ETV Bharat / state

पांच गुना ज्यादा रॉयल्टी से ठेकेदारों को काम करना हुआ मुश्किल

author img

By

Published : Feb 18, 2021, 5:10 PM IST

Updated : Feb 18, 2021, 8:54 PM IST

कांकेर में छत्तीसगढ़ कांट्रैक्टर एसोसिएशन की बैठक हुई. ठेकेदारों ने कहा कि पांच गुना ज्यादा रॉयल्टी से उनका काम करना मुश्किल हो गया है.

Chhattisgarh Contractors Association
छत्तीसगढ़ कांट्रेक्टर एसोसिएशन की बैठक

कांकेर: छत्तीसगढ़ कांट्रैक्टर एसोसिएशन की बैठक में कई विषयों पर चर्चा की गई. एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने कहा कि सरकार ने जो नियम बनाए हैं, उससे ठेकेदारों को समस्या आ रही है. पांच गुना ज्यादा रॉयल्टी से उनका काम करना मुश्किल हो गया है. इसके निराकरण के लिए सरकार के समक्ष बात रखी जा रही है. बैठक में मांग की गई है कि गौण खनिज रॉयल्टी छत्तीसगढ़ शासन राजपत्र में प्रकाशित करें. प्रदेश सरकार के रॉयल्टी की दरों में कटौती ठेकेदारों को स्वीकार है, लेकिन बाजार दर पर अनुचित है. वर्तमान में पत्थर, रेत और मुरूम यदि बाजार दर से कटौती की जाएगी तो ठेकेदारों को निर्माणाधीन कामों का भुगतान घर बेचकर करना पड़ेगा.

ठेकेदारों का काम करना हुआ मुश्किल

इससे साफ होता है कि ठेकेदारों के माध्यम से भवन, रोड, ब्रिज, केनाल का निर्माण करना संभव नहीं है. लोक निर्माण विभाग ने निर्माण कार्यों की रखरखाव के लिए 5 साल की समय सीमा निर्धारित की है. जल संसाधन विभाग ने 10 साल के रखरखाव की समय सीमा बांध रखी है. ठेकेदारों का कहना है कि इसे संशोधित किया जाए. प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना और ईडी ने जो निर्माण कार्य कराए हैं, उनके रखरखाव के लिए विभाग भुगतान करता है. इस नियम को लागू किया जाए.

कांकेर: खदान संचालक के खिलाफ ग्रामीणों ने खोला मोर्चा

अतिरिक्त सुरक्षा की राशि रिलीज करने की मांग

एसोसिएशन के प्रदेश कोषाध्यक्ष सुरेश मिश्रा ने बताया कि अतिरिक्त सुरक्षा निधि की राशि को थर्ड पार्टी चेकिंग में लाना अनिवार्य कर दिया गया है. हमारी मांग है कि निर्माण कार्य खत्म होते ही अतिरिक्त सुरक्षा की राशि रिलीज की जाए. छत्तीसगढ़ शासन ने इस श्रेणी पंजीयन लागू किया है. जिस प्रकार से बस्तर क्षेत्र में 50 लाख तक के निर्माण कार्य में मैनुअल टेंडर का नियम लागू किया गया है. उस नियम को दुर्ग, रायपुर, बिलासपुर और अंबिकापुर में भी लागू किया जाए.

कांकेर: छत्तीसगढ़ कांट्रैक्टर एसोसिएशन की बैठक में कई विषयों पर चर्चा की गई. एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने कहा कि सरकार ने जो नियम बनाए हैं, उससे ठेकेदारों को समस्या आ रही है. पांच गुना ज्यादा रॉयल्टी से उनका काम करना मुश्किल हो गया है. इसके निराकरण के लिए सरकार के समक्ष बात रखी जा रही है. बैठक में मांग की गई है कि गौण खनिज रॉयल्टी छत्तीसगढ़ शासन राजपत्र में प्रकाशित करें. प्रदेश सरकार के रॉयल्टी की दरों में कटौती ठेकेदारों को स्वीकार है, लेकिन बाजार दर पर अनुचित है. वर्तमान में पत्थर, रेत और मुरूम यदि बाजार दर से कटौती की जाएगी तो ठेकेदारों को निर्माणाधीन कामों का भुगतान घर बेचकर करना पड़ेगा.

ठेकेदारों का काम करना हुआ मुश्किल

इससे साफ होता है कि ठेकेदारों के माध्यम से भवन, रोड, ब्रिज, केनाल का निर्माण करना संभव नहीं है. लोक निर्माण विभाग ने निर्माण कार्यों की रखरखाव के लिए 5 साल की समय सीमा निर्धारित की है. जल संसाधन विभाग ने 10 साल के रखरखाव की समय सीमा बांध रखी है. ठेकेदारों का कहना है कि इसे संशोधित किया जाए. प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना और ईडी ने जो निर्माण कार्य कराए हैं, उनके रखरखाव के लिए विभाग भुगतान करता है. इस नियम को लागू किया जाए.

कांकेर: खदान संचालक के खिलाफ ग्रामीणों ने खोला मोर्चा

अतिरिक्त सुरक्षा की राशि रिलीज करने की मांग

एसोसिएशन के प्रदेश कोषाध्यक्ष सुरेश मिश्रा ने बताया कि अतिरिक्त सुरक्षा निधि की राशि को थर्ड पार्टी चेकिंग में लाना अनिवार्य कर दिया गया है. हमारी मांग है कि निर्माण कार्य खत्म होते ही अतिरिक्त सुरक्षा की राशि रिलीज की जाए. छत्तीसगढ़ शासन ने इस श्रेणी पंजीयन लागू किया है. जिस प्रकार से बस्तर क्षेत्र में 50 लाख तक के निर्माण कार्य में मैनुअल टेंडर का नियम लागू किया गया है. उस नियम को दुर्ग, रायपुर, बिलासपुर और अंबिकापुर में भी लागू किया जाए.

Last Updated : Feb 18, 2021, 8:54 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.