ETV Bharat / state

पहली बार जेईई मेंस में एक साथ कांकेर के 71 छात्रों ने मारी बाजी, प्रशासन ने इस तरह की मदद

जेईई मेंस में कांकेर के 71 छात्र उतीर्ण हुए हैं. इनमें से 61 छात्र आदिवासी हैं. ये वो छात्र हैं जिनके पास शिक्षा संबंधी कोई भी सुविधा उपलब्ध नहीं होती है. सरकार और प्रशासन की मदद से बच्चों तैयारी की और जिले का मान बढ़ाया है.Kanker Collector Priyanka Shukla

71 students of Kanker passed in JEE Mains
जेईई मेंस में कांकेर के 71 छात्र हुए उतीर्ण
author img

By

Published : Apr 30, 2023, 5:54 PM IST

कांकेर कलेक्टर प्रियंका शुक्ला

कांकेर: जिले में पहली बार 71 छात्रों ने जेईई मेंस परीक्षा में सफलता पाई है. ये सभी छात्र ग्रामीण अंचलों से हैं. इनमें 61 आदिवासी छात्र शामिल हैं. दरअसल, सरकार की मदद से जिला प्रशासान के माध्यम से बोर्ड परीक्षा के साथ-साथ बच्चों को जेईई की तैयारी कराई जा रही है. छात्रों ने सफलता का पूरा श्रेय प्रशासन को दिया है.

शिक्षा गुणवत्ता सुधार का हो रहा प्रयास: जिला प्रशासन लगातार शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने का प्रयास कर रही है. प्रशासन की ओर से जिले के छात्रों को जेईई, एनडीए और नीट परीक्षा की तैयारी के लिए खास प्रयास किए जा रहे हैं. प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए भी छात्रों की मदद की जा रही है, जिसके अच्छे परिणाम भी आ रहे हैं. 12वीं में गणित विषय के विद्यार्थियों को जेईई एडवांश की परीक्षा में शामिल होने के लिए जिले में पहली बार कोचिंग दी गई. जेईई की परीक्षा में नया कीर्तिमान रचते हुए कांकेर जिले से एक साथ 71 छात्रों ने सफलता की इबारत लिखी है.

शनिवार को जारी हुआ परिणाम: शनिवार को जारी परिणाम में 71 छात्र सफल हुए. जिसमें 61 बच्चे आदिवासी हैं. जेईई मेंस परीक्षा में सफल छात्र में 39 छात्र और 32 छात्राएं हैं, जो जिले के लिए एक बड़ी उपलब्धि है.

Chhattisgarh: 12 जिला शिक्षा अधिकारियों को इसलिए दी कारण बताओ नोटिस

कलेक्टर शिक्षा बेहतरी के लिए कर रहे प्रयास: कांकेर कलेक्टर प्रियंका शुक्ला की ओर से शिक्षा की गुणवत्ता को सुधारने और मेधावी छात्रों की प्रतिभा को निखारने के लिए लगातार प्रयास हो रहा है. इसके लिए हमर लक्ष्य अभियान चलाकर बच्चों की मोटिवेशनल क्लास ली जा रही है. जिले के प्रत्येक हायर सेकेंडरी स्कूलों में पढ़ रहे छात्र-छात्राओं को विद्यालयों में जेईई और नीट की किताबें उपलब्ध कराई गई हैं. योग्य शिक्षकों के माध्यम से बच्चों को तैयार किया जा रहा है.

अधिकतर आदिवासी क्षेत्र के बच्चे: जेईई मेंस में उतीर्ण हुए 71 बच्चों में 64 बच्चे आदिवासी हैं. ये वो बच्चे हैं, जिन्हें पास बेहतर शिक्षा के लिए कोई साधन भी मुहैया नहीं हो पाता है. प्रशासन की ओर से की गई पहल के कारण ही ये बच्चे उतीर्ण हो पाए. इन छात्रों की इस सफलता में शिक्षकों ने भी बड़ी भूमिका निभाई है.

कांकेर कलेक्टर प्रियंका शुक्ला

कांकेर: जिले में पहली बार 71 छात्रों ने जेईई मेंस परीक्षा में सफलता पाई है. ये सभी छात्र ग्रामीण अंचलों से हैं. इनमें 61 आदिवासी छात्र शामिल हैं. दरअसल, सरकार की मदद से जिला प्रशासान के माध्यम से बोर्ड परीक्षा के साथ-साथ बच्चों को जेईई की तैयारी कराई जा रही है. छात्रों ने सफलता का पूरा श्रेय प्रशासन को दिया है.

शिक्षा गुणवत्ता सुधार का हो रहा प्रयास: जिला प्रशासन लगातार शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने का प्रयास कर रही है. प्रशासन की ओर से जिले के छात्रों को जेईई, एनडीए और नीट परीक्षा की तैयारी के लिए खास प्रयास किए जा रहे हैं. प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए भी छात्रों की मदद की जा रही है, जिसके अच्छे परिणाम भी आ रहे हैं. 12वीं में गणित विषय के विद्यार्थियों को जेईई एडवांश की परीक्षा में शामिल होने के लिए जिले में पहली बार कोचिंग दी गई. जेईई की परीक्षा में नया कीर्तिमान रचते हुए कांकेर जिले से एक साथ 71 छात्रों ने सफलता की इबारत लिखी है.

शनिवार को जारी हुआ परिणाम: शनिवार को जारी परिणाम में 71 छात्र सफल हुए. जिसमें 61 बच्चे आदिवासी हैं. जेईई मेंस परीक्षा में सफल छात्र में 39 छात्र और 32 छात्राएं हैं, जो जिले के लिए एक बड़ी उपलब्धि है.

Chhattisgarh: 12 जिला शिक्षा अधिकारियों को इसलिए दी कारण बताओ नोटिस

कलेक्टर शिक्षा बेहतरी के लिए कर रहे प्रयास: कांकेर कलेक्टर प्रियंका शुक्ला की ओर से शिक्षा की गुणवत्ता को सुधारने और मेधावी छात्रों की प्रतिभा को निखारने के लिए लगातार प्रयास हो रहा है. इसके लिए हमर लक्ष्य अभियान चलाकर बच्चों की मोटिवेशनल क्लास ली जा रही है. जिले के प्रत्येक हायर सेकेंडरी स्कूलों में पढ़ रहे छात्र-छात्राओं को विद्यालयों में जेईई और नीट की किताबें उपलब्ध कराई गई हैं. योग्य शिक्षकों के माध्यम से बच्चों को तैयार किया जा रहा है.

अधिकतर आदिवासी क्षेत्र के बच्चे: जेईई मेंस में उतीर्ण हुए 71 बच्चों में 64 बच्चे आदिवासी हैं. ये वो बच्चे हैं, जिन्हें पास बेहतर शिक्षा के लिए कोई साधन भी मुहैया नहीं हो पाता है. प्रशासन की ओर से की गई पहल के कारण ही ये बच्चे उतीर्ण हो पाए. इन छात्रों की इस सफलता में शिक्षकों ने भी बड़ी भूमिका निभाई है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.