सरगुजा: अंबिकापुर में देश का पहला गार्बेज कैफे शुरू हुआ है. अंबिकापुर बस स्टैंड पर बने इस गार्बेज कैफे का शुभारंभ स्वास्थ्य और पंचायत मंत्री टी एस सिंहदेव ने किया. मंत्री टी एस सिंहदेव ने नगर निगम की इस पहल को सराहा. इस दौरान सिंहदेव ने कैफे का खाना भी चखा. उन्होंने वहीं खाना खा रही महिला की थाली से सब्जी ली और कहा कि, 'स्वाद तो अच्छा है.'
- नगर निगम अंबिकापुर द्वारा खोले गए इस गार्बेज कैफे में रोड साइड पड़ी पॉलीथिन को लाने पर खाना या नाश्ता मुफ्त में दिया जाएगा.
- इसके तहत 1 किलो पॉलिथीन पर खाना और आधा किलो पॉलिथीन पर नाश्ता दिया जाना है.
- इसके लिए अंबिकापुर नगर निगम ने स्वच्छता के काम में लगी महिलाओं को प्लास्टिक एकत्र करने का जिम्मा दिया है.
- सड़क से प्लास्टिक लाने वाले लोग एसएलआरएम की महिलाओं को प्लास्टिक सौंपेंगे और वह महिलाएं प्लास्टिक का वजन करने के बाद उन्हें एक टोकन उपलब्ध कराएंगी.
- इस टोकन को गार्बेज कैफे में देने के बाद गार्बेज कैफे संचालक के द्वारा भोजन या नाश्ता मुफ्त में दिया जाएगा.
कैफे की सजावट है शानदार
नगर निगम ने गार्बेज कैफे के स्वरूप को बड़ा ही खूबसूरत बनाया है. किचन में पर्याप्त साफ-सफाई और स्वच्छता से भोजन निर्माण करने के संसाधन उपलब्ध हैं. गार्बेज कैफे में जो खाना दिया जा रहा है उसकी गुणवत्ता भी बेहतर है.
गार्बेज कैफे के शुभारंभ के लिए पहुंचे मंत्री टी एस सिंह देव ने भी खाना खा रही महिला की थाली से खाना चख कर खाने के गुणवत्ता का परीक्षण किया और परीक्षण के बाद उन्होंने खाने की तारीफ की.
विपक्ष नहीं है खुश !
नगर निगम अंबिकापुर की सोच को विपक्ष में बैठी भाजपा बेकार बता रही थी. विपक्ष का कहना है कि अंबिकापुर क्लीन सिटी है. क्लीन सिटी में रोड साइड प्लास्टिक मिलना संभव नहीं है, ऐसे में प्लास्टिक के बदले खाना दिए जाने की योजना बेकार साबित होगी.
लेकिन प्रदेश ही नहीं देश में इस योजना को खूब सराहा जा रहा है और शहर को प्लास्टिक मुक्त बनाने की दिशा में एक अहम कदम माना जा रहा है.