कवर्धा : जिले में भू-माफिया लाइसेंस की आड़ में लोहारा ब्लॉक से लेकर पंडरिया बोडला व कवर्धा जंगलों तक धड़ल्ले से खनन कर रहे हैं. जिस स्थान के लिए लाइसेंस मिला है उससे अधिक और अन्य क्षेत्रों में भी खनन किया जा रहा है.
वन विभाग की जमीन पर अवैध खनन का खेल जारी
पंडरिया क्षेत्र के वनांचल ग्राम कुई, बदना, अमनिया, रहमानकापा और मुनमुना में वन विभाग की जमीन में अवैध खनन का कारोबार फल-फूल रहा है. इसी तरह बोडला के चिल्फी, बोक्करखार, महलीघाट, कामाडबरी के जंगल में जमकर अवैध उत्खनन किया गया है. इसी क्षेत्र में कुछ साल पहले तक हरे-भरे पेड़-पौधे दिखाई देते थे, लेकिन पत्थर और मुरुम के लगातार दोहन होने से अब यहां सिर्फ सपाट मैदान दिखाई देता है.
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खनिज विभाग पर कार्रवाई न करने का आरोप
हालांकि खनिज विभाग अवैध खनन माफियों पर कार्रवाई तो करता है, लेकिन महीने में एक-दो प्रकरण ही सामने आते हैं. विभाग पर सिर्फ दिखावे के लिए कार्रवाई करने का आरोप लगता आया है.
एमपी के ठेकेदार भी करते हैं छत्तीसगढ़ में खनन
पंडरिया व बोडला ब्लॉक के कई गांव मध्यप्रदेश की सीमा से लगे हुए हैं. पहुंचविहीन घने जंगल होने के कारण लोगों की आवाजाही इस मार्ग पर कम ही रहती है, जिसका फायदा मध्यप्रदेश के ठेकेदार उठा रहे हैं. सूत्रों के अनुसार वनांचल से पहाड़ों को काटकर पत्थर व गिट्टी निकालकर एमपी ले जाई जा रही है.