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सरकार कलाकारों के लिए पॉलिसी नहीं बनाती: अनुज शर्मा

कोरोना वायरस और लॉकडाउन के दौरान छत्तीसगढ़ी फिल्म जगत पर पड़े असर के लोगों को रू-ब-रू कराने के लिए छॉलीवुड के सुपरस्टार अनुज शर्मा से ETV भारत ने खास बातचीत की है.

Special conversation with Chollywood Superstar Anuj Sharma
छॉलीवुड सुपर स्टार अनुज शर्मा
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Published : Jul 4, 2020, 10:18 PM IST

रायपुर: छत्तीसगढ़ी फिल्म जगत के सुपरस्टार अनुज शर्मा से ETV भारत ने खास बातचीत की है. इस दौरान उन्होंने अपने शुरुआती करियर के उतार-चढ़ाव से लेकर छॉलीवुड पर पड़े कोरोना वायरस और लॉकडाउन के प्रभाव पर विस्तार से चर्चा की है. उन्होंने बताया कि छॉलीवुड पर कोरोना वायरस और लॉकडाउन का बुरा असर पड़ा है. लगभग 20 फिल्में अधर पर लटक गईं थी, जिसमें से 2 फिल्में अनुज शर्मा के खुद की हैं. जो अप्रैल महीने में रिलीज होने वाली थीं, लेकिन लॉकडाउन के कारण रिलीज नहीं हो सकीं हैं. उनका कहना है कि ठीक उनकी फिल्मों की तरह कई फिल्मों की तारीख आगे बढ़ाई गई है, उन्होंने इसे फिल्म जगत के लिए कठिन वक्त बताया है.

छॉलीवुड सुपर स्टार अनुज शर्मा से खास बातचीत

निजी जीवन पर बात करते हुए उन्होंने अपने स्ट्रगल के बारे में बताया. उन्होंने बताया कि लगभग 40 फिल्मों में बतौर हीरो उन्होंने काम किया है. लेकिन उन्हें इसके लिए कभी ऑडिशन नहीं देना पड़ा. कॉलेज के दिनों के बारे में उन्होंने बताया कि लोग उन्हें काफी पसंद करते थे. क्योंकि अनुज हमेशा ही कल्चर प्रोग्रामों में हिस्सा लिया करते थे. यहीं से उन्हें पहली फिल्म का ऑफर भी मिला था. आगे बात करते हुए कहा कि उनकी पहली फिल्म मोर छंईया भुईयां आज भी उन्हें बेहद पसंद आती है.

छत्तीसगढ़ी लोक संगीत को बचाने की पहल

अनुज कहते हैं कि, छत्तीसगढ़ का जो असल संगीत है, वो यहां जन-जन तक नहीं पहुंच रहा था. जबकि छत्तीसगढ़ को उसकी लोक-कला और संगीत-संस्कृति के लिए ही जाना जाता है. ऐसे में छत्तीसगढ़ की लोक-संगीत को बढ़ावा देने के लिए अनुज ने एक टीम तैयार की जिसमें छत्तीसगढ़ के लोक वाद्य यंत्रों के जरिए ही छत्तीसगढ़ी लोक गीतों को गाया जाने लगा जिसे खासा पंसद भी किया गया. इस तरह आरूग को पहचान भी मिली.

पढ़ें: 'गौठानों को ग्रामोद्योग से जोड़ेंगे, मनरेगा कोरोना काल में संजीवनी बना, ये केंद्र सरकार के मुंह पर तमाचा'

लॉकडाउन और कोरोना का पड़ा असर

अनुज ने बताया कि फिलहाल शूटिंग कर पाना मुश्किल है. ऐसे में जिनकी रोजी-रोटी रोज के इस काम पर निर्भर है वो अधिक प्रभावित हुए हैं. कैमरा मैन, स्पॉट बॉय, राइटर, मेकअप मैन, लाइट मैन जैसे कई लोगों के सामने आर्थिक तंगी के हालात थे. अनुज ने बताया कि उन्होंने कई लोगों की मदद भी की. लेकिन उनके पास भी रिसोर्स लिमिटेड हैं.

फिल्म जगत को मिले राहत

उनका कहना है कि सरकार ने इन्हें राहत देने के लिए अब तक कोई कदम नहीं उठाए हैं. सरकार ने कलाकारों के लिए कोई पॉलिसी नहीं बनाई है. जबकि कलाकारों का वर्ग काफी प्रभावशाली होता है. मंचों के जरिए प्रोग्राम करने वालों के पास आज ऑडियंस नहीं है. छत्तीसगढ़ में कोई छत्तीसगढ़ी सैटेलाइट चैनल नहीं है. ऐसे में सभी की कमाई पर काफी असर पड़ा है. उन्होंने सरकार से अपील की है कि छॉलीवुड पर लॉकडाउन और कोरोना वायरस का व्यापक असर हुआ है, ऐसे में प्रदेश सरकार फिल्म जगत को भी राहत देने पर विचार करें.

रायपुर: छत्तीसगढ़ी फिल्म जगत के सुपरस्टार अनुज शर्मा से ETV भारत ने खास बातचीत की है. इस दौरान उन्होंने अपने शुरुआती करियर के उतार-चढ़ाव से लेकर छॉलीवुड पर पड़े कोरोना वायरस और लॉकडाउन के प्रभाव पर विस्तार से चर्चा की है. उन्होंने बताया कि छॉलीवुड पर कोरोना वायरस और लॉकडाउन का बुरा असर पड़ा है. लगभग 20 फिल्में अधर पर लटक गईं थी, जिसमें से 2 फिल्में अनुज शर्मा के खुद की हैं. जो अप्रैल महीने में रिलीज होने वाली थीं, लेकिन लॉकडाउन के कारण रिलीज नहीं हो सकीं हैं. उनका कहना है कि ठीक उनकी फिल्मों की तरह कई फिल्मों की तारीख आगे बढ़ाई गई है, उन्होंने इसे फिल्म जगत के लिए कठिन वक्त बताया है.

छॉलीवुड सुपर स्टार अनुज शर्मा से खास बातचीत

निजी जीवन पर बात करते हुए उन्होंने अपने स्ट्रगल के बारे में बताया. उन्होंने बताया कि लगभग 40 फिल्मों में बतौर हीरो उन्होंने काम किया है. लेकिन उन्हें इसके लिए कभी ऑडिशन नहीं देना पड़ा. कॉलेज के दिनों के बारे में उन्होंने बताया कि लोग उन्हें काफी पसंद करते थे. क्योंकि अनुज हमेशा ही कल्चर प्रोग्रामों में हिस्सा लिया करते थे. यहीं से उन्हें पहली फिल्म का ऑफर भी मिला था. आगे बात करते हुए कहा कि उनकी पहली फिल्म मोर छंईया भुईयां आज भी उन्हें बेहद पसंद आती है.

छत्तीसगढ़ी लोक संगीत को बचाने की पहल

अनुज कहते हैं कि, छत्तीसगढ़ का जो असल संगीत है, वो यहां जन-जन तक नहीं पहुंच रहा था. जबकि छत्तीसगढ़ को उसकी लोक-कला और संगीत-संस्कृति के लिए ही जाना जाता है. ऐसे में छत्तीसगढ़ की लोक-संगीत को बढ़ावा देने के लिए अनुज ने एक टीम तैयार की जिसमें छत्तीसगढ़ के लोक वाद्य यंत्रों के जरिए ही छत्तीसगढ़ी लोक गीतों को गाया जाने लगा जिसे खासा पंसद भी किया गया. इस तरह आरूग को पहचान भी मिली.

पढ़ें: 'गौठानों को ग्रामोद्योग से जोड़ेंगे, मनरेगा कोरोना काल में संजीवनी बना, ये केंद्र सरकार के मुंह पर तमाचा'

लॉकडाउन और कोरोना का पड़ा असर

अनुज ने बताया कि फिलहाल शूटिंग कर पाना मुश्किल है. ऐसे में जिनकी रोजी-रोटी रोज के इस काम पर निर्भर है वो अधिक प्रभावित हुए हैं. कैमरा मैन, स्पॉट बॉय, राइटर, मेकअप मैन, लाइट मैन जैसे कई लोगों के सामने आर्थिक तंगी के हालात थे. अनुज ने बताया कि उन्होंने कई लोगों की मदद भी की. लेकिन उनके पास भी रिसोर्स लिमिटेड हैं.

फिल्म जगत को मिले राहत

उनका कहना है कि सरकार ने इन्हें राहत देने के लिए अब तक कोई कदम नहीं उठाए हैं. सरकार ने कलाकारों के लिए कोई पॉलिसी नहीं बनाई है. जबकि कलाकारों का वर्ग काफी प्रभावशाली होता है. मंचों के जरिए प्रोग्राम करने वालों के पास आज ऑडियंस नहीं है. छत्तीसगढ़ में कोई छत्तीसगढ़ी सैटेलाइट चैनल नहीं है. ऐसे में सभी की कमाई पर काफी असर पड़ा है. उन्होंने सरकार से अपील की है कि छॉलीवुड पर लॉकडाउन और कोरोना वायरस का व्यापक असर हुआ है, ऐसे में प्रदेश सरकार फिल्म जगत को भी राहत देने पर विचार करें.

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