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सतर्कता के कारण 14 दिन में नहीं मिले एक भी कोरोना पॉजिटिव केस

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Published : Apr 13, 2020, 10:58 PM IST

कोविड-19 से बचाव और इसकी रोकथाम के लिए लगातार काम किया जा रहा है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा नई दिल्ली में किए गए प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान राजनांदगांव को सराहना मिली. 14 दिनों के लॉकडाउन के दौरान एक भी कोरोना पॉजिटिव मरीज नहीं पाया गया.

Rajnandgaon gets appreciation
राजनांदगांव को मिली सराहना

राजनांदगांव: कोरोना वायरस के संक्रमण को फैलने से रोकने में जिला प्रशासन काफी हद तक कामयाब हुआ है. पिछले 14 दिनों में सतर्कता के कारण जिले में एक भी कोरोना पॉजिटिव मरीज सामने नहीं आया है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने जिला प्रशासन की सतर्कता को लेकर सराहना की है. प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अधिकारियों ने जिला प्रशासन की कार्ययोजना बनाकर कोरोना से लड़ने की लड़ाई को सराहा है.

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कोविड 19 महामारी की वर्तमान स्थिति पर आज नई दिल्ली में प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की थी. प्रेस कॉन्फ्रेंस में मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने कहा कि देश के 15 राज्यों के 25 जिले ऐसे हैं, जहां पिछले 14 दिनों में कोई पॉजिटिव केस नहीं आए हैं, उनमें राजनांदगांव जिला भी शामिल है. अग्रवाल ने कहा कि जिला प्रशासन और फ्रंट लाइन के कार्यकर्ताओं के अथक प्रयासों और कार्यों के परिणामस्वरूप ऐसे अच्छे परिणाम आए हैं. पिछले 14 दिनों में कोई नया पॉजिटिव केस नहीं आया है.

जिले में ही किया कोरोना पॉजिटिव का इलाज

कलेक्टर जयप्रकाश मौर्य ने कहा कि जिले में एक पॉजिटिव केस मिलने के बाद सभी के सहयोग से सक्रियतापूर्वक सुरक्षात्मक उपाय किए गए. उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य विभाग के डॉक्टरों और अन्य पैरामेडिकल स्टाफ के सतत इलाज की वजह से राजनांदगांव का एक संक्रमित व्यक्ति ठीक होकर घर पहुंच गया. उन्होंने कहा कि इसमें सबसे बड़ी बात यह है कि हमने संक्रमित व्यक्ति को इलाज के लिए दूसरी जगह भेजने के बजाय राजनांदगांव में ही इलाज किया.

सकारात्मक सहयोग मिला

कलेक्टर ने कहा कि जिले में महामारी की रोकथाम के प्रयासों में जिला एवं पुलिस-प्रशासन के अधिकारियों-कर्मचारियों ने सकारात्मक सहयोग दिया. स्वच्छताकर्मियों और दीदियों ने अपनी जान जोखिम में डालकर अपने दायित्वों का निर्वहन किया. मीडिया प्रतिनिधियों का योगदान सराहनीय है. कलेक्टर ने कहा कि अब हमें सोशल डिस्टेंसिंग पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है. इसमें आम जनता का पूरा-पूूरा सहयोग चाहिए. प्रशासन और पुलिस के अधिकारी-कर्मचारी इस कार्य में पूरी लगन से लगे हैं, लेकिन इस कठिन कार्य को पूरा करने के लिए आम लोगों का सहयोग जरूरी है. उन्होंने आम जनता से इसके लिए सहयोग की अपील की है.

उन्होंने कहा कि अब अधिकारियों-कर्मचारियों को और अधिक सक्रियता से कार्य करने की आवश्यकता है. कहीं पर भी सोशल डिस्टेंसिंग का उल्लंघन नहीं होना चाहिए.

राजनांदगांव: कोरोना वायरस के संक्रमण को फैलने से रोकने में जिला प्रशासन काफी हद तक कामयाब हुआ है. पिछले 14 दिनों में सतर्कता के कारण जिले में एक भी कोरोना पॉजिटिव मरीज सामने नहीं आया है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने जिला प्रशासन की सतर्कता को लेकर सराहना की है. प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अधिकारियों ने जिला प्रशासन की कार्ययोजना बनाकर कोरोना से लड़ने की लड़ाई को सराहा है.

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कोविड 19 महामारी की वर्तमान स्थिति पर आज नई दिल्ली में प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की थी. प्रेस कॉन्फ्रेंस में मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने कहा कि देश के 15 राज्यों के 25 जिले ऐसे हैं, जहां पिछले 14 दिनों में कोई पॉजिटिव केस नहीं आए हैं, उनमें राजनांदगांव जिला भी शामिल है. अग्रवाल ने कहा कि जिला प्रशासन और फ्रंट लाइन के कार्यकर्ताओं के अथक प्रयासों और कार्यों के परिणामस्वरूप ऐसे अच्छे परिणाम आए हैं. पिछले 14 दिनों में कोई नया पॉजिटिव केस नहीं आया है.

जिले में ही किया कोरोना पॉजिटिव का इलाज

कलेक्टर जयप्रकाश मौर्य ने कहा कि जिले में एक पॉजिटिव केस मिलने के बाद सभी के सहयोग से सक्रियतापूर्वक सुरक्षात्मक उपाय किए गए. उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य विभाग के डॉक्टरों और अन्य पैरामेडिकल स्टाफ के सतत इलाज की वजह से राजनांदगांव का एक संक्रमित व्यक्ति ठीक होकर घर पहुंच गया. उन्होंने कहा कि इसमें सबसे बड़ी बात यह है कि हमने संक्रमित व्यक्ति को इलाज के लिए दूसरी जगह भेजने के बजाय राजनांदगांव में ही इलाज किया.

सकारात्मक सहयोग मिला

कलेक्टर ने कहा कि जिले में महामारी की रोकथाम के प्रयासों में जिला एवं पुलिस-प्रशासन के अधिकारियों-कर्मचारियों ने सकारात्मक सहयोग दिया. स्वच्छताकर्मियों और दीदियों ने अपनी जान जोखिम में डालकर अपने दायित्वों का निर्वहन किया. मीडिया प्रतिनिधियों का योगदान सराहनीय है. कलेक्टर ने कहा कि अब हमें सोशल डिस्टेंसिंग पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है. इसमें आम जनता का पूरा-पूूरा सहयोग चाहिए. प्रशासन और पुलिस के अधिकारी-कर्मचारी इस कार्य में पूरी लगन से लगे हैं, लेकिन इस कठिन कार्य को पूरा करने के लिए आम लोगों का सहयोग जरूरी है. उन्होंने आम जनता से इसके लिए सहयोग की अपील की है.

उन्होंने कहा कि अब अधिकारियों-कर्मचारियों को और अधिक सक्रियता से कार्य करने की आवश्यकता है. कहीं पर भी सोशल डिस्टेंसिंग का उल्लंघन नहीं होना चाहिए.

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