राजनांदगांव: लॉकडाउन के तीसरे चरण में घर लौटने वाले प्रवासी मजदूरों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है. अब तक 114 ग्राम पंचायतों में 2 हजार 361 लोग पहुंच चुके हैं. बाहरी प्रदेशों से वापस लौटने वाले लोगों को क्वॉरेंटाइन किया जा रहा है, लेकिन एकाएक मजदूरों की संख्या में बढ़ोतरी होने से पंचायतों में व्यवस्था करने में कड़ी मशक्कत करनी पड़ रही है.
इन राज्यों से लौटने वाले मजदूरों की संख्या ज्यादा
प्रवासी मजदूरों में ज्यादातर महाराष्ट्र, गुजरात, आंध्रप्रदेश जैसे राज्यों से आ रहे लोग शामिल हैं. पंचायत मुख्यालयों में सामुदायिक भवन, स्कूल, पंचायत भवन सहित अन्य सरकारी भवनों को क्वॉरेंटाइन सेंटर बनाकर इनके रुकने की व्यवस्था की गई है, ताकि कोरोना वायरस के संक्रमण को रोका जा सके, लेकिन संख्या बढ़ने से क्वॉरेंटाइन सेंटरों की व्यवस्था गड़बड़ा रही है.
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डेढ़ सौ से ज्यादा होम आइसोलेट
पंचायतों में क्वॉरेंटाइन किए गए लोगों की अवधि पूरा होने के बाद अब तक 122 लोगों को होम आइसोलेशन में वापस घर भेज दिया गया है. ये सभी लोग 14 से 28 दिनों तक पंचायत के क्वॉरेंटाइन सेंटरों मे रोके गए थे. वहीं क्वॉरेंटाइन अवधि पूरी होते ही स्वास्थ्य परीक्षण के बाद सभी को घर में होम आइसोलेशन का शपथ पत्र लेकर घर भेजा गया है. बता दें कि धनगांव पंचायत के सेंटर में 115 लोग रुके हुए थे, जिसमें से 35 की घर वापसी हो गई है, जबकि अभी भी 85 क्वॉरेंटाइन के लिए रुके हुए हैं.
अभी और बढ़ेगा आंकड़ा
ग्राम पंचायतों में बनाए क्वॉरेंटाइन सेंटरों में लोगों का आंकड़ा आने वाले दिनों में और बढ़ने की उम्मीद है. श्रमिक ट्रेन सहित वाहन की सुविधा शुरू होने के बाद डेढ़ माह से अपने घर जाने के लिए फंसे लोग लगातार पहुंच रहे हैं. इसमें अधिकांश बाहरी प्रदेशों सहित महानगरों में रोजी-रोटी कमाने गए लोग शामिल हैं. लॉकडाउन के कारण बाहर फंसे लोग घर पहुंचने की जुगत लगा रहे हैं. ऐसे में रोज शहर से होकर ही चार से पांच सौ लोग अपने गांव पहुंच रहे हैं.