अब्बास के साथ मिलकर हत्या कर दी थी. घटना वाले दिन संजय गुप्ता की पत्नी ने अपने नंदोई दिनेश चंद्र गुप्ता को फोन करके बताया कि उसके पति की तबीयत खराब है. इसके बाद जब वह मौके पर पहुंचे तो संजय गुप्ता खून से लथपथ पड़े थे. घटना की जानकारी लगते ही मौके पर पहुंची सुभाष नगर थाने की पुलिस ने संजय गुप्ता के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा था.
बहनोई दिनेश गुप्ता की तहरीर पर मुकदमा दर्ज कर पुलिस ने जांच शुरू कर दी थी. इसके बाद पुलिस ने संजय गुप्ता की पत्नी ज्योति को हिरासत में लेकर जब पूछताछ की तो पता चला कि ज्योति का अब्बास से प्रेम प्रसंग चल रहा था. दोनों एक दूसरे से मिलते थे, जिसका पति संजय गुप्ता विरोध करता था. इसको लेकर दोनों में आए दिन झगड़ा होता रहता था और इस विरोध के चलते पत्नी ज्योति ने अपने प्रेमी अब्बास के साथ मिलकर पति संजय गुप्ता की हत्या कर दी थी.
पति से 15 साल छोटी थी ज्योतिः बरेली के सुभाष नगर थाना क्षेत्र के वैष्णो धाम में रहने वाले संजय गुप्ता गाड़ी चलाते थे. संजय की पत्नी उससे 15 साल छोटी थी. उसके दो बेटी और एक बेटा था. पत्नी से संजय का आए दिन विवाद होता रहता था. हत्या से कुछ महीना पहले ज्योति अपने प्रेमी अब्बास के साथ चली गई थी पर पुलिस ने उसे बरामद कर लिया था. लेकिन, ज्योति के प्रेमी के ही पक्ष में अदालत में बयान देने के बाद वह भी बरी हो गया था.
छह साल की बेटी ने बताई थी पूरी घटनाः संजय की हत्या के वक्त उनकी जुड़वा बेटी और एक बेटा घर में ही मौजूद थे. जिसमें एक छह साल की बेटी खिड़की से पूरी घटना को देख रही थी. पर घटना के बाद डरी सहमी बेटी किसी को कुछ नहीं बता पाई. उसके बाद उसने घर में हुई पूरी घटना पुलिस और अपने परिवार के अन्य लोगों को बताई थी. जिस पर अधिवक्ता सचिन जायसवाल ने अदालत में बच्ची की गवाही की अपील की और फिर बच्ची की कोर्ट में गवाही हुई.
बच्ची ने क्या दी थी गवाहीः बच्ची ने गवाही के दौरान कोर्ट में खड़े अब्बास को पहचान लिया था. कहा था कि अक्सर मां इनको फोन करके बुलाती थी. उस दिन भी ये आए थे. मां और इन्होंने पापा को मारा था. बेटी की गवाही मामले में अहम साबित हुई और कोर्ट ने संजय गुप्ता की हत्या में उसकी पत्नी और उसके प्रेमी अब्बास को उम्र कैद की सजा सुनाई.
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