जगदलपुर: बस्तर में नक्सलियों ने शहीदी सप्ताह मनाने का ऐलान किया है. 28 जुलाई से शहीदी सप्ताह की शुरुआत हो रही है. इसे देखते हुए बस्तर में सुरक्षा व्यवस्था चाक चौबंद कर दिया गया है. सिक्योरिटी एजेंसियां अलर्ट मोर्ड पर है. आम लोगों को इस दौरान कोई दिक्कत न हो. बस्तर में नक्सली घटनाओं पर नकेल कसने के मकसद से शहीदी सप्ताह को लेकर सुरक्षा एजेंसियों ने मुस्तैद होने का दावा किया है.
"शहीदी सप्ताह के दौरान छत्तीसगढ़ के बस्तर में नक्सलियों के हर नापाक इरादे को नाकाम करने के लिए फोर्स पूरी तरह तैयार है. एहतियात के तौर पर, सुरक्षा बलों ने माओवाद प्रभावित जिलों में नक्सल विरोधी अभ्यास तेज कर दिया है"-बस्तर पुलिस
नक्सलियों ने कई जगहों पर फेंके पर्चे: नक्सलियों ने कई जगहों पर पर्चे फेके हैं और शहीदी सप्ताह मनाने का ऐलान किया है. हर साल जुलाई के महीने में नक्सली शहीदी सप्ताह मनाते हैं. इस शहीदी सप्ताह को लेकर सुरक्षा बलों ने बस्तर के सभी जिलों और क्षेत्रों में पेट्रोलिंग बढ़ा दी है. सघन अभियान चलाया जा रहा है. डीआरजी, एसटीएफ, कोबरा और अन्य अर्धसैनिक बलों को अशांत और सीमावर्ती इलाकों में सर्च अभियान में तेजी लाने के लिए कहा गया है.
"28 जुलाई से अगस्त के पहले सप्ताह तक नक्सल प्रभावित जिलों में नक्सली शहीदी सप्ताह मनाते हैं. लेकिन बीते कई सालों से सिक्योरिटी फोर्स की मुस्तैदी की वजह से नक्सली बस्तर के कई इलाकों में नक्सली सप्ताह मनाने में नाकाम रहे हैं. इस बार भी बस्तर में सुरक्षा बलों ने एहतियाती उपाय उठा लिए हैं. किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए व्यापक सुरक्षा व्यवस्था की गई है". - सुंदरराज पी, आईजी बस्तर
बस्तर में ट्रेन सेवा पर भी पड़ा असर: नक्सलियों के शहीदी सप्ताह को लेकर बस्तर में रेल सेवा पर भी असर पड़ा है. यहां विशाखापत्तनम और किरंदुल के बीच एक यात्री ट्रेन के संचालन को नियंत्रित किया गया है. इसे दंतेवाड़ा तक ही सीमित किया गया है. यह ट्रेन 28 जुलाई से 3 अगस्त तक विशाखापत्तनम और दंतेवाड़ा के बीच संचालित होगी. इसके अलावा रेल सेवा बंद रहेगी. बस्तर आईजी सुंदरराज पी ने कहा कि" यात्री रेल सेवा कुछ समय के लिए बंद रहेगी और बाद में फिर से शुरू की जाएगी"
नक्सलियों ने 56 साल में 14 हजार 800 नक्सलियों के मारे जाने का दावा किया: शहीदी सप्ताह को लेकर नक्सलियों के प्रवक्ता अभय ने एक प्रेस नोट जारी किया है. इस प्रेस नोट के मुताबिक नक्सलियों ने बीते 56 साल 14 हजार 800 नक्सलियों के मारे जाने का दावा किया है. इन आंकड़ों में चारु मजूमदार और कन्हाई चटर्जी के साथ ही 41 शीर्ष नेतृत्व के नक्सली लीडर के मारे जाने का दावा भी नक्सलियों ने किया है.
शहीदी सप्ताह को लेकर नक्सलियों के प्रेस नोट जारी होने के बाद बस्तर में सुरक्षा व्यवस्था और सख्त कर दी गई है. इसके मद्देनजर एहतियाती उपाय कर लिए गए हैं. यहां किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए सुरक्षा के व्यापक बंदोबस्त किए गए हैं.