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बरमकेला नगर पंचायत: 5 साल में 7 करोड़ रुपये खर्च करने के बाद भी शहर में पेजयल की भीषण समस्या - महिला डॉक्टरों की भी कमी

शहर के कई वार्डों में आज भी पेजयल की भीषण समस्या है. गर्मी के दिनों में पूरे शहर में पानी की किल्लत रहती है. इसके अलावा शहर में छात्रों के लिए एक भी हॉस्टल नहीं है. हालांकि कॉलेज के लिए एक भवन तैयार किया गया है.

baramkela nagar panchayat
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Published : Oct 23, 2019, 11:21 PM IST

रायगढ़: बरमकेला नगर पंचायत में कुल 15 वार्ड हैं. शहर की जनसंख्या करीब 6 हजार बताई जाती है. इसमें 4350 मतदाता हैं. 15 वार्ड वाले बरमकेला नगर पंचायत में 7 वार्ड में बीजेपी और 7 वार्ड में कांग्रेस के पार्षद हैं. एक वार्ड पर निर्दलीय पार्षद का कब्जा है. वर्तमान अध्यक्ष का दावा है कि उनके बीते पांच साल के कार्यकाल में नगर में 7 करोड़ रुपये की लागत से विभिन्न विकास कार्य हुए हैं. इसमें सभी वार्डों में बिजली, नाली, वाटर प्लांट और सीसी रोड बनाये गए हैं.

5 साल में 7 करोड़ रुपये खर्च करने के बाद भी शहर में पेजयल की भीषण समस्या

नगर पंचायत बरमकेला में पिछले चुनाव में निर्दलीय अध्यक्ष चुनकर आई थी, जो बाद में 2018 विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस में चली गई. अध्यक्ष के विकास के तमाम दावों के बावजूद स्थानीय लोगों का कहना है कि क्षेत्र में विकास के काम नहीं हुए हैं. शहर के कई वार्डों में आज भी पेजयल की भीषण समस्या है. गर्मी के दिनों में पूरे शहर में पानी की किल्लत रहती है. इसके अलावा शहर में छात्रों के लिए एक भी हॉस्टल नहीं है. हालांकि कॉलेज के लिए एक भवन तैयार किया गया है.

स्थानीय लोगों का कहना है कि नगर पंचायत क्षेत्र में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तो है, लेकिन उसके विस्तार की जरूरत है, शहर के अस्पताल में महिला डॉक्टरों की भी कमी है. जिसके कारण महिलाओं को निजी अस्पतालों का रुख करना पड़ता है. शहर की ज्यादातर सड़कें जर्जर हो चुकी है, लेकिन निगम प्रशासन ने इसके लिए कुछ नहीं किया है.

रायगढ़: बरमकेला नगर पंचायत में कुल 15 वार्ड हैं. शहर की जनसंख्या करीब 6 हजार बताई जाती है. इसमें 4350 मतदाता हैं. 15 वार्ड वाले बरमकेला नगर पंचायत में 7 वार्ड में बीजेपी और 7 वार्ड में कांग्रेस के पार्षद हैं. एक वार्ड पर निर्दलीय पार्षद का कब्जा है. वर्तमान अध्यक्ष का दावा है कि उनके बीते पांच साल के कार्यकाल में नगर में 7 करोड़ रुपये की लागत से विभिन्न विकास कार्य हुए हैं. इसमें सभी वार्डों में बिजली, नाली, वाटर प्लांट और सीसी रोड बनाये गए हैं.

5 साल में 7 करोड़ रुपये खर्च करने के बाद भी शहर में पेजयल की भीषण समस्या

नगर पंचायत बरमकेला में पिछले चुनाव में निर्दलीय अध्यक्ष चुनकर आई थी, जो बाद में 2018 विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस में चली गई. अध्यक्ष के विकास के तमाम दावों के बावजूद स्थानीय लोगों का कहना है कि क्षेत्र में विकास के काम नहीं हुए हैं. शहर के कई वार्डों में आज भी पेजयल की भीषण समस्या है. गर्मी के दिनों में पूरे शहर में पानी की किल्लत रहती है. इसके अलावा शहर में छात्रों के लिए एक भी हॉस्टल नहीं है. हालांकि कॉलेज के लिए एक भवन तैयार किया गया है.

स्थानीय लोगों का कहना है कि नगर पंचायत क्षेत्र में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तो है, लेकिन उसके विस्तार की जरूरत है, शहर के अस्पताल में महिला डॉक्टरों की भी कमी है. जिसके कारण महिलाओं को निजी अस्पतालों का रुख करना पड़ता है. शहर की ज्यादातर सड़कें जर्जर हो चुकी है, लेकिन निगम प्रशासन ने इसके लिए कुछ नहीं किया है.

Intro:रायगढ़ जिले के सारंगढ़ विधानसभा के अंतर्गत बरमकेला नगर पंचायत आता है। 15 वार्ड वाले इस नगर पंचायत में निर्दलीय महिला अध्यक्ष वर्षा सालिकराम नायक है। इन्होंने 2018 विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस प्रवेश कर लिया, अब कांग्रेस समर्थक अध्यक्ष हैं। 2014 के निकाय चुनाव में भाजपा की चंद्रकला नायक को 250 वोटों से हराकर निर्दलीय वर्षा नायक ने अध्यक्ष पद पर जीत दर्ज कराकरायी थी। लगभग 6हजार जनसंख्या वाले नगर पंचायत में कुल 4350 मतदाता हैं जिनमे पुरूष वोटर अधिक है। यह वर्षा नायक का पहला कार्यकाल है। 2019 निकाय चुनाव के लिए बरमकेला नगर पंचायत सामान्य वर्ग के लिए आरक्षित है।


Body:15 वार्ड वाले बरमकेला नगर पंचायत सारंगढ़ विधानसभा के अंतर्गत आता है। इस नगर पंचायत में अघरिया जाती का वर्चस्व है जिसके बाद यादव, चौहान अग्रवाल जाती का दबदबा है। वर्तमान अध्यक्ष 1 वार्ड से निर्दलीय पार्षद है जबकि अन्य 14 वार्ड में से 7 में भाजपा के पार्षद और 7 में कांग्रेस के पार्षद हैं। पांच सालों में अध्यक्ष के द्वारा लगभग 7करोड़ की राशि के विकास कार्य हुए हैं जिनमे वार्डो में बिजली, नाली, सीसी रोड आदि हैं।


Conclusion: मुख्य समस्याएं

1. नगर पंचायत क्षेत्र में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र है जिसमें विस्तार बढ़ाने की मांग साथ ही महिला डॉक्टरों की नियुक्ति.

2. नवनिर्मित कॉलेज के लिए भवन और विद्यार्थियों के लिए हॉस्टल.

3. नगर पंचायत से गुजरने वाले मुख्य सड़क में मरम्मत और निर्माण.

4. शहर के बीचों-बीच लोगों के लिए गार्डन.

5. गर्मी के दिनों में पेयजल की समस्या.

6. गोमर्डा अभयारण्य से लगे होने के कारण वन्यजीवों से सुरक्षा।
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