ETV Bharat / bharat

तमिलनाडु के 15 फीसदी और असम में लगभग 3 फीसदी लोग पीएम बदलना चाहते हैं: सर्वे

पश्चिम बंगाल में स्थिति थोड़ी अलग है, क्योंकि 10.49 फीसदी पीएम बदलना चाहते हैं, 8.44 फीसदी केंद्र सरकार बदलना चाहते हैं, जबकि एक फीसदी से भी कम मौजूदा सांसद बदलने के पक्ष में हैं.

पीएम
पीएम
author img

By

Published : May 21, 2022, 6:49 AM IST

नई दिल्ली: पिछले साल जिन पांच राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में चुनाव हुए, उनमें से करीब 15 फीसदी तमिलनाडु के सर्वेक्षण के उत्तरदाता प्रधानमंत्री को बदलना चाहते हैं, तो वहीं असम में महज 3 फीसदी लोग प्रधानमंत्री बदलना चाहते हैं. यह चार राज्यों - असम, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु और केरल - और केंद्र शासित प्रदेश पुडुचेरी में आईएएनएस की ओर से सीवोटर द्वारा किए गए एक विशेष सर्वेक्षण के दौरान सामने आया, जहां 2021 में विधानसभा चुनाव हुए थे.

तमिलनाडु में, 14.94 प्रतिशत उत्तरदाता प्रधानमंत्री को बदलना चाहते हैं, 9.46 प्रतिशत केंद्र सरकार और 1.75 प्रतिशत अपने मौजूदा सांसद को बदलना चाहते हैं. पड़ोसी पुद्दुचेरी में 14.06 फीसदी पीएम बदलना चाहते हैं, 13.64 फीसदी केंद्र सरकार और 6.44 फीसदी अपने मौजूदा सांसद को बदलना चाहते हैं. केरल में 10.19 फीसदी पीएम बदलना चाहते हैं, 16.59 फीसदी केंद्र सरकार और 2.59 फीसदी मौजूदा सांसद को बदलना चाहते हैं.

पश्चिम बंगाल में स्थिति थोड़ी अलग है, क्योंकि 10.49 फीसदी पीएम बदलना चाहते हैं, 8.44 फीसदी केंद्र सरकार बदलना चाहते हैं, जबकि एक फीसदी से भी कम मौजूदा सांसद बदलने के पक्ष में हैं. हालांकि, असम में केवल 2.89 प्रतिशत उत्तरदाता पीएम बदलना चाहते हैं, 4.55 प्रतिशत केंद्र सरकार और केवल 1.65 प्रतिशत अपने सांसद को बदलना चाहते हैं. सर्वेक्षण में यह भी कहा गया है कि अखिल भारतीय स्तर पर, 9.89 प्रतिशत या उत्तरदाता पीएम बदलने के पक्ष में हैं, 5.89 प्रतिशत केंद्र सरकार को बदलना चाहते हैं, जबकि 2.76 प्रतिशत मौजूदा सांसद को बदलने के इच्छुक हैं.

सर्वेक्षण ने यह भी संकेत दिया कि तमिलनाडु के 25.36 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने केंद्र से सबसे अधिक नाराज हैं, राज्य सरकार के साथ 20.99 प्रतिशत, स्थानीय सरकार के साथ 5.51 प्रतिशत, जबकि 33.55 प्रतिशत ने 'नहीं जानते/कह नहीं सकते हैं' को चुना. केरल में 23.47 फीसदी केंद्र से सबसे ज्यादा नाराज हैं, 37.32 फीसदी राज्य से, 12.38 फीसदी स्थानीय सरकार से और 25.24 फीसदी 'कुछ नहीं कह सकते' को चुना.

पश्चिम बंगाल में 19.85 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने केंद्र से सबसे अधिक नाराज हैं, 20.1 प्रतिशत राज्य सरकार के साथ, 6.86 प्रतिशत स्थानीय निकायों के साथ और 50.61 प्रतिशत ने टिप्पणी नहीं करने का विकल्प चुना. पुड्डुचेरी के मतदाता केंद्र शासित प्रदेश सरकार से सबसे ज्यादा नाराज हैं- 33.96 फीसदी, केंद्र सरकार से 17.55 फीसदी और स्थानीय सरकार से 5.1 फीसदी लोग नाराज हैं. कुल 50.61 फीसदी कुछ भी कहने की स्थिति में नहीं थे.

असम में, स्थिति बहुत अलग नजर आई, केवल 5.19 प्रतिशत सबसे अधिक केंद्र से नाराज हैं, 9.53 प्रतिशत मतदाता राज्य से नाराज हैं और 5.19 प्रतिशत लोग स्थानीय सरकार से नाराज हैं, जबकि 80 प्रतिशत से अधिक ने कहा 'पता नहीं/कह नहीं सकते'.

आईएएनएस

नई दिल्ली: पिछले साल जिन पांच राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में चुनाव हुए, उनमें से करीब 15 फीसदी तमिलनाडु के सर्वेक्षण के उत्तरदाता प्रधानमंत्री को बदलना चाहते हैं, तो वहीं असम में महज 3 फीसदी लोग प्रधानमंत्री बदलना चाहते हैं. यह चार राज्यों - असम, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु और केरल - और केंद्र शासित प्रदेश पुडुचेरी में आईएएनएस की ओर से सीवोटर द्वारा किए गए एक विशेष सर्वेक्षण के दौरान सामने आया, जहां 2021 में विधानसभा चुनाव हुए थे.

तमिलनाडु में, 14.94 प्रतिशत उत्तरदाता प्रधानमंत्री को बदलना चाहते हैं, 9.46 प्रतिशत केंद्र सरकार और 1.75 प्रतिशत अपने मौजूदा सांसद को बदलना चाहते हैं. पड़ोसी पुद्दुचेरी में 14.06 फीसदी पीएम बदलना चाहते हैं, 13.64 फीसदी केंद्र सरकार और 6.44 फीसदी अपने मौजूदा सांसद को बदलना चाहते हैं. केरल में 10.19 फीसदी पीएम बदलना चाहते हैं, 16.59 फीसदी केंद्र सरकार और 2.59 फीसदी मौजूदा सांसद को बदलना चाहते हैं.

पश्चिम बंगाल में स्थिति थोड़ी अलग है, क्योंकि 10.49 फीसदी पीएम बदलना चाहते हैं, 8.44 फीसदी केंद्र सरकार बदलना चाहते हैं, जबकि एक फीसदी से भी कम मौजूदा सांसद बदलने के पक्ष में हैं. हालांकि, असम में केवल 2.89 प्रतिशत उत्तरदाता पीएम बदलना चाहते हैं, 4.55 प्रतिशत केंद्र सरकार और केवल 1.65 प्रतिशत अपने सांसद को बदलना चाहते हैं. सर्वेक्षण में यह भी कहा गया है कि अखिल भारतीय स्तर पर, 9.89 प्रतिशत या उत्तरदाता पीएम बदलने के पक्ष में हैं, 5.89 प्रतिशत केंद्र सरकार को बदलना चाहते हैं, जबकि 2.76 प्रतिशत मौजूदा सांसद को बदलने के इच्छुक हैं.

सर्वेक्षण ने यह भी संकेत दिया कि तमिलनाडु के 25.36 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने केंद्र से सबसे अधिक नाराज हैं, राज्य सरकार के साथ 20.99 प्रतिशत, स्थानीय सरकार के साथ 5.51 प्रतिशत, जबकि 33.55 प्रतिशत ने 'नहीं जानते/कह नहीं सकते हैं' को चुना. केरल में 23.47 फीसदी केंद्र से सबसे ज्यादा नाराज हैं, 37.32 फीसदी राज्य से, 12.38 फीसदी स्थानीय सरकार से और 25.24 फीसदी 'कुछ नहीं कह सकते' को चुना.

पश्चिम बंगाल में 19.85 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने केंद्र से सबसे अधिक नाराज हैं, 20.1 प्रतिशत राज्य सरकार के साथ, 6.86 प्रतिशत स्थानीय निकायों के साथ और 50.61 प्रतिशत ने टिप्पणी नहीं करने का विकल्प चुना. पुड्डुचेरी के मतदाता केंद्र शासित प्रदेश सरकार से सबसे ज्यादा नाराज हैं- 33.96 फीसदी, केंद्र सरकार से 17.55 फीसदी और स्थानीय सरकार से 5.1 फीसदी लोग नाराज हैं. कुल 50.61 फीसदी कुछ भी कहने की स्थिति में नहीं थे.

असम में, स्थिति बहुत अलग नजर आई, केवल 5.19 प्रतिशत सबसे अधिक केंद्र से नाराज हैं, 9.53 प्रतिशत मतदाता राज्य से नाराज हैं और 5.19 प्रतिशत लोग स्थानीय सरकार से नाराज हैं, जबकि 80 प्रतिशत से अधिक ने कहा 'पता नहीं/कह नहीं सकते'.

आईएएनएस

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.