ETV Bharat / bharat

Live ICon: 81 की उम्र में युवाओं को मात दे रहीं शांति बाई, साइकिलिंग को बनाया हमसफर

अगर ​हौसले बुलंद (Salute to the spirit of Shantibai) हो और दिल में कुछ करने का जज्बा हो तो बढ़ती उम्र भी रास्ते का रोड़ा नहीं बन सकती. इस कहावत को सच कर दिखाया है जबलपुर की 81 वर्षीय शांति बाई ने. इस उम्र में वह रोजाना 20 से 22 किलोमीटर साइकिल चलाती हैं, शांति बाई अकेली रहती है. उनके परिवार में कोई नहीं है. आइए बताते हैं शांति बाई की कहानी.

author img

By

Published : Jan 8, 2022, 7:33 PM IST

shanti bai
शांति बाई

जबलपुर : मध्य प्रदेश के जबलपुर में रहने वाली 81 वर्षीय शांति बाई (81 year old shanti bai cycling for work) आजकल के नौजवानों के लिए मिसाल हैं. वह रोजाना 20 से 22 किलोमीटर साइकिल चलाती हैं और 9 घंटे काम करती हैं.

जबलपुर के गढ़ा के पास रहने वाली शांति बाई भी साइकिल चलाकर खुद को इस उम्र में भी स्वस्थ रखती हैं. उनकी दो बेटियां हैं, जिनकी शादी हो चुकी है. शांति बाई बताती हैं कि वह पढ़ी लिखी नही हैं, पर उसके हौसले उन पढ़े लिखों से भी बुलंद हैं, जोकि एक उम्र के बाद थक हारकर बैठ जाते हैं. जो काम 81 साल की शांति रोजाना कर रही हैं, उसे आजकल के युवा भी नहीं कर सकते हैं.

रोजाना 9 घंटे करती हैं काम

शांति बाई बताती है कि वह रोजाना सुबह 8 बजे अपने घर से काम के लिए निकल जाती हैं और फिर शाम को 5 बजे वापस आती हैं, वह कई घरों में काम भी करती हैं. उनका कहना है कि रोजाना वह 20 से 22 किलोमीटर साइकिल चलाती हैं. कई मर्तबा ऐसा भी होता है कि जब साइकिल चलाते-चलाते वह थक जाती हैं, फिर उनसे साइकिल नहीं संभलती है. इस दौरान वह सड़क किनारे बैठ कर आराम करती हैं, फिर अपनी मंजिल की ओर निकल पड़ती हैं.

जज्बे के आगे कभी उम्र नहीं आई आड़े
जज्बे के आगे कभी उम्र नहीं आई आड़े

81 साल की उम्र में भी नहीं लगा चश्मा

आज की बदलती जीवनशैली के कारण कम उम्र के बच्चों को भी चश्मा लगने लगा है, लेकिन 81 साल की होने के बावजूद शांति बाई की आंखों पर चश्मा नहीं है और इस उम्र में भी वह साफ देख सकती हैं. वह न सिर्फ बाहर बल्कि घर का भी अपना पूरा काम (81 year old shanti bai cycling for work) स्वयं करती हैं, कह सकते हैं कि वह इस उम्र में भी वह किसी के लिए बोझ नहीं हैं.

सेहत के लिए जरूरी है साइकिलिंग

भले ही 81 साल की शांति बाई मजबूरी में रोजाना 20-22 किलोमीटर रोजाना साइकिल चला रही हैं, उनका इस उम्र में भी साइकिल चलाना यह बताता है कि जीवन के लिए साइकिलिंग करना कितना फायदेमंद होता है, साइकिलिंग करने से न सिर्फ व्यक्ति स्वस्थ रहता है, बल्कि सेहत भी बनी रहती है.

यह भी पढ़ें- भारतीय सेना ने की गर्भवती महिला की मदद, पहुंचाया अस्पताल

साइकिलिंग से ताकत, समन्वय और संतुलन में सुधार होता है. रोजाना साइकिल चलाने से मानसिक स्वास्थ्य रोग जैसे अवसाद, तनाव और चिंता को कम किया जा सकता. साथ ही बढ़ते वजन को भी कंट्रोल किया जा सकता है.

जबलपुर : मध्य प्रदेश के जबलपुर में रहने वाली 81 वर्षीय शांति बाई (81 year old shanti bai cycling for work) आजकल के नौजवानों के लिए मिसाल हैं. वह रोजाना 20 से 22 किलोमीटर साइकिल चलाती हैं और 9 घंटे काम करती हैं.

जबलपुर के गढ़ा के पास रहने वाली शांति बाई भी साइकिल चलाकर खुद को इस उम्र में भी स्वस्थ रखती हैं. उनकी दो बेटियां हैं, जिनकी शादी हो चुकी है. शांति बाई बताती हैं कि वह पढ़ी लिखी नही हैं, पर उसके हौसले उन पढ़े लिखों से भी बुलंद हैं, जोकि एक उम्र के बाद थक हारकर बैठ जाते हैं. जो काम 81 साल की शांति रोजाना कर रही हैं, उसे आजकल के युवा भी नहीं कर सकते हैं.

रोजाना 9 घंटे करती हैं काम

शांति बाई बताती है कि वह रोजाना सुबह 8 बजे अपने घर से काम के लिए निकल जाती हैं और फिर शाम को 5 बजे वापस आती हैं, वह कई घरों में काम भी करती हैं. उनका कहना है कि रोजाना वह 20 से 22 किलोमीटर साइकिल चलाती हैं. कई मर्तबा ऐसा भी होता है कि जब साइकिल चलाते-चलाते वह थक जाती हैं, फिर उनसे साइकिल नहीं संभलती है. इस दौरान वह सड़क किनारे बैठ कर आराम करती हैं, फिर अपनी मंजिल की ओर निकल पड़ती हैं.

जज्बे के आगे कभी उम्र नहीं आई आड़े
जज्बे के आगे कभी उम्र नहीं आई आड़े

81 साल की उम्र में भी नहीं लगा चश्मा

आज की बदलती जीवनशैली के कारण कम उम्र के बच्चों को भी चश्मा लगने लगा है, लेकिन 81 साल की होने के बावजूद शांति बाई की आंखों पर चश्मा नहीं है और इस उम्र में भी वह साफ देख सकती हैं. वह न सिर्फ बाहर बल्कि घर का भी अपना पूरा काम (81 year old shanti bai cycling for work) स्वयं करती हैं, कह सकते हैं कि वह इस उम्र में भी वह किसी के लिए बोझ नहीं हैं.

सेहत के लिए जरूरी है साइकिलिंग

भले ही 81 साल की शांति बाई मजबूरी में रोजाना 20-22 किलोमीटर रोजाना साइकिल चला रही हैं, उनका इस उम्र में भी साइकिल चलाना यह बताता है कि जीवन के लिए साइकिलिंग करना कितना फायदेमंद होता है, साइकिलिंग करने से न सिर्फ व्यक्ति स्वस्थ रहता है, बल्कि सेहत भी बनी रहती है.

यह भी पढ़ें- भारतीय सेना ने की गर्भवती महिला की मदद, पहुंचाया अस्पताल

साइकिलिंग से ताकत, समन्वय और संतुलन में सुधार होता है. रोजाना साइकिल चलाने से मानसिक स्वास्थ्य रोग जैसे अवसाद, तनाव और चिंता को कम किया जा सकता. साथ ही बढ़ते वजन को भी कंट्रोल किया जा सकता है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.