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जेलर का आइडिया, कैदियों का कमाल, लबालब हो गया जेल का तालाब

राज्य में दुर्ग जिले में पानी की किल्लत को देखते हुए जेले को सूखा घोषित किया जा चुका है, जिसे देखते हुए जिले के सेंट्रल जेल में बंदियों ने मिलकर जेल परिसर में तालाब खोद डाला.

सेंट्रल जेल में बंदियों ने खोदा तालाब
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Published : Aug 21, 2019, 6:06 PM IST

दुर्ग: प्रदेश में हो रही पानी की किल्लत को देखते हुए कई इलाकों में पानी को सहेजने का काम किया जा रहा है. इसी कड़ी में दुर्ग सेंट्रल जेल के बंदियों ने भी एक मिसाल पेश की है. बंदियों ने मिलकर जेल परिसर में एक गहरा तालाब खोद दिया है.

सेंट्रल जेल में बंदियों ने खोदा तालाब

प्रदेश का दुर्ग जिला सूखा घोषित किया जा चुका है. जिले के कई इलाकों में पानी की भारी किल्लत है. जिले का सेंट्रल जेल भी इस परेशानी से अछूता नहीं है.

सूखे की स्थिति को देखते हुए निकाला अनोखा आईडिया
सेंट्रल जेल में करीब 1700 बंदी हैं और इनकी दैनिक सुविधा कर्म के लिए पानी के 8 बोर किए गए हैं, लेकिन इस बार बारिश नहीं होने और सूखा पड़ने की वजह से जेल के अधिकतर बोर सूखे पड़े हैं. इस सूखे से निजात पाने के लिए सेंट्रल जेल के जेलर योगेश क्षत्री ने एक नायाब तरीका निकाला. इसके लिए उन्होंने बंदियों को पानी की वर्तमान स्थिति से अवगत कराते हुए उन्हें पानी बचाने का तरीका बताया और जेल परिसर में ही एक तालाब बनवा दिया.

सूखे की स्थिति को देखते हुए कैदियों ने खोदा तालाब
सूखे की स्थिति को देखते हुए कैदियों ने खोदा तालाब

पढ़ें- सरगुजा: सभी ग्राम पंचायतों तक पहुंची बैंक सखी, नहीं भटकेंगे ग्रामीण

13 फिट गहरा खोदा तालाब
जेल के बंदियों ने मिलकर करीब 13 फिट तक गहरा तालाब खोदा. इसके बाद इस तालाब में धीरे-धीरे बारिश का पानी जमा किया गया और जिसका परिणाम ये हुआ कि बोर के पानी का लेवल ऊपर आने लगा.
वहीं जो बोर सूखे थे वो अब पानी से लबालब भर गए हैं और जेल में पानी की किल्लत से नहीं जूझना पड़ रहा है. वाकई जेलर की ये तरकीब और बंदियों की मेहनत काबिले तारीफ है.

दुर्ग: प्रदेश में हो रही पानी की किल्लत को देखते हुए कई इलाकों में पानी को सहेजने का काम किया जा रहा है. इसी कड़ी में दुर्ग सेंट्रल जेल के बंदियों ने भी एक मिसाल पेश की है. बंदियों ने मिलकर जेल परिसर में एक गहरा तालाब खोद दिया है.

सेंट्रल जेल में बंदियों ने खोदा तालाब

प्रदेश का दुर्ग जिला सूखा घोषित किया जा चुका है. जिले के कई इलाकों में पानी की भारी किल्लत है. जिले का सेंट्रल जेल भी इस परेशानी से अछूता नहीं है.

सूखे की स्थिति को देखते हुए निकाला अनोखा आईडिया
सेंट्रल जेल में करीब 1700 बंदी हैं और इनकी दैनिक सुविधा कर्म के लिए पानी के 8 बोर किए गए हैं, लेकिन इस बार बारिश नहीं होने और सूखा पड़ने की वजह से जेल के अधिकतर बोर सूखे पड़े हैं. इस सूखे से निजात पाने के लिए सेंट्रल जेल के जेलर योगेश क्षत्री ने एक नायाब तरीका निकाला. इसके लिए उन्होंने बंदियों को पानी की वर्तमान स्थिति से अवगत कराते हुए उन्हें पानी बचाने का तरीका बताया और जेल परिसर में ही एक तालाब बनवा दिया.

सूखे की स्थिति को देखते हुए कैदियों ने खोदा तालाब
सूखे की स्थिति को देखते हुए कैदियों ने खोदा तालाब

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13 फिट गहरा खोदा तालाब
जेल के बंदियों ने मिलकर करीब 13 फिट तक गहरा तालाब खोदा. इसके बाद इस तालाब में धीरे-धीरे बारिश का पानी जमा किया गया और जिसका परिणाम ये हुआ कि बोर के पानी का लेवल ऊपर आने लगा.
वहीं जो बोर सूखे थे वो अब पानी से लबालब भर गए हैं और जेल में पानी की किल्लत से नहीं जूझना पड़ रहा है. वाकई जेलर की ये तरकीब और बंदियों की मेहनत काबिले तारीफ है.

Intro:प्रदेश मे हो रही पानी की किल्लत को देखते हुए कई इलाकों ने पानी को सहेजने का काम किया जा रहा है इसी कड़ी में दुर्ग सेंट्रल जेल के बंदियों ने भी एक अजब मिसाल पेश की बंदियों ने जेल परिसर में खोद दिए गहरा तालाब ...Body:प्रदेश का दुर्ग जिला सूखा घोषित किया जा चुका है जिले के कई इलाकों में पानी की भारी किल्लत है दुर्ग के सेंट्रल जेल भी इस किल्लत से अछूता नही है सेंट्रल जेल में करीब 1700 बंदी है इनकी नित्य सुविधा कर्म के लिए पानी के 8 बोर किए गए है लेकिन इस बार बारिश नही होने और सूखा पड़ने का असर जेल के बोर में भी पड़ रहा है जेल के अधिकतर बोर सूखे पड़े है लेकिन सूखे की इस समस्या से निजात पाने सेंट्रल जेल के जेलर योगेश क्षत्री ने एक नायाब तरीका निकाला बंदियों को पानी की वर्तमान स्तिथि से अवगत कराकर उन्हें पानी बचाने का तरीका बताया और जेल परिसर में ही एक तालाब बनवा दिया ....Conclusion:जेल के बंदियों ने मिलकर करीब 13 फिट तक गहरा खोद दिया तालाब में बारिश का पानी सिंचित किया गया बारिश का पानी सिंचित करते ही चमत्कार होने लगा बोर का पानी का लेवल उपर आने लगा और जो बात भीषण गर्मी में सुखा ग्रस्त थे वे आज लबालब पानी से भर गए बहरहाल दुर्ग सेंट्रल जेल में अब पानी की किल्लत नही है सेंट्रल जेल के जेलर की सुजभुज और बंदियों की मेहनत से आज पानी की समस्या दूर हो चुकी है जो वाकई काबिले तारीफ है।



बाईट - योगेश क्षत्री,जेलर, सेंट्रल जेल, दुर्ग

कोमेन्द्र सोनकर,दुर्ग
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