रायपुर: छत्तीसगढ़ के डीजीपी डीएम अवस्थी ने मंगलवार को पुलिस शहीद स्मृति दिवस की पूर्व संध्या पर शहीद पुलिसकर्मियों के परिजनों से मुलाकात की. साथ ही उनकी समस्याओं का तत्काल निराकरण किया. शहीद एएसआई कोरसा नागैया के बेटे के. रविकांत ने पारिवारिक कारणों से बीजापुर से दंतेवाड़ा ट्रांसफर करने की मांग की. इस पर डीजीपी अवस्थी ने तत्काल स्थानांतरण आदेश जारी कर दिया. इस दौरान सात शहीदों के परिजनों ने आवास आवंटन संबंधी मांग रखी. जिस पर डीजीपी अवस्थी ने तत्काल सातों परिवारों को आवास आवंटित करने के निर्देश जारी कर दिए है.
शहीद सहायक आरक्षक गंधम रमेश के बेटे बाल आरक्षक प्रियांशु गंधम को सुकमा में, शहीद प्रधान आरक्षक देवेंद्र सिंह के बेटे बाल आरक्षक राजसिंह को दूसरी वाहिनी छसबल, शहीद आरक्षक अमरदीप खलखो के भाई प्रधान आरक्षक रूपेश खलखो को दूसरी वाहिनी छसबल में, शहीद आरक्षक हेमंत कुमार पोया की पत्नी डेगेश्वरी पोया को कांकेर में, शहीद प्रधान आरक्षक उपेंद्र कुमार साहू की पत्नी राधिका साहू को बस्तर में, शहीद सोयम रमेश की पत्नी सोयम लच्छी को सुकमा में और शहीद आरक्षक लिबरू राम बघेल की पत्नी हीराबती बघेल को सुकमा में आवास देने के निर्देश जारी किए गए है.
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डीजीपी डीएम अवस्थी ने कहा कि सेवा के दौरान शहीद हुए पुलिसकर्मियों के परिजनों की जिम्मेदारी उनकी है. वे सभी अपने आपको अकेला न समझें. किसी भी तरह की समस्या होने पर वे सभी सीधे आकर उनसे मिल सकते हैं. शहीदों के परिजनों की समस्याओं का निराकरण पूरी संवेदनशीलता और प्राथमिकता के आधार पर किया जाएगा.
हर साल 21 अक्टूबर को मनाया जाता है 'पुलिस स्मृति दिवस'
लद्दाख में चीनी फौज के साथ 21 अक्टूबर 1959 को हुई मुठभेड़ का अध्याय सुरक्षा बलों के शौर्य और पराक्रम के तौर पर इतिहास में स्वर्णिम अक्षरों में दर्ज है. इस मुठभेड़ में सुरक्षाबलों के वीर जवानों की शहादत की याद में हर साल 21 अक्टूबर को 'पुलिस स्मृति दिवस' मनाया जाता है.