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प्रसव के बाद नवजात की मौत, मां को 3 दिन से नहीं आया होश, डॉक्टर पर लापरवाही का आरोप

बुधवार को महिला ने ऑपरेशन के बाद एक बच्चे को जन्म दिया, लेकिन प्रसव के बाद ही बच्चे ने दम तोड़ दिया. इधर महिला की हालत भी गंभीर बनी हुई है.

शासकीय अस्पताल, मनेंद्रगढ़
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Published : Jun 8, 2019, 2:42 PM IST

कोरिया: मनेंद्रगढ़ के शासकीय अस्पताल में एक बार फिर बड़ी लापरवाही सामने आई है. यहां एक गर्भवती महिला को मंगलवार शाम अस्पताल में भर्ती कराया गया था. जिसके बाद बुधवार को महिला ने बड़े ऑपरेशन के बाद एक बच्चे को जन्म दिया, लेकिन प्रसव के बाद ही बच्चे ने दम तोड़ दिया. इधर महिला की हालत भी गंभीर बनी हुई है.

डॉक्टरों की लापरवाही ने ले ली नवजात की जान!, मां को तीन दिन बाद भी नहीं आया होश

ये था मामला
दरअसल, नगर पंचायत लेदरी की रहने वाली एक महिला को प्रसव पीड़ा के बाद मनेन्द्रगढ़ के शासकीय अस्पताल में भर्ती कराया गया था. जहां महिला चिकित्सक मंजू पटेल ने महिला का चेकअप करने के बाद बीपी बढ़ने की बात कही और परिजनों से ऑपरेशन कराने को कहा.

ऑपरेशन के बाद से नहीं आया होश
परिजनों से सहमति मिलने के बाद महिला का ऑपरेशन कर दिया गया. जिसके बाद महिला ने एक नवजात को जन्म दिया जिसे डॉक्टर ने जन्म के बाद ही मृत घोषित कर दिया. इधर, ऑपरेशन के बाद से महिला की स्थिति अभी तक गंभीर बनी हुई है और अब तक प्रसूता को होश नहीं आया है.

परिजनों ने की पंखे और कूलर की व्यवस्था
प्रसूता के परिजनों ने बताया कि ऑपरेशन के दौरान महिला चिकित्सक द्वारा उनसे 15 हजार रुपये लिए गए थे. जिसकी रसीद भी उन्हें नहीं दी गई थी. अस्पताल में बदइंतजामी का अनुमान इस बात से लगाया जा सकता है कि जिस कक्ष में महिला को रखा गया है वहां न तो पंखा था न कूलर. परिजनों ने गर्मी से बचने के लिए वार्ड में नया पंखा और कूलर भी लगवाया था.

कोरिया: मनेंद्रगढ़ के शासकीय अस्पताल में एक बार फिर बड़ी लापरवाही सामने आई है. यहां एक गर्भवती महिला को मंगलवार शाम अस्पताल में भर्ती कराया गया था. जिसके बाद बुधवार को महिला ने बड़े ऑपरेशन के बाद एक बच्चे को जन्म दिया, लेकिन प्रसव के बाद ही बच्चे ने दम तोड़ दिया. इधर महिला की हालत भी गंभीर बनी हुई है.

डॉक्टरों की लापरवाही ने ले ली नवजात की जान!, मां को तीन दिन बाद भी नहीं आया होश

ये था मामला
दरअसल, नगर पंचायत लेदरी की रहने वाली एक महिला को प्रसव पीड़ा के बाद मनेन्द्रगढ़ के शासकीय अस्पताल में भर्ती कराया गया था. जहां महिला चिकित्सक मंजू पटेल ने महिला का चेकअप करने के बाद बीपी बढ़ने की बात कही और परिजनों से ऑपरेशन कराने को कहा.

ऑपरेशन के बाद से नहीं आया होश
परिजनों से सहमति मिलने के बाद महिला का ऑपरेशन कर दिया गया. जिसके बाद महिला ने एक नवजात को जन्म दिया जिसे डॉक्टर ने जन्म के बाद ही मृत घोषित कर दिया. इधर, ऑपरेशन के बाद से महिला की स्थिति अभी तक गंभीर बनी हुई है और अब तक प्रसूता को होश नहीं आया है.

परिजनों ने की पंखे और कूलर की व्यवस्था
प्रसूता के परिजनों ने बताया कि ऑपरेशन के दौरान महिला चिकित्सक द्वारा उनसे 15 हजार रुपये लिए गए थे. जिसकी रसीद भी उन्हें नहीं दी गई थी. अस्पताल में बदइंतजामी का अनुमान इस बात से लगाया जा सकता है कि जिस कक्ष में महिला को रखा गया है वहां न तो पंखा था न कूलर. परिजनों ने गर्मी से बचने के लिए वार्ड में नया पंखा और कूलर भी लगवाया था.

Intro:एंकर -कोरिया जिले के मनेन्द्रगढ़ में शासकीय अस्पताल में एक बार फिर बड़ी लापरवाही उजागर हुई है ।यहां से अस्पताल में प्रसव के लिए भर्ती एक महिला की हालत 3 दिनों से गंभीर बनी हुई है उसे होश नहीं आया है।महिला को मंगलवार की शाम भर्ती कराया गया था, जहां बुधवार को उसने बड़े ऑपरेशन के बाद एक बच्चे को जन्म दिया प्रसव के बाद बच्चे ने अस्पताल में दम तोड़ दिया ।
Body:वी ओ- मनेंद्रगढ़ के शासकीय अस्पताल में बदइन्तजामी व लापरवाही का मामला सामने आया है। नगर पंचायत लेदरी की रहने वाली एक महिला को प्रसव पीड़ा होने पर मनेन्द्रगढ़ के शासकीय अस्पताल में भर्ती कराया गया था ।यहां महिला चिकित्सक डॉ मंजू पटेल ने महिला के परिजनों को बताया कि महिला का बीपी बढ़ा हुआ है इसलिए इसका ऑपरेशन करना पड़ेगा। परिजनों की सहमति मिलने के बाद महिला का ऑपरेशन किया गया जहां महिला ने एक नवजात को जन्म दिया ।बच्चे का जन्म होते ही डॉक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया वहीं ऑपरेशन के बाद महिला बुधवार से अभी तक नहीं आया है ।इस मामले में प्रसूता के परिजनों ने बताया कि ऑपरेशन के दौरान महिला चिकित्सक द्वारा उसे ₹15000 लिए और और उसकी रसीद भी नहीं दी गई ।अस्पताल में बदइंतजामी का अनुमान इसी बात से लगाया जा सकता है कि जिस कक्ष में महिला को रखा गया है वहां गर्मी से बचने के लिए महिला के परिजनों द्वारा नया पंखा खरीद कर लाया गया और घर से कूलर लाकर लगाया गया। ऐसे में साफ समझा जा सकता है कि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मनेन्द्रगढ़ के सरकारी अस्पताल में पदस्थ किस कदर अपनी मनमानी कर रहे हैं। बह रहाल प्रसूता अभी भी जिंदगी और मौत के बीच जंग लड़ रही है उसकी हालत बेहद खराब है। आपको बता दें कि कुछ दिन पहले ही इसी अस्पताल में 1 महीना में जुड़वा बच्चों को जन्म दिया था जहां परसों के पूर्व ही महिला के परिजनों से इसी महिला डॉक्टर ने ₹9000 ले लिए थे हमारे चैनल पर खबर दिखाए जाने के बाद अंबिकापुर से स्वास्थ विभाग के आला अधिकारी तो आए और उन्होंने कार्रवाई करने का आश्वासन दिया लेकिन अगर कोई कार्रवाई हो गई होती तो आज इस अस्पताल में फिर एक बार वही इतिहास नहीं दोहराया जाता ।
बाइट - गणेश ( परिजन )Conclusion:.
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