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बस्तर के मजदूर आंध्र प्रदेश में बनाए गए बंधक, रिहाई के लिए विधायक ने की श्रम मंत्री से चर्चा

बस्तर के मजदूरों (Bastar workers) को आंध्र प्रदेश के ओगोंली में बंधक (hostage in Andhra Pradesh) बनाने का मामला सामने आया है . काम की तलाश में दरभा ब्लॉक के 3 गांव से करीब 15 लोग आंध्र प्रदेश गए हुए थे और यहां एक महिला वेंडर की चंगुल में फंसे ये सभी 15 मजदूरों को वहां के ठेकेदारों ने बंधक बना लिया. रिहाई के लिए विधायक ने श्रम मंत्री से चर्चा की.

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Published : Sep 22, 2021, 11:28 PM IST

Updated : Jul 25, 2023, 7:57 AM IST

जगदलपुर: बस्तर के मजदूरों (Bastar workers) को आंध्र प्रदेश के ओगोंली में बंधक (hostage in Andhra Pradesh) बनाने का मामला सामने आया है . काम की तलाश में दरभा ब्लॉक के 3 गांव से करीब 15 लोग आंध्र प्रदेश गए हुए थे और यहां एक महिला वेंडर की चंगुल में फंसे ये सभी 15 मजदूरों को वहां के ठेकेदारों ने बंधक बना लिया. जैसे तैसे दो मजदूर उनके चंगुल से भागकर बस्तर पहुंचे और जगदलपुर के विधायक रेखचंद जैन (MLA Rekhchand Jain) को इसकी जानकारी दी. जिसके बाद जगदलपुर विधायक ने तत्काल छत्तीसगढ़ के श्रम मंत्री शिव डहरिया (Labor Minister Shiv Dahria) से चर्चा की. मंत्री ने बस्तर के एसपी और कलेक्टर से जल्द ही एक टीम बनाकर बंधक मजदूरों को वापस सकुशल आने के आदेश दिए , दरअसल यह सभी मजदूर ज्यादा मजदूरी मिलने के लालच में आंध्र प्रदेश के ओगोंली गांव में एक ठेकेदार के चंगुल में फंस गए थे.

बस्तर के मजदूर आंध्र प्रदेश में बनाए गए बंधक

मजदूरों ने बताई अपनी पीड़ा

मजदूर मानिक राम कश्यप ने बताया कि दरभा ब्लॉक के तीरथगढ़, पेरमापारा , मामड़पाल और मुनगा गांव से करीब 15 मजदूर आंध्र प्रदेश के ओगोंली में काम की तलाश में गए थे. यहां एक कुमारी नाम की महिला वेंडर ने उन्हें काम दिलाने की बात कही और एक ठेकेदार के पास ले गई. जहां ठेकेदार ने उन्हें 14 से 15 दिनों तक जमकर काम कराया और सिर्फ एक वक्त का भोजन ही दिया. वहीं वापस जाने की बात पर ठेकेदार ने सभी मजदूरों से जमकर मारपीट की और उन्हें प्रताड़ित भी किया. यहां तक कि उनके मोबाइल और आधार कार्ड भी छीन लिए, लगभग 15 दिनों तक ठेकेदार के चंगुल में फंसे रहने के बाद मानिकराम और उसका एक अन्य साथी जैसे तैसे दीवार कूदकर ठेकेदार के चंगुल से बाहर निकले. करीब 80 किलोमीटर पैदल चलने के बाद एक ट्रक चालक की मदद से विजयवाड़ा पहुंचे और विजयवाड़ा से अपने परिवार वालों से बात कर यात्री बस में सवार होकर जगदलपुर पहुंचे. यहां पहुंचने के बाद उन्होंने जगदलपुर के विधायक रेखचंद जैन को इस पूरे घटनाक्रम की जानकारी दी और उनके अन्य साथी जो आंध्र प्रदेश में बंधक बनाए गए हैं उन्हें छुड़ाने की गुहार लगाई.

मजदूरों को छुड़ाने के प्रयास जारी

मजदूरों की पीड़ा सुनने के बाद विधायक रेखचंद जैन ने उन्हें सकुशल छुड़ाने के प्रयास शुरू किए. जगदलपुर विधायक को इसकी जानकारी मिलने के बाद उन्होंने बस्तर के एसपी और कलेक्टर से फोन में चर्चा कर जल्द ही एक टीम बनाकर बंधक मजदूरों को रिहा करने के लिए आदेश दिया ,साथ ही प्रदेश के श्रम मंत्री शिव डहरिया से भी इस मामले में चर्चा की और मंत्री ने भी बंधक बनाए गए बस्तर के सभी मजदूरों को सकुशल वापस लाने के लिए जिला प्रशासन से बात करने की बात कही

जगदलपुर: बस्तर के मजदूरों (Bastar workers) को आंध्र प्रदेश के ओगोंली में बंधक (hostage in Andhra Pradesh) बनाने का मामला सामने आया है . काम की तलाश में दरभा ब्लॉक के 3 गांव से करीब 15 लोग आंध्र प्रदेश गए हुए थे और यहां एक महिला वेंडर की चंगुल में फंसे ये सभी 15 मजदूरों को वहां के ठेकेदारों ने बंधक बना लिया. जैसे तैसे दो मजदूर उनके चंगुल से भागकर बस्तर पहुंचे और जगदलपुर के विधायक रेखचंद जैन (MLA Rekhchand Jain) को इसकी जानकारी दी. जिसके बाद जगदलपुर विधायक ने तत्काल छत्तीसगढ़ के श्रम मंत्री शिव डहरिया (Labor Minister Shiv Dahria) से चर्चा की. मंत्री ने बस्तर के एसपी और कलेक्टर से जल्द ही एक टीम बनाकर बंधक मजदूरों को वापस सकुशल आने के आदेश दिए , दरअसल यह सभी मजदूर ज्यादा मजदूरी मिलने के लालच में आंध्र प्रदेश के ओगोंली गांव में एक ठेकेदार के चंगुल में फंस गए थे.

बस्तर के मजदूर आंध्र प्रदेश में बनाए गए बंधक

मजदूरों ने बताई अपनी पीड़ा

मजदूर मानिक राम कश्यप ने बताया कि दरभा ब्लॉक के तीरथगढ़, पेरमापारा , मामड़पाल और मुनगा गांव से करीब 15 मजदूर आंध्र प्रदेश के ओगोंली में काम की तलाश में गए थे. यहां एक कुमारी नाम की महिला वेंडर ने उन्हें काम दिलाने की बात कही और एक ठेकेदार के पास ले गई. जहां ठेकेदार ने उन्हें 14 से 15 दिनों तक जमकर काम कराया और सिर्फ एक वक्त का भोजन ही दिया. वहीं वापस जाने की बात पर ठेकेदार ने सभी मजदूरों से जमकर मारपीट की और उन्हें प्रताड़ित भी किया. यहां तक कि उनके मोबाइल और आधार कार्ड भी छीन लिए, लगभग 15 दिनों तक ठेकेदार के चंगुल में फंसे रहने के बाद मानिकराम और उसका एक अन्य साथी जैसे तैसे दीवार कूदकर ठेकेदार के चंगुल से बाहर निकले. करीब 80 किलोमीटर पैदल चलने के बाद एक ट्रक चालक की मदद से विजयवाड़ा पहुंचे और विजयवाड़ा से अपने परिवार वालों से बात कर यात्री बस में सवार होकर जगदलपुर पहुंचे. यहां पहुंचने के बाद उन्होंने जगदलपुर के विधायक रेखचंद जैन को इस पूरे घटनाक्रम की जानकारी दी और उनके अन्य साथी जो आंध्र प्रदेश में बंधक बनाए गए हैं उन्हें छुड़ाने की गुहार लगाई.

मजदूरों को छुड़ाने के प्रयास जारी

मजदूरों की पीड़ा सुनने के बाद विधायक रेखचंद जैन ने उन्हें सकुशल छुड़ाने के प्रयास शुरू किए. जगदलपुर विधायक को इसकी जानकारी मिलने के बाद उन्होंने बस्तर के एसपी और कलेक्टर से फोन में चर्चा कर जल्द ही एक टीम बनाकर बंधक मजदूरों को रिहा करने के लिए आदेश दिया ,साथ ही प्रदेश के श्रम मंत्री शिव डहरिया से भी इस मामले में चर्चा की और मंत्री ने भी बंधक बनाए गए बस्तर के सभी मजदूरों को सकुशल वापस लाने के लिए जिला प्रशासन से बात करने की बात कही

Last Updated : Jul 25, 2023, 7:57 AM IST
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