कन्नूर: केरल के कन्नूर के मुझापिलंगड में आवारा कुत्तों के काटने से 10 वर्षीय बच्चे की मौत हो गयी. लड़का मूकबधिर था. इस घटना के बाद से आस पास के लोगों में रोष है. लोगों का कहना है कि आवारा कुत्तों के खिलाफ कार्रवाई नहीं करने के कारण बच्चे की जान गई.
केरल के कन्नूर के मुझापिलंगड में दिव्यांग निहाल अपने परिवार के साथ रहता था. रविवार शाम करीब पांच बजे वह घर से निकला, जैसे ही वह कुछ दूर गया आवारा कुत्तों ने उसपर हमला कर दिया. निहाल के लापता होने के बाद तलाश करने पर उसका शव एक खाली मकान के पास मिला. माना जा रहा है कि निहाल जब अपने घर के गेट से बाहर निकला तो आवारा कुत्तों ने उस पर हमला कर दिया.
निहाल घर से 300 मीटर दूर गंभीर रूप से घायल हालत में पड़ा मिला. स्थानीय लोगों ने निहाल को कमर के नीचे गंभीर चोटों के साथ बेहोशी की हालत में पाया. लोग उसे नजदीकी अस्पताल ले गए, लेकिन वे उसकी जान नहीं बचा सके. शव को मोर्चरी में रखवा दिया गया है. पुलिस आगे की जांच शुरू कर दी है. निहाल बहरीन में काम करने वाले नौशाद का बेटा है.
बता दें कि पिछले साल केरल के कोट्टायम में एक आवारा कुत्ते के हमले में एक नाबालिग (12) की मौत हो गई थी. आवारा कुत्तों के कई हमलों के बाद केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने कहा था कि आवारा कुत्तों के खतरे को कुत्तों को मारने से हल नहीं किया जा सकता है और कहा कि इस मुद्दे को दूर करने के लिए एक वैज्ञानिक समाधान की तलाश की जानी चाहिए.
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पिछले कुछ वर्षों में, देश में इसी तरह के कुत्तों के हमले की घटनाओं में अचानक वृद्धि देखी गई है, यहां तक कि पीड़ितों की मौत भी हुई है. इससे पहले हैदराबाद और कर्नाटक के बेल्लारी में आवारा कुत्तों का आतंक देखने को मिला. कर्नाटक के बेल्लारी में दिसंबर में आवारा कुत्तों के हमले में दो बच्चों की मौत हो गयी. गुस्से में स्थानीय लोगों ने उस कुत्ते को मार डाला.