रायपुर: महात्मा गांधी (Mahatma Gandhi) पर दिए विवादित बयान के बाद जेल में बंद कालीचरण महाराज (Kalicharan Maharaj) को लेकर छत्तीसगढ़ में सियासी पारा गर्म है. संस्कृति मंत्री अमरजीत भगत (Culture Minister Amarjit Bhagat) ने कालीचरण को तथाकथित संत बताया है. उन्होंने कहा कि कालीचरण के द्वारा आपत्तिजनक बयान सोची-समझी रणनीति के तहत दिया गया है. यह लोग छत्तीसगढ़ को अस्थिर करना चाहते हैं.
मंत्री अमरजीत भगत (Culture Minister Amarjit Bhagat) ने बताया कि कालीचरण जैसे जो लोग अपने आप को तथाकथित संत मानते हैं. दरअसल ऐसे लोग समाज के लिए घातक हैं. समाज में आपसी भाईचारा, प्रेम, सौहार्द को मिटा देना चाहते हैं. जबकि छत्तीसगढ़ को शांति का टापू कहा जाता है.
अमरजीत भगत ने कहा कि यह लोग समाज में विष घोल रहे हैं. किसी भी जाति, धर्म या नेता के प्रति आपत्तिजनक टिप्पणी करना गलत है. पूरे भारत में जिन्होंने स्वाधीनता आंदोलन चलाया और स्वतंत्रता दिलाई, उनके बारे में आपत्तिजनक बयान देना सरासर गलत और सोची-समझी रणनीति का हिस्सा है.
अमरजीत भगत ने विपक्ष पर आरोप लगाया कि कुछ लोग छत्तीसगढ़ को अस्थिर करना चाहते हैं. इसलिए इस प्रकार के तथाकथित संत के खिलाफ सख्त कार्रवाई करना चाहिए ताकि इसकी पुनरावृत्ति दोबारा ना हो. छत्तीसगढ़ की धरती में इस प्रकार के विघटनकारी तंत्रों को अवसर ना मिले, यह एक सबक है.
कालीचरण ने छत्तीसगढ़ में आयोजित धर्म संसद के दौरान महात्मा गांधी के लिए आपत्तिजनक शब्दों का प्रयोग किया था. उसके बाद छत्तीसगढ़ पुलिस ने उनके खिलाफ मामला दर्ज कर कार्रवाई शुरू की. रायपुर पुलिस ने कालीचरण को मध्यप्रदेश के खजुराहो से गिरफ्तार किया. रायपुर लाकर कालीचरण को कोर्ट में पेश किया गया. कोर्ट ने पहले कालीचरण को पुलिस रिमांड पर भेजा और बाद में जेल भेज दिया गया.