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महासमुंद: तीन सूत्रीय मांगों को लेकर आदिवासी समाज का धरना-प्रदर्शन

महासमुंद में अनुसूचित जाति और जनजाति संयुक्त मोर्चा ने अपनी तीन सूत्रीय मांगों को लेकर पिथौरा थाने के सामने धरना-प्रदर्शन किया है.

tribal protest in mahasamund
आदिवासी समाज का धरना-प्रदर्शन
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Published : Dec 2, 2020, 11:21 AM IST

Updated : Dec 2, 2020, 2:44 PM IST

महासमुंद: अनुसूचित जाति और जनजाति संयुक्त मोर्चा ने अपनी तीन सूत्रीय मांगों को लेकर पिथौरा थाने के सामने धरना-प्रदर्शन किया है. इससे पहले भी कई बार आदिवासी समाज ने अपनी मांगों को लेकर शासन-प्रशासन को ज्ञापन सौंपा है, लेकिन उनकी मांग पर कोई कार्रवाई नहीं हो पाने के कारण आक्रोशित ग्रामीणों ने ये कदम उठाया है.

तीन सूत्रीय मांगों को लेकर आदिवासी समाज का धरना-प्रदर्शन

आदिवासी समाज ने बड़ा देवस्थल में तोड़फोड़ के मामले में कार्रवाई की मांग को लेकर मुख्यमंत्री, राज्यपाल समेत कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक से गुहार लगाई थी, लेकिन उनकी इन मांगों पर कोई कार्रवाई नहीं की गई. इसके अलावा अनुसूचित जाति और जनजाति के लोगों ने पटवारी राजेंद्र डोगरे और डॉक्टर अमृत रोहलेडर पर फर्जी जाति प्रमाणपत्र दिखाकर सरकारी नौकरी लेने का आरोप लगाया है और उन पर कार्रवाई करने की मांग की है.

पढ़ें: जशपुर: 14 सूत्रीय मांगों को लेकर छत्तीसगढ़ कर्मचारी-अधिकारी फेडरेशन ने निकाली मशाल रैली

अनिश्चितकालीन धरना-प्रदर्शन

बार-बार की शिकायत के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं होने से ग्रामीण नाराज हैं और आज सैकड़ों की संख्या में ग्रामीणों ने कार्रवाई की मांग को लेकर अनिश्चितकालीन धरना-प्रदर्शन किया है. ग्रामीणों का कहना है कि जब तक आरोपियों पर कार्रवाई नहीं की जाती है, वे धरना खत्म नहीं करेंगे.

महासमुंद: अनुसूचित जाति और जनजाति संयुक्त मोर्चा ने अपनी तीन सूत्रीय मांगों को लेकर पिथौरा थाने के सामने धरना-प्रदर्शन किया है. इससे पहले भी कई बार आदिवासी समाज ने अपनी मांगों को लेकर शासन-प्रशासन को ज्ञापन सौंपा है, लेकिन उनकी मांग पर कोई कार्रवाई नहीं हो पाने के कारण आक्रोशित ग्रामीणों ने ये कदम उठाया है.

तीन सूत्रीय मांगों को लेकर आदिवासी समाज का धरना-प्रदर्शन

आदिवासी समाज ने बड़ा देवस्थल में तोड़फोड़ के मामले में कार्रवाई की मांग को लेकर मुख्यमंत्री, राज्यपाल समेत कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक से गुहार लगाई थी, लेकिन उनकी इन मांगों पर कोई कार्रवाई नहीं की गई. इसके अलावा अनुसूचित जाति और जनजाति के लोगों ने पटवारी राजेंद्र डोगरे और डॉक्टर अमृत रोहलेडर पर फर्जी जाति प्रमाणपत्र दिखाकर सरकारी नौकरी लेने का आरोप लगाया है और उन पर कार्रवाई करने की मांग की है.

पढ़ें: जशपुर: 14 सूत्रीय मांगों को लेकर छत्तीसगढ़ कर्मचारी-अधिकारी फेडरेशन ने निकाली मशाल रैली

अनिश्चितकालीन धरना-प्रदर्शन

बार-बार की शिकायत के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं होने से ग्रामीण नाराज हैं और आज सैकड़ों की संख्या में ग्रामीणों ने कार्रवाई की मांग को लेकर अनिश्चितकालीन धरना-प्रदर्शन किया है. ग्रामीणों का कहना है कि जब तक आरोपियों पर कार्रवाई नहीं की जाती है, वे धरना खत्म नहीं करेंगे.

Last Updated : Dec 2, 2020, 2:44 PM IST
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