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मिलिए नागपुर के ऑक्सीजन मैन से, जो कर रहा मुफ्त में सबकी मदद - Autorickshaw with oxygen cylinder

वर्धेवार बताते हैं कि यह सब उन्होंने अपने अनुभव से सीखा. कोरोना महामारी के दौरान उनका पूरा परिवार पॉजिटिव हो गया था. कोरोना पॉजिटिव होने के चलते इनको ऑक्सीजन लाने के लिए इधर-उधर भागना पड़ा.

नागपुर के ऑक्सीजन मैन
नागपुर के ऑक्सीजन मैन
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Published : May 13, 2021, 5:51 AM IST

नागपुर: कोरोना महामारी के बीच लोगों को तमाम अनुभव हो रहे हैं. इस दौरान सभी को अपने-पराए का भी पता चला. वहीं, कुछ ऐसे लोग भी हैं, जो निस्वार्थ भाव से लोगों की मदद कर रहे हैं. संकट के इस समय में गैर लोग फरिश्ता बनकर सामने आ रहे हैं. ऐसा ही एक मामला नागपुर से समाने आया जहां, एक ऑटो ड्राइवर लोगों की बेहिचक मदद कर रहा है. यह ड्राइवर शहर में ऑक्सीजन मैन के नाम से फेमस हो गया है.

नागपुर के ऑक्सीजन मैन
नागपुर के ऑक्सीजन मैन

नागपुर के रहने वाले आनंद वर्धेवार पेशे से ऑटो ड्राइवर हैं. कोरोना महामारी के दर्द को समझते हुए उन्होंने अपनी गाड़ी में ऑक्सीजन सिलेंडर फिट किया है और जरूरत के समय कोविड मरीजों की मुफ्त में सेवा करते हैं. जहां कुछ लोग जनता को लूटने में लगे हैं, वहीं, आनंद अपने काम से एक नई ज्योति जला रहे हैं.

नागपुर के ऑक्सीजन मैन
नागपुर के ऑक्सीजन मैन

वर्धेवार बताते हैं कि यह सब उन्होंने अपने अनुभव से सीखा. कोरोना महामारी के दौरान उनका पूरा परिवार पॉजिटिव हो गया था. कोरोना पॉजिटिव होने के चलते इनको ऑक्सीजन लाने के लिए इधर-उधर भागना पड़ा. काफी मुसीबतों का सामना करने के बाद इन्होंने दूसरों की मदद करने की ठानी. दूसरों की मदद करने का बीड़ा उठाते हुए उन्होंने सबसे पहले अपनी ऑटो में आक्सीजन सिलेंडर फिट कराया और जरूरत पड़ने पर गंभीर मरीजों की मुफ्त में सेवा करते हैं.

नागपुर के ऑक्सीजन मैन
नागपुर के ऑक्सीजन मैन

पिछले 20 सालों से ऑटो चला रहे आनंद कहते हैं कि पूरी जिंदगी पड़ी है कमाने को, लेकिन जो सुख मदद करने पर मिलता है उसकी बात ही अलग है. जानकारी के मुताबिक अभी तक उन्होंने 50 से अधिक कोरोना संक्रमितों को मुप्त में अस्पताल पहुंचाया है. आनंद वर्धेवार ने कहा कि समाचारों में देखा कि कैसे एंबुलेंस वाले अनाप-शनाप पैसा वसूल रहे हैं. जबकि यह सेवा सरकार देती है. फिर भी असहाय लोगों को परेशान किया जा रहा है. इन्हीं सबको देखते हुए मैंने अपनी गाड़ी को एंबुलेंस में तब्दील कर लिया. आनंद ने यह भी बताया कि कोविड प्रोटोकॉल का पालन करते हुए सभी कार्य किए जाते हैं.

पढ़ें: सिर्फ छह मिनट में कोरोना संक्रमित खुद करें निमोनिया की पहचान

उन्होंने कहा कि केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने भी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा था कि संकट के समय में लोगों की भरपूर मदद करनी चाहिए. उन्होंने नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि मेरे परिचित को अपनी मां को धंतोली से अजनी ले जाना था. मौके का फायदा उठाते हुए एंबुलेंस वाले ने मात्र 2 से 3 किमी. की दूरी के लिए 17 हजार रुपए मांगे.

नागपुर: कोरोना महामारी के बीच लोगों को तमाम अनुभव हो रहे हैं. इस दौरान सभी को अपने-पराए का भी पता चला. वहीं, कुछ ऐसे लोग भी हैं, जो निस्वार्थ भाव से लोगों की मदद कर रहे हैं. संकट के इस समय में गैर लोग फरिश्ता बनकर सामने आ रहे हैं. ऐसा ही एक मामला नागपुर से समाने आया जहां, एक ऑटो ड्राइवर लोगों की बेहिचक मदद कर रहा है. यह ड्राइवर शहर में ऑक्सीजन मैन के नाम से फेमस हो गया है.

नागपुर के ऑक्सीजन मैन
नागपुर के ऑक्सीजन मैन

नागपुर के रहने वाले आनंद वर्धेवार पेशे से ऑटो ड्राइवर हैं. कोरोना महामारी के दर्द को समझते हुए उन्होंने अपनी गाड़ी में ऑक्सीजन सिलेंडर फिट किया है और जरूरत के समय कोविड मरीजों की मुफ्त में सेवा करते हैं. जहां कुछ लोग जनता को लूटने में लगे हैं, वहीं, आनंद अपने काम से एक नई ज्योति जला रहे हैं.

नागपुर के ऑक्सीजन मैन
नागपुर के ऑक्सीजन मैन

वर्धेवार बताते हैं कि यह सब उन्होंने अपने अनुभव से सीखा. कोरोना महामारी के दौरान उनका पूरा परिवार पॉजिटिव हो गया था. कोरोना पॉजिटिव होने के चलते इनको ऑक्सीजन लाने के लिए इधर-उधर भागना पड़ा. काफी मुसीबतों का सामना करने के बाद इन्होंने दूसरों की मदद करने की ठानी. दूसरों की मदद करने का बीड़ा उठाते हुए उन्होंने सबसे पहले अपनी ऑटो में आक्सीजन सिलेंडर फिट कराया और जरूरत पड़ने पर गंभीर मरीजों की मुफ्त में सेवा करते हैं.

नागपुर के ऑक्सीजन मैन
नागपुर के ऑक्सीजन मैन

पिछले 20 सालों से ऑटो चला रहे आनंद कहते हैं कि पूरी जिंदगी पड़ी है कमाने को, लेकिन जो सुख मदद करने पर मिलता है उसकी बात ही अलग है. जानकारी के मुताबिक अभी तक उन्होंने 50 से अधिक कोरोना संक्रमितों को मुप्त में अस्पताल पहुंचाया है. आनंद वर्धेवार ने कहा कि समाचारों में देखा कि कैसे एंबुलेंस वाले अनाप-शनाप पैसा वसूल रहे हैं. जबकि यह सेवा सरकार देती है. फिर भी असहाय लोगों को परेशान किया जा रहा है. इन्हीं सबको देखते हुए मैंने अपनी गाड़ी को एंबुलेंस में तब्दील कर लिया. आनंद ने यह भी बताया कि कोविड प्रोटोकॉल का पालन करते हुए सभी कार्य किए जाते हैं.

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उन्होंने कहा कि केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने भी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा था कि संकट के समय में लोगों की भरपूर मदद करनी चाहिए. उन्होंने नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि मेरे परिचित को अपनी मां को धंतोली से अजनी ले जाना था. मौके का फायदा उठाते हुए एंबुलेंस वाले ने मात्र 2 से 3 किमी. की दूरी के लिए 17 हजार रुपए मांगे.

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