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खैरागढ़: चेन्नई और पंजाब में बढ़ी मौसम्बी की मांग, ये है वजह

लॉकडाउन के बाद भी फलों की अभी भी मांग है. राजनांदगांव के खैरागढ़ में मद्रास और पंजाब से मौसम्बी लाई जा रहीहै. दुकानदारों का कहना है गर्मी की वजह से इसकी ज्यादा मांग बढ़ गई है. वहीं डॉक्टर इसके कई फायदे बता रहे हैं.

Demand for Mousambi in Khairagarh
खैरागढ़ में मौसम्बी की मांग बढ़ी
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Published : Jun 2, 2020, 1:26 AM IST

Updated : Jun 2, 2020, 11:46 AM IST

खैरागढ़/राजनांदगांव: कोरोना संकटकाल में मौसमी फलों की डिमांड तेजी से बढ़ गई है. केले और आम के साथ बाजार में मौसम्बी की मांग अधिक है. डॉक्टर भी गर्मी और कोरोना संक्रमण को देखते हुए लोगों को फल खाने की सलाह दे रहे हैं. मौसम्बी में इम्युनिटी क्षमता अधिक होती है, इसलिए मौसम्बी की घरेलू मांग अधिक है.

Madamsi is coming from Madras
मौसम्बी की खैरागढ़ में मांग

संतरा बाजर से गायब हो जाने के बाद से बाजार में चेन्नई की मौसम्बी खूब बिक रही है. फल व्यापारियों का कहना है कि, गर्मी के सीजन में मौसम्बी की डिमांड ज्यादा होती ही है. लॉकडाउन की वजह से आवक कम है, लेकिन मौसम्बी बाजार में आसानी से उपलब्ध हो रही है. 6 से 7 दिन पहले तक मौसम्बी 70 से 80 रूपये किलो में बिक रही था. वहीं अब मौसम्बी 50 से 60 रूपये किलो बिक रही है. फल विक्रेताओं का कहना है कि, गर्मी के लिए मौसम्बी काफी फायदेमंद है. इसके कारण अब इसकी मांग बढ़ रही है.

दुकानों से ज्यादा घरेलू डिमांड

मौसम्बी व्यापारी कादिर अहमद और नेमचंद मानिक ने बताया कि लॉकडाउन के कारण शुरुआती दिनों में काफी नुकसान हुआ है, लेकिन लॉकडाउन में फलों की घरेलू डिमांड काफी बढ़ गई है. अभी कोरोना संक्रमण के कारण अधिकांश जूस कार्नर बंद हैं. फिर भी फलों की मांग घटी नहीं है. मौसम्बी को लेकर थोक फल भंडार के व्यापारियों ने कहा कि, 'मौसम्बी की आवक अब बढ़ गई है. इसके कारण दाम भी घट गए हैं. केवल संतरा महंगा है, क्योंकि बाजार में संतरा नहीं आ रहा है. पंजाब से ही संतरा पहुंच रहा है, जिसका भाव 140 से 150 किलो है. उन्होंने कहा कि, मौसम्बी सीधे बागान से आ रही है. वहीं आम और केले कोल्ड स्टोरेज से होकर आ रहे हैं.

पखवाड़े भर रहेगी मौसम्बी की आवक

फल व्यापारियों ने कहा कि, मौसम्बी की आवक आने वाले 15 दिनों तक ही रहेगी. मौसम बदलने के बाद आवक बंद हो जाएगी. व्यापारियों ने बताया कि मौसम्बी की आवक ज्यादातर 25 से 30 दिनों तक ही होती है. बाजार में अभी मद्रास और पंजाब से नागपुर होकर मौसम्बी की फल पहुंच रही है. इसमें ज्यादातर आवक चेन्नई की मौसम्बी की है.

मौसम्बी के हैं कई फायदें

खैरागढ़ बीएमओ डॉ विवेक बिसेन का कहना है कि, 'गर्मी में फलों का ज्यादा उपयोग करना चाहिए. मौसम्बी तो कई बीमारियों से लड़ने के लिए गुणकारी हैं. इसमें विटामिन सी रहता है. सर्दी-खांसी जैसी सामान्य जुकाम की बीमारी भी मौसम्बी खाने से ठीक हो जाती है. जूस के बजाय मौसम्बी को सीधे खाए तो ज्यादा फायदेंमद हैं. कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए भी मौसमी मौसम्बी लाभदायक है. इसके अलावा जो भी मौसमी फल है. गर्मी में उन फलों का ज्यादा उपयोग करें.

खैरागढ़/राजनांदगांव: कोरोना संकटकाल में मौसमी फलों की डिमांड तेजी से बढ़ गई है. केले और आम के साथ बाजार में मौसम्बी की मांग अधिक है. डॉक्टर भी गर्मी और कोरोना संक्रमण को देखते हुए लोगों को फल खाने की सलाह दे रहे हैं. मौसम्बी में इम्युनिटी क्षमता अधिक होती है, इसलिए मौसम्बी की घरेलू मांग अधिक है.

Madamsi is coming from Madras
मौसम्बी की खैरागढ़ में मांग

संतरा बाजर से गायब हो जाने के बाद से बाजार में चेन्नई की मौसम्बी खूब बिक रही है. फल व्यापारियों का कहना है कि, गर्मी के सीजन में मौसम्बी की डिमांड ज्यादा होती ही है. लॉकडाउन की वजह से आवक कम है, लेकिन मौसम्बी बाजार में आसानी से उपलब्ध हो रही है. 6 से 7 दिन पहले तक मौसम्बी 70 से 80 रूपये किलो में बिक रही था. वहीं अब मौसम्बी 50 से 60 रूपये किलो बिक रही है. फल विक्रेताओं का कहना है कि, गर्मी के लिए मौसम्बी काफी फायदेमंद है. इसके कारण अब इसकी मांग बढ़ रही है.

दुकानों से ज्यादा घरेलू डिमांड

मौसम्बी व्यापारी कादिर अहमद और नेमचंद मानिक ने बताया कि लॉकडाउन के कारण शुरुआती दिनों में काफी नुकसान हुआ है, लेकिन लॉकडाउन में फलों की घरेलू डिमांड काफी बढ़ गई है. अभी कोरोना संक्रमण के कारण अधिकांश जूस कार्नर बंद हैं. फिर भी फलों की मांग घटी नहीं है. मौसम्बी को लेकर थोक फल भंडार के व्यापारियों ने कहा कि, 'मौसम्बी की आवक अब बढ़ गई है. इसके कारण दाम भी घट गए हैं. केवल संतरा महंगा है, क्योंकि बाजार में संतरा नहीं आ रहा है. पंजाब से ही संतरा पहुंच रहा है, जिसका भाव 140 से 150 किलो है. उन्होंने कहा कि, मौसम्बी सीधे बागान से आ रही है. वहीं आम और केले कोल्ड स्टोरेज से होकर आ रहे हैं.

पखवाड़े भर रहेगी मौसम्बी की आवक

फल व्यापारियों ने कहा कि, मौसम्बी की आवक आने वाले 15 दिनों तक ही रहेगी. मौसम बदलने के बाद आवक बंद हो जाएगी. व्यापारियों ने बताया कि मौसम्बी की आवक ज्यादातर 25 से 30 दिनों तक ही होती है. बाजार में अभी मद्रास और पंजाब से नागपुर होकर मौसम्बी की फल पहुंच रही है. इसमें ज्यादातर आवक चेन्नई की मौसम्बी की है.

मौसम्बी के हैं कई फायदें

खैरागढ़ बीएमओ डॉ विवेक बिसेन का कहना है कि, 'गर्मी में फलों का ज्यादा उपयोग करना चाहिए. मौसम्बी तो कई बीमारियों से लड़ने के लिए गुणकारी हैं. इसमें विटामिन सी रहता है. सर्दी-खांसी जैसी सामान्य जुकाम की बीमारी भी मौसम्बी खाने से ठीक हो जाती है. जूस के बजाय मौसम्बी को सीधे खाए तो ज्यादा फायदेंमद हैं. कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए भी मौसमी मौसम्बी लाभदायक है. इसके अलावा जो भी मौसमी फल है. गर्मी में उन फलों का ज्यादा उपयोग करें.

Last Updated : Jun 2, 2020, 11:46 AM IST
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