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महासमुंद: 'मोर जमीन मोर मकान' योजना से 200 परिवारों को मिला अशियाना

छत्तीसगढ़ सरकार ने महत्वाकांक्षी योजना 'मोर जमीन मोर मकान' के तहत 200 परिवारों को नए मकान दिया है, जिसके बाद ग्रामीण सरकार को धन्यवाद कर रहे हैं.

महत्वाकांक्षी योजना से 200 परिवारों को मिला अशियाना
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Published : Sep 26, 2019, 7:58 PM IST

Updated : Sep 26, 2019, 9:24 PM IST

महासमुंद: छत्तीसगढ़ सरकार की महत्वाकांक्षी योजना 'मोर जमीन मोर मकान' ने नगर के सैकड़ों गरीब परिवारों की तकदीर और तस्वीर दोनों ही बदल कर रख दी है. कभी छप्पर के टूटे मकान में रहने वाले परिवार आज इस योजना का लाभ लेकर पक्के मकान में खुशहाल जीवन व्यतीत कर रहे हैं. वे सरकार को धन्यवाद दे रहे हैं.

'मोर जमीन मोर मकान' योजना

पढ़ें : आजादी के 72 वर्ष बाद भी पक्की सड़क का इंतजार कर रहा है ये गांव.

बता दें कि महासमुंद जिले में 'मोर जमीन मोर मकान योजना' की शुरुआत साल 2017 में हुई, तब से लेकर आज तक इस योजना के तहत 568 परिवारों को पक्का मकान बनाने के लिए स्वीकृति राशि प्राप्त हुई और 200 लोगों के मकान बनकर तैयार हो गए हैं. इस योजना अंतर्गत हितग्राही के पास 30 वर्गमीटर जमीन होना चाहिए और उसका सालाना आय 3 लाख से कम होना चाहिए. ऐसे हितग्राही को सरकार 3 लाख रुपए देती है. मकान बनाने के लिए, जिसका 20 प्रतिशत राशि हितग्राही को खुद लगानी पड़ती है.

3 हजार लोगों को पक्का मकान देने के उद्देश्य
मामले में नगर पालिका के आला अधिकारी का कहना है कि तीन लाख के सालाना इनकम वाले ऐसे परिवारों को पक्का मकान उपलब्ध कराना ही इस योजना का मुख्य उद्देश्य है. बता दें कि नगर पालिका प्रशासन ने साल 2022 तक 3 हजार लोगों को पक्का मकान उपलब्ध कराने की कार्य योजना बना रही है.

महासमुंद: छत्तीसगढ़ सरकार की महत्वाकांक्षी योजना 'मोर जमीन मोर मकान' ने नगर के सैकड़ों गरीब परिवारों की तकदीर और तस्वीर दोनों ही बदल कर रख दी है. कभी छप्पर के टूटे मकान में रहने वाले परिवार आज इस योजना का लाभ लेकर पक्के मकान में खुशहाल जीवन व्यतीत कर रहे हैं. वे सरकार को धन्यवाद दे रहे हैं.

'मोर जमीन मोर मकान' योजना

पढ़ें : आजादी के 72 वर्ष बाद भी पक्की सड़क का इंतजार कर रहा है ये गांव.

बता दें कि महासमुंद जिले में 'मोर जमीन मोर मकान योजना' की शुरुआत साल 2017 में हुई, तब से लेकर आज तक इस योजना के तहत 568 परिवारों को पक्का मकान बनाने के लिए स्वीकृति राशि प्राप्त हुई और 200 लोगों के मकान बनकर तैयार हो गए हैं. इस योजना अंतर्गत हितग्राही के पास 30 वर्गमीटर जमीन होना चाहिए और उसका सालाना आय 3 लाख से कम होना चाहिए. ऐसे हितग्राही को सरकार 3 लाख रुपए देती है. मकान बनाने के लिए, जिसका 20 प्रतिशत राशि हितग्राही को खुद लगानी पड़ती है.

3 हजार लोगों को पक्का मकान देने के उद्देश्य
मामले में नगर पालिका के आला अधिकारी का कहना है कि तीन लाख के सालाना इनकम वाले ऐसे परिवारों को पक्का मकान उपलब्ध कराना ही इस योजना का मुख्य उद्देश्य है. बता दें कि नगर पालिका प्रशासन ने साल 2022 तक 3 हजार लोगों को पक्का मकान उपलब्ध कराने की कार्य योजना बना रही है.

Intro:एंकर - शासन की महत्वाकांक्षी योजना मोर जमीन मोर मकान ने महासमुंद नगर के सैकड़ों गरीब परिवारों की तकदीर व तस्वीर दोनों ही बदल कर रख दी है कभी छप्पर के टूटे मकान में रहने वाले परिवार आज इस योजना का लाभ लेकर अपने पक्के मकान में खुशहाल जीवन व्यतीत कर रहे हैं जहां हितग्राही शासन को धन्यवाद देते नहीं थक रहे हैं वहीं नगरपालिका अधिकारी इस योजना का लाभ ज्यादा से ज्यादा लोगों को मिले उसके लिए कार्य योजना बनाने में जुटे हैं देखिए एक रिपोर्ट......


Body:वीओ 1 - महासमुंद जिले में मोर जमीन मोर मकान योजना की शुरुआत वर्ष 2017 में हुई तब से लेकर आज तक इस योजना के तहत 568 परिवारों को पक्का मकान बनाने के लिए स्वीकृति प्राप्त हुई और 200 लोगों के मकान बन कर तैयार हो गए इस योजना अंतर गत हितग्राही के पास 30 वर्ग मीटर जमीन होना चाहिए और उसी सालाना आय 300000 से ज्यादा ना हो ऐसे हितग्राही को सरकार ₹300000 देती है मकान बनाने के लिए जिसका 20% राशि हितग्राही को लगानी पड़ती है शासन इन्हें शेष 80 प्रतिशत राशि शासन मुहैया कराती है जिससे हितग्राही को वापस करने की आवश्यकता नहीं पड़ती है महासमुंद नगर में ऐसे ही 200 परिवार थे जो छप्पर के टूटे-फूटे मकान में रहते थे उन्हें हमेशा यह चिंता सताती थी कि उनकी कभी अपनी का मकान हो पाएगा कि नहीं ऐसे में शासन की मोर जमीन मोर मकान योजना इस लोगों के लिए संजीवनी साबित हुई इन्हें जैसे ही इस योजना के संदर्भ मैं जानकारी हुई वैसे ही इन लोगों ने आवेदन किया और आज इनका पक्के मकान का सपना पूरा हो गया यह हितग्राही अब शासन को धन्यवाद देते नहीं थक रहे हैं।


Conclusion:वीओ 2 - इस पूरे मामले में नगरपालिका के आला अधिकारी का कहना है कि तीन लाख के सालाना इनकम वाले ऐसे परिवारों को पक्का मकान उपलब्ध कराना ही इस योजना का मुख्य उद्देश्य है गौरतलब है कि नगर पालिका प्रशासन द्वारा वर्ष 2022 तक 3000 लोगों पक्का मकान उपलब्ध कराने की कार्य योजना बनाकर उस पर काम किया जा रहा है।

बाइट 1 - हेमीन बाई हितग्राही पहचान चीका गुलाबी का साड़ी और माथे में बिंदी सर में सिंदूर।

बाइट 2 - समदरा बाई हितग्राही पहचान लाल कलर का ब्लाउज क्रीम कलर का साड़ी माथे में बिंदी और नाक का पहनी हुई है दोनों नाक के साइड।

बाइट 3 - जीवराखन लाल ध्रुव हितग्राही पहचान नीला और सफेद में फुल शर्ट और गले में सोने का चैन।

बाइट 4 - कैलाश हितग्राही पहचान गुलाबी कलर का हाफ टीशर्ट।

बाइट 5 - रमेश जायसवाल सीएमओ नगर पालिका महासमुंद पहचान डिब्बा डिब्बा वाला हाफ शर्ट चश्मा लगाया हुआ और सामने के जेब में हरे कलर का पिन रखा हुआ।

हकीमुद्दीन नासिर रिपोर्टर ईटीवी भारत महासमुंद छत्तीसगढ़ मो. 9826555052
Last Updated : Sep 26, 2019, 9:24 PM IST
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