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जशपुर : डेढ़ साल की मासूम के दिल में है छेद, इलाज के लिए दर-दर भटक रही मां - सरकार से अपील

जिले के कुनकुरी जनपद में एक मां पिछले छह माह से अपनी एक मासूम बच्ची की इलाज के लिए दर-दर की ठोकरें खा रही है. मां ने बच्ची के इलाज के लिए कलेक्टर से गुहार लगाई है. बच्ची के दिल में छेद है

दिल की बिमारी से पीड़ित बच्ची
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Published : Jun 26, 2019, 1:45 PM IST

जशपुर: जिले में चिकित्सा विभाग की बड़ी लापारवाही सामने आई है. जिले के कुनकुरी जनपद में एक मां पिछले छह माह से अपनी एक मासूम बच्ची की इलाज के लिए दर-दर की ठोकरें खा रही है. मां ने बच्ची के इलाज के लिए कलेक्टर से गुहार लगाई है. बच्ची के दिल में छेद है. वह कुपोषण की गंभीर बीमारी से जूझ रही है.

डेढ़ साल की मासूम के दिल में है छेद

मामला कुनकुरी जनपद के ग्राम भेलवाटोली का है. यहां रहने वाली विनीत मिंज की डेढ़ साल की बच्ची श्रुति के दिल में छेद है. खेती-किसानी करने वाले इस परिवार के पास इलाज के लिए जरूरी पैसे नहीं है. विनीत ने बताया कि श्रुति की तबीयत बार-बार बिगड़ा करती थी, जिसे इलाज के लिए कुनकुरी के एक निजी अस्पताल में भर्ती करवाया गया. जांच के बाद श्रुति के दिल में छेद होने का पता चला. इसके साथ ही वह कुपोषण का भी शिकार है, जिसे मितानिन के माध्यम से जिला अस्पताल में सुपोषण केंद्र में भर्ती कराया गया.

सरकार से की अपील
चिरायु के अधिकारियों ने विनीता से कुछ दस्तावेज लेकर जल्द इलाज करने का भरोसा दिया, लेकिन 6 माह बीत जाने के बाद भी मासूम को चिकित्सा सहायता नहीं मिली है. श्रुति के इलाज के लिए स्वास्थ्य विभाग के चिरायु में जनवरी में ही कागजात जमा करा दिए गए हैं पर आज तक इलाज नहीं हो पाया है. मां ने अपनी बेटी की इलाज के लिए सरकार से अपील की है.

बता दें कि मुख्यमंत्री बाल हृदय योजना के तहत गरीब परिवारों के बच्चों के दिल से जुड़ी बीमारियों का इलाज राज्य सरकार की ओर से मुफ्त में करवाया जाएगा. इस योजना के तहत 0-15 साल के बच्चों को मुफ्त में दिल का उपचार किया जाएगा.

जशपुर: जिले में चिकित्सा विभाग की बड़ी लापारवाही सामने आई है. जिले के कुनकुरी जनपद में एक मां पिछले छह माह से अपनी एक मासूम बच्ची की इलाज के लिए दर-दर की ठोकरें खा रही है. मां ने बच्ची के इलाज के लिए कलेक्टर से गुहार लगाई है. बच्ची के दिल में छेद है. वह कुपोषण की गंभीर बीमारी से जूझ रही है.

डेढ़ साल की मासूम के दिल में है छेद

मामला कुनकुरी जनपद के ग्राम भेलवाटोली का है. यहां रहने वाली विनीत मिंज की डेढ़ साल की बच्ची श्रुति के दिल में छेद है. खेती-किसानी करने वाले इस परिवार के पास इलाज के लिए जरूरी पैसे नहीं है. विनीत ने बताया कि श्रुति की तबीयत बार-बार बिगड़ा करती थी, जिसे इलाज के लिए कुनकुरी के एक निजी अस्पताल में भर्ती करवाया गया. जांच के बाद श्रुति के दिल में छेद होने का पता चला. इसके साथ ही वह कुपोषण का भी शिकार है, जिसे मितानिन के माध्यम से जिला अस्पताल में सुपोषण केंद्र में भर्ती कराया गया.

सरकार से की अपील
चिरायु के अधिकारियों ने विनीता से कुछ दस्तावेज लेकर जल्द इलाज करने का भरोसा दिया, लेकिन 6 माह बीत जाने के बाद भी मासूम को चिकित्सा सहायता नहीं मिली है. श्रुति के इलाज के लिए स्वास्थ्य विभाग के चिरायु में जनवरी में ही कागजात जमा करा दिए गए हैं पर आज तक इलाज नहीं हो पाया है. मां ने अपनी बेटी की इलाज के लिए सरकार से अपील की है.

बता दें कि मुख्यमंत्री बाल हृदय योजना के तहत गरीब परिवारों के बच्चों के दिल से जुड़ी बीमारियों का इलाज राज्य सरकार की ओर से मुफ्त में करवाया जाएगा. इस योजना के तहत 0-15 साल के बच्चों को मुफ्त में दिल का उपचार किया जाएगा.

Intro:जशपुर ह्रदय रोग ओर कुपोषण से जूझ रही मासूम को लिए एक माँ अपने जिगर के टुकड़े के इलाज के लिए दर दर भटक रही है, इस डेढ़ साल की मासूम के इलाज में स्वास्थ्य विभाग की गंभीर लापरवाही उजागर हुई है, अपनी मासूम बच्ची के इलाज के लिए आस लागये माँ कलेक्टर से गुहार लगाई है,
सरकारी सिस्टम की पोल खिलती यह तस्वीर बयां करती है कि एक माँ अपनी डेढ़ साल की बच्ची को गोद मे ये उसके इलाज के लिए दर बदर भटने को मजबूर है ,




Body:
मामला जिले के कुनकुरी जनपद के ग्राम भेलवाटोली की रहे वाली विनीत मिंज अपनी मासूम डेढ़ साल की बच्ची श्रुति को लेकर कलेक्टर से गुहार लगाने पहुँची,
मासूम श्रुति की माँ विनीता मिंज ने बताया कि श्रुति की तबीयत बार बार बिगड़ा करती थी तभी उसे इलाज के लिए कुनकुरी के निजी अस्पताल हॉकी क्रॉस अस्पताल में भर्ती करवाया था, जहां चिकित्सकीय जांच के बाद माता पिता को श्रुति के हृदय में छेद होने की जानकारी दी गई और उसे जल्द से जल्द रायपुर ले जाकर इलाज कराने की सलाह दी गई थी,उसके बाद यह मासूम कुपोषण का भी शिकार हो गई, जिसके बाद गांव के मितानिन के माध्यम से श्रुति को कुपोषण के इलाज के लिए जिला अस्पताल में सुपोषण केंद्र में भर्ती कराया गया जहां इलाज के दौरान विनीता ने चिकित्सकों को श्रुति के हृदय में छेद होने की जानकारी भी दी, लेकिन चिरायु के अधिकारीयो ने विनीता से कुछ दस्तावेज लेकर जल्दी इलाज करने का भरोसा दिया लेकिन 6 माह बीत जाने के बाद भी इस डेढ़ साल की मासूम श्रुति को चिकित्सा सहायता नहीं मिल पाई है
विनीत ने बताया कि श्रुति के इलाज के लिए स्वास्थ्य विभाग के चिरायु में जनवरी माह में ही कागजात जमा कर दिए गए है पर 6 माह बीतने के बाद भी बच्ची के इलाज के लिए कुछ नही हुवा।
विनीता ने कहा कि वह गरीब लोग है अपनी बच्ची के इलाज करवाने के लिए इतने पैसे नही है मासूम की माँ ने सरकार से गुहार लगाई है कि उसकी बच्ची के इलाज के लिए सहायता कर,

मासूम श्रुति की माँ विनीत मिंज के साथ आई गांव की मितातनी प्यारी प्रधान ने बताया कि मासूम श्रुति की तबियत दिसंबर माह में अचानक खराब हो गई थी उसे इलाज के लिए अस्पताल लेजाया गया, जहाँ डॉक्टरों ने बताया कि श्रुति के दिल मे छेद है, जैसे तुरंत बाहर लेजाने की बात कही गई, इसके साथ ही बच्ची गम्भीरी कुपोषण का भी शिकार हो गई और उसे जुला अस्पताल के सुपोषण केंद्र लाया गया, जहाँ मासुम का इलाज किया गया,
गरीब परिवार होने को वजह से इलाज करवाने के लिए पैसे नही है परिवार खेती किसानी के भरोसे चलता है ऐसे में गंभीर बीमारी का इलाज करवाने में ये असमर्थ है।
इतना समय बीतने के बाद भी स्वास्थ्य विभाग ने सुध नही ली इस मासूम की माँ चाहती है कि उसकी मासूम श्रुति के इलाज करवाने में सरकार इनकी मदद करे,।




Conclusion:बहरहाल मुख्यमंत्री बाल हृदय योजना के तहत गरीब परिवारों को बच्चों को दिल से जुड़ी छात्र की बीमारियों का इलाज राज्य सरकार की ओर से मुफ्त करवा जाता है, इस योजना के तहत 0 से लेकर 15 साल की आयु के बच्चों को मुफ्त में दिल का उपचार प्रदान किया जाता है
लेकिन सरकारी अफसरों उदासीनता के कारण एक बेबस मां अपनी मासूम बच्ची को लेकर इलाज कराने के लिए दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर है



बाइट विनीत मिंज श्रुति की माँ
बाइट प्यारी प्रधान मितानिनी (भेलवाटोली कुनकुरी)

तरुण प्रकाश शर्मा
जशपुर

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