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अयोध्या में राम मंदिर कोर्ट के आदेश पर बना, बीजेपी ने नहीं बनाया मंदिर: सीएम भूपेश बघेल

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Published : Jan 6, 2023, 4:48 PM IST

Updated : Jan 6, 2023, 4:53 PM IST

छेरछेरा तिहार के छत्तीसगढ़ में बड़े धूमधाम के साथ मनाया जा रहा है. CM bhupesh visit dudhadhari math राजधानी रायपुर स्थित दूधाधारी मठ में भी भव्य आयोजन किया गया, chher chhera tihar 2023 जिसमें मुख्यमंत्री भूपेश बघेल उपस्थित रहे. इस दौरान मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने दूधाधारी मठ में भगवान के दर्शन किए. shakambhari jayanti 2023 इस बीच मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को तराजू में बैठाया गया और उन्हें धान से तौला गया. मीडिया से मुखातिब होने पर प्रदेशवासियों को सीएम ने छेरछेरा तिहार की शुभकामनाएं दीं. उन्होंने राम मंदिर निर्माण को लेकर अमित शाह के बयान पर निशाना साधा. साथ ही राज्यपाल पर आरक्षण बिल पर साइन नहीं करने पर तंज भी कसा है.

chher chhera tihar 2023
छेरछेरा तिहार 2023

रायपुर: रायपुर स्थित दूधाधारी मठ में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल दर्शन करने पहुंचे. CM bhupesh visit dudhadhari math इस दौरान मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मंच से कहा "सभी को छेरछेरा पुन्नी के गाड़ा गाड़ा बधाई. chher chhera tihar 2023 हमारी सरकार ने सभी तीज त्योहारों पर छुट्टी दी. shakambhari jayanti 2023 मुख्यमंत्री निवास में सभी त्योहारों को मनाते हैं. किसान सभी के लिए भोजन की व्यवस्था करते हैं. छेरछेरा में दान की राशि जनकल्याण में खर्च की जाती है. अन्नदाता समेत सभी वर्ग अनाज को दान करता है. दान देना उदारता और दान लेना अहंकार को नष्ट करने का प्रतीक है. भगवान बालाजी की कृपा से बहुत अच्छी पैदावार हुई है. 85 लाख मीट्रिक टन धान खरीदा, लेकिन एक भी किसान की शिकायत नहीं आई. सभी को तत्काल भुगतान मिला है."

"छेरछेरा दान देने और लेने की परंपरा": मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "आज पूरे छत्तीसगढ़ में छेरछेरा पुन्नी का पर्व मना रहे हैं. chher chhera tihar 2023 मैं भी आज दूधाधारी मठ में आया था, भगवान बालाजी से आशीर्वाद भी लिया. महंत रामसुंदर दास ने छेरछेरा पुन्नी के पावन पर्व पर उन्होंने भी दान दिया. धान का भी दान दिया और 2 लाख 11 हजार राशि का भी दान दिया. छेरछेरा दान देने की भी परंपरा है और दान लेने की भी परंपरा है. दान देने की परंपरा लोगों को उदार बनाता है, दाल लेने की परंपरा से लोगों का अहंकार खत्म होता है."

"अयोध्या राम मंदिर न्यायालय के आदेश पर बना है, भारतीय जनता पार्टी ने नहीं बनाया": अमित शाह के अयोध्या में राम मंदिर बनने की तारीख वाले बयान पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "अयोध्या में राम मंदिर न्यायालय के आदेश पर बना है. कोई भारतीय जनता पार्टी ने नहीं बनाया है. baghel targets amit shah on Ram mandir पहले संगठन बनाया गया, सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर फिर बना है, भाजपा ने नहीं बनाया है. राम गमन पथ बनाने की बात है, तो हमको कोर्ट ने आदेश नहीं किया, लेकिन छत्तीसगढ़ में हम बना रहे हैं. शिवरीनारायण और चंदखुरी में हमने राम भगवान की 35 और 51 फीट की मूर्ति बनाई है. लगातार हम काम कर रहे हैं, हम वोट की राजनीति नहीं कर रहे हैं. भाजपा वोट के लिए काम कर रही है. भगवान राम को छत्तीसगढ़ में पूजने की परंपरा है. वनवासी, शबरी, कौशल्या माता के, राम के रूप, भाचा राम के रूप में उनकी पूजा करते हैं और यह हमारे लिए आस्था का प्रतीक है."

"ऑनलाइन सट्टा के खिलाफ कानून भारत सरकार को बनाना चाहिए": वही ऑनलाइन सट्टा को लेकर लाए गए कानून पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा " पूरे देश में ऑनलाइन सट्टा चल रहा है, लेकिन छत्तीसगढ़ सरकार ने जब केंद्र सरकार से इस बारे में पूछा कि कोई कानून बना रहे हैं. तो उन्होंने कहा कि अपने राज्य में बना लीजिए. इसलिए हमने सट्टा जुआ इसके लिए कड़ा नियम बनाया है. बल्कि यह काम तो भारत सरकार को करना चाहिए. खुलेआम सोशल मीडिया में उसके विज्ञापन चल रहा है, इसे रोका जाना चाहिए."

यह भी पढ़ें: chherchera mahaparv 2023 : बेमेतरा में छेरछेरा महापर्व की धूम, बच्चों ने दान मांगकर निभाई परंपरा

राज्यपाल पर आरक्षण बिल को लटकाने का आरोप: राज्यपाल जिलों में दौरा करने वाली है, उसको लेकर बीजेपी कह रही है कि इससे शांति स्थापित होगी. इस पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "राज्यपाल के आरक्षण बिल पर साइन ना करने के निर्णय से पूरे समाज में असंतोष है. विधानसभा में पारित बिल को 1 महीने से ऊपर हो गया है, उसे लटका के रखीं हैं. छत्तीसगढ़ बस्तर शांति की ओर लौटा है. उसमें जहर घोलने का काम भाजपा कर रही है. उनको वह प्रश्रय दे रहीं हैं. यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है."

बीजेपी पर धर्मांतरण को लेकर षडयंत्र करने का लगाया: आरोप बीजेपी लगातार धर्मांतरण का मुद्दा उठाने पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "मेरे पास सूची है, भाजपा के शासनकाल में कितने चर्च बने हैं. धर्मांतरण हुआ तभी चर्च बने हैं. यह सूची मैं सभी को दे दूंगा, ताकि जानकारी हो कि कौन सा चर्च कब बना. भाजपा के पास मुद्दे नहीं है, केवल धर्मांतरण और संप्रदायिकता दो मुद्दे हैं. जिसमें उनकी मास्टरी है. लेकिन मैं यह स्पष्ट करना चाहता हूं, उनका कोई भी षड्यंत्र सफल नहीं होगा, असफल ही होगा."

राजपथ पर छत्तीसगढ़ की झांकी नहीं निकालने पर कहा: इस बार राजपथ पर छत्तीसगढ़ की झांकी नहीं दिखाई देगी. इस पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "वह भारत सरकार के ऊपर निर्णय है. पिछले बार हमें मौका मिला था, तो हम लोगों ने निकाला. इस बार नहीं मिला, तो नहीं मिला, दूसरे राज्य को मिलेगा."

"केवल आदिवासियों की नहीं, पूरे छत्तीसगढ़ की हैं राज्यपाल": छेरछेरा के मौके पर राज्यपाल से आरक्षण बिल पर सिग्नेचर की मांग करने पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "हम लोग तो लगातार मांग कर रहे हैं छत्तीसगढ़ के नौजवान पीढ़ी के लिए. क्योंकि कॉलेज में भर्ती होना है, सरकारी नौकरी में भर्ती होना है, इसमे रोक लग रहा है और नुकसान हो रहा है. उसके लिए उनको सोचना चाहिए. वह आदिवासी वर्ग से आती है, उनका हक मारा जा रहा है. वो केवल आदिवासी की राज्यपाल नहीं है, वह पूरे छत्तीसगढ़ के राज्यपाल है, उन्हें इस बात को ध्यान रखना चाहिए."

छेरछेरा पर्व पर मिलती है शासकीय छुट्टी: जब से छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की सरकार बनी है, तब से स्थानीय तीज त्योहारों को कहीं ज्यादा महत्व दिया जाने लगा है. यही वजह है कि इन तीज त्योहारों पर राज्य सरकार की ओर से छुट्टी भी घोषित की गई है. छेरछेरा पर्व पर भी शासकीय छुट्टी की घोषणा सरकार बनते ही मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने की थी. इसके बाद से लगातार इस पर्व पर शासकीय छुट्टी रहती है. लोग बड़े ही धूमधाम के साथ यह पर्व मनाते हैं.

क्यों मनाया जाता है छेरछेरा: महादान और फसल उत्सव के रूप में छेरछेरा तिहार मनाया जाता है. छेरछेरा तिहार छत्तीसगढ़ के सामाजिक समरसता, समृद्ध दानशीलता की गौरवशाली परम्परा का संवाहक है. इस दिन ‘छेर छेरा, कोठी के धान ल हेर हेरा’ बोलते हुए गांव के बच्चे, युवा और महिलाएं घरों में जाकर धान और भेंट स्वरूप प्राप्त पैसे इकट्ठा करते हैं. इकट्ठा किए गए धान और राशि से वर्षभर के लिए कार्यक्रम बनाते हैं. छत्तीसगढ़ के किसानों में उदारता के कई आयाम दिखाई देते हैं. यहां उत्पादित फसल को समाज के जरूरतमंद लोगों, कामगारों और पशु-पक्षियों के लिए दान देने की परम्परा रही है.

रायपुर: रायपुर स्थित दूधाधारी मठ में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल दर्शन करने पहुंचे. CM bhupesh visit dudhadhari math इस दौरान मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मंच से कहा "सभी को छेरछेरा पुन्नी के गाड़ा गाड़ा बधाई. chher chhera tihar 2023 हमारी सरकार ने सभी तीज त्योहारों पर छुट्टी दी. shakambhari jayanti 2023 मुख्यमंत्री निवास में सभी त्योहारों को मनाते हैं. किसान सभी के लिए भोजन की व्यवस्था करते हैं. छेरछेरा में दान की राशि जनकल्याण में खर्च की जाती है. अन्नदाता समेत सभी वर्ग अनाज को दान करता है. दान देना उदारता और दान लेना अहंकार को नष्ट करने का प्रतीक है. भगवान बालाजी की कृपा से बहुत अच्छी पैदावार हुई है. 85 लाख मीट्रिक टन धान खरीदा, लेकिन एक भी किसान की शिकायत नहीं आई. सभी को तत्काल भुगतान मिला है."

"छेरछेरा दान देने और लेने की परंपरा": मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "आज पूरे छत्तीसगढ़ में छेरछेरा पुन्नी का पर्व मना रहे हैं. chher chhera tihar 2023 मैं भी आज दूधाधारी मठ में आया था, भगवान बालाजी से आशीर्वाद भी लिया. महंत रामसुंदर दास ने छेरछेरा पुन्नी के पावन पर्व पर उन्होंने भी दान दिया. धान का भी दान दिया और 2 लाख 11 हजार राशि का भी दान दिया. छेरछेरा दान देने की भी परंपरा है और दान लेने की भी परंपरा है. दान देने की परंपरा लोगों को उदार बनाता है, दाल लेने की परंपरा से लोगों का अहंकार खत्म होता है."

"अयोध्या राम मंदिर न्यायालय के आदेश पर बना है, भारतीय जनता पार्टी ने नहीं बनाया": अमित शाह के अयोध्या में राम मंदिर बनने की तारीख वाले बयान पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "अयोध्या में राम मंदिर न्यायालय के आदेश पर बना है. कोई भारतीय जनता पार्टी ने नहीं बनाया है. baghel targets amit shah on Ram mandir पहले संगठन बनाया गया, सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर फिर बना है, भाजपा ने नहीं बनाया है. राम गमन पथ बनाने की बात है, तो हमको कोर्ट ने आदेश नहीं किया, लेकिन छत्तीसगढ़ में हम बना रहे हैं. शिवरीनारायण और चंदखुरी में हमने राम भगवान की 35 और 51 फीट की मूर्ति बनाई है. लगातार हम काम कर रहे हैं, हम वोट की राजनीति नहीं कर रहे हैं. भाजपा वोट के लिए काम कर रही है. भगवान राम को छत्तीसगढ़ में पूजने की परंपरा है. वनवासी, शबरी, कौशल्या माता के, राम के रूप, भाचा राम के रूप में उनकी पूजा करते हैं और यह हमारे लिए आस्था का प्रतीक है."

"ऑनलाइन सट्टा के खिलाफ कानून भारत सरकार को बनाना चाहिए": वही ऑनलाइन सट्टा को लेकर लाए गए कानून पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा " पूरे देश में ऑनलाइन सट्टा चल रहा है, लेकिन छत्तीसगढ़ सरकार ने जब केंद्र सरकार से इस बारे में पूछा कि कोई कानून बना रहे हैं. तो उन्होंने कहा कि अपने राज्य में बना लीजिए. इसलिए हमने सट्टा जुआ इसके लिए कड़ा नियम बनाया है. बल्कि यह काम तो भारत सरकार को करना चाहिए. खुलेआम सोशल मीडिया में उसके विज्ञापन चल रहा है, इसे रोका जाना चाहिए."

यह भी पढ़ें: chherchera mahaparv 2023 : बेमेतरा में छेरछेरा महापर्व की धूम, बच्चों ने दान मांगकर निभाई परंपरा

राज्यपाल पर आरक्षण बिल को लटकाने का आरोप: राज्यपाल जिलों में दौरा करने वाली है, उसको लेकर बीजेपी कह रही है कि इससे शांति स्थापित होगी. इस पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "राज्यपाल के आरक्षण बिल पर साइन ना करने के निर्णय से पूरे समाज में असंतोष है. विधानसभा में पारित बिल को 1 महीने से ऊपर हो गया है, उसे लटका के रखीं हैं. छत्तीसगढ़ बस्तर शांति की ओर लौटा है. उसमें जहर घोलने का काम भाजपा कर रही है. उनको वह प्रश्रय दे रहीं हैं. यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है."

बीजेपी पर धर्मांतरण को लेकर षडयंत्र करने का लगाया: आरोप बीजेपी लगातार धर्मांतरण का मुद्दा उठाने पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "मेरे पास सूची है, भाजपा के शासनकाल में कितने चर्च बने हैं. धर्मांतरण हुआ तभी चर्च बने हैं. यह सूची मैं सभी को दे दूंगा, ताकि जानकारी हो कि कौन सा चर्च कब बना. भाजपा के पास मुद्दे नहीं है, केवल धर्मांतरण और संप्रदायिकता दो मुद्दे हैं. जिसमें उनकी मास्टरी है. लेकिन मैं यह स्पष्ट करना चाहता हूं, उनका कोई भी षड्यंत्र सफल नहीं होगा, असफल ही होगा."

राजपथ पर छत्तीसगढ़ की झांकी नहीं निकालने पर कहा: इस बार राजपथ पर छत्तीसगढ़ की झांकी नहीं दिखाई देगी. इस पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "वह भारत सरकार के ऊपर निर्णय है. पिछले बार हमें मौका मिला था, तो हम लोगों ने निकाला. इस बार नहीं मिला, तो नहीं मिला, दूसरे राज्य को मिलेगा."

"केवल आदिवासियों की नहीं, पूरे छत्तीसगढ़ की हैं राज्यपाल": छेरछेरा के मौके पर राज्यपाल से आरक्षण बिल पर सिग्नेचर की मांग करने पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा "हम लोग तो लगातार मांग कर रहे हैं छत्तीसगढ़ के नौजवान पीढ़ी के लिए. क्योंकि कॉलेज में भर्ती होना है, सरकारी नौकरी में भर्ती होना है, इसमे रोक लग रहा है और नुकसान हो रहा है. उसके लिए उनको सोचना चाहिए. वह आदिवासी वर्ग से आती है, उनका हक मारा जा रहा है. वो केवल आदिवासी की राज्यपाल नहीं है, वह पूरे छत्तीसगढ़ के राज्यपाल है, उन्हें इस बात को ध्यान रखना चाहिए."

छेरछेरा पर्व पर मिलती है शासकीय छुट्टी: जब से छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की सरकार बनी है, तब से स्थानीय तीज त्योहारों को कहीं ज्यादा महत्व दिया जाने लगा है. यही वजह है कि इन तीज त्योहारों पर राज्य सरकार की ओर से छुट्टी भी घोषित की गई है. छेरछेरा पर्व पर भी शासकीय छुट्टी की घोषणा सरकार बनते ही मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने की थी. इसके बाद से लगातार इस पर्व पर शासकीय छुट्टी रहती है. लोग बड़े ही धूमधाम के साथ यह पर्व मनाते हैं.

क्यों मनाया जाता है छेरछेरा: महादान और फसल उत्सव के रूप में छेरछेरा तिहार मनाया जाता है. छेरछेरा तिहार छत्तीसगढ़ के सामाजिक समरसता, समृद्ध दानशीलता की गौरवशाली परम्परा का संवाहक है. इस दिन ‘छेर छेरा, कोठी के धान ल हेर हेरा’ बोलते हुए गांव के बच्चे, युवा और महिलाएं घरों में जाकर धान और भेंट स्वरूप प्राप्त पैसे इकट्ठा करते हैं. इकट्ठा किए गए धान और राशि से वर्षभर के लिए कार्यक्रम बनाते हैं. छत्तीसगढ़ के किसानों में उदारता के कई आयाम दिखाई देते हैं. यहां उत्पादित फसल को समाज के जरूरतमंद लोगों, कामगारों और पशु-पक्षियों के लिए दान देने की परम्परा रही है.

Last Updated : Jan 6, 2023, 4:53 PM IST
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