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जनजाति गौरव दिवस में राज्यपाल ने की शिरकत, बिरसा मुंडा और भंवर सिंह पोर्ते को किया नमन - क्रांतिकारी बिरसा मुंडा की जयंती

बिरसा मुंडा की जयंती और डॉ. भंवर सिंह पोर्ते की पुण्यतिथि पर जनजाति गौरव दिवस का आयोजन किया गया. इस कार्यक्रम में छत्तीसगढ़ की राज्ययपाल अनुसुइया उइके, केंद्रीय मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते और अनुसूचित जनजाति आयोग के अध्यक्ष शामिल हुए.

जनजाति गौरव दिवस में राज्यपाल ने की शिरकत
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Published : Nov 16, 2019, 9:36 PM IST

Updated : Nov 16, 2019, 10:35 PM IST

बिलासपुर: क्रांतिकारी बिरसा मुंडा की जयंती और डॉ. भंवर सिंह पोर्ते की पुण्यतिथि पर जनजाति गौरव दिवस का आयोजन किया गया. इस कार्यक्रम में छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनुसुइया उइके,केंद्रीय मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते, अनुसूचित जनजाति आयोग अध्यक्ष नंदकुमार साय और पूर्व कैबिनेट मंत्री अमर अग्रवाल शामिल हुए. इस अवसर पर राज्यपाल अनुसुइया उइके ने कहा कि, 'मेरा सौभाग्य है कि मैं छत्तीसगढ़ की राज्यपाल हूं जो डॉक्टर भंवर सिंह पोर्ते की कर्मभूमि और जन्मभूमि है'.

जनजाति गौरव दिवस में राज्यपाल ने की शिरकत

'आदिवासियों के साथ होगा न्याय'

वहीं राज्यपाल ने कहा कि, 'एक आदिवासी महिला को छत्तीसगढ़ का राज्यपाल बनाया गया जिसके लिए मैं राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री का आभार व्यक्त करती हूं'. उन्होंने कहा कि, 'संविधान की पांचवी अनुसूची के तहत छत्तीसगढ़ के राज्यपाल को सुरक्षित अधिकार दिया गया है'. जिसके तहत मैं कोशिश करूंगी कि आदिवासियों के साथ अन्याय न हो उन्हें न्याय मिले.' राज्यपाल ने कहा कि इस मसले पर मुख्यमंत्री से उनकी चर्चा हुई है. उन्होंने कहा कि 'आजादी के 70 साल बाद प्रदेश के जिन इलाकों का विकास नहीं हुआ है उस पर खास ध्यान दिया जाएगा'

पढ़े: मुंबई में सबसे साफ और दिल्ली में सबसे गंदा पीने का पानी, टॉप 5 में अपनी रायपुर राजधानी

वहीं अनुसूचित जनजाति के राष्ट्रीय अध्यक्ष नंदकुमार साय ने कहा कि जनजाति समाज के लोगों को संगठित करने का काम किया जा रहा है. 72 सालों में जनजाति समाज का बस्तर इलाके में सर्वे नहीं हो पाया है. इन क्षेत्रों में बहुत काम करना बाकी है. जनजाति समाज को संगठित कर एक नए भारत का निर्माण करना है.

बिलासपुर: क्रांतिकारी बिरसा मुंडा की जयंती और डॉ. भंवर सिंह पोर्ते की पुण्यतिथि पर जनजाति गौरव दिवस का आयोजन किया गया. इस कार्यक्रम में छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनुसुइया उइके,केंद्रीय मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते, अनुसूचित जनजाति आयोग अध्यक्ष नंदकुमार साय और पूर्व कैबिनेट मंत्री अमर अग्रवाल शामिल हुए. इस अवसर पर राज्यपाल अनुसुइया उइके ने कहा कि, 'मेरा सौभाग्य है कि मैं छत्तीसगढ़ की राज्यपाल हूं जो डॉक्टर भंवर सिंह पोर्ते की कर्मभूमि और जन्मभूमि है'.

जनजाति गौरव दिवस में राज्यपाल ने की शिरकत

'आदिवासियों के साथ होगा न्याय'

वहीं राज्यपाल ने कहा कि, 'एक आदिवासी महिला को छत्तीसगढ़ का राज्यपाल बनाया गया जिसके लिए मैं राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री का आभार व्यक्त करती हूं'. उन्होंने कहा कि, 'संविधान की पांचवी अनुसूची के तहत छत्तीसगढ़ के राज्यपाल को सुरक्षित अधिकार दिया गया है'. जिसके तहत मैं कोशिश करूंगी कि आदिवासियों के साथ अन्याय न हो उन्हें न्याय मिले.' राज्यपाल ने कहा कि इस मसले पर मुख्यमंत्री से उनकी चर्चा हुई है. उन्होंने कहा कि 'आजादी के 70 साल बाद प्रदेश के जिन इलाकों का विकास नहीं हुआ है उस पर खास ध्यान दिया जाएगा'

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वहीं अनुसूचित जनजाति के राष्ट्रीय अध्यक्ष नंदकुमार साय ने कहा कि जनजाति समाज के लोगों को संगठित करने का काम किया जा रहा है. 72 सालों में जनजाति समाज का बस्तर इलाके में सर्वे नहीं हो पाया है. इन क्षेत्रों में बहुत काम करना बाकी है. जनजाति समाज को संगठित कर एक नए भारत का निर्माण करना है.

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बिलासपुर क्रांतिकारी बिरसा मुंडा की जयंती और डॉक्टर भंवर सिंह पोर्ते की 26 वीं पुण्यतिथि के अवसर पर आयोजित जनजाति गौरव दिवस में छत्तीसगढ़ की महामहिम राज्यपाल अनुसुइया उइके समेत केंद्रीय मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते नंदकुमार साय अध्यक्ष अनुसूचित जनजाति आयोग व पूर्व कैबिनेट मंत्री अमर अग्रवाल ने शिरकत की इस अवसर पर राज्यपाल अनुसुइया उइके ने उद्बोधन में कहा कि मुझे सौभाग्य मिला कि मैं छत्तीसगढ़ की राज्यपाल हूं जहां स्वर्गीय डॉक्टर भंवर सिंह पोर्ते की कर्मभूमि हुआ जन्म भूमि है


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दरअसल आज पेंड्रा में क्रांतिकारी बिरसा मुंडा की जयंती और डॉक्टर भंवर सिंह पोर्ते की 26 वीं पुण्यतिथि के अवसर पर जनजाति गौरव दिवस का आयोजन किया गया जिसमें प्रदेश की महामहिम राज्यपाल महोदय अनसूया हुई के केंद्रीय मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग के राष्ट्रीय अध्यक्ष नंदकुमार साय और पूर्व कैबिनेट मंत्री अमर अग्रवाल ने शिरकत की इस अवसर पर राज्यपाल अनसूया वीके ने उद्बोधन में कहा कि मुझे सौभाग्य मिला कि मैं छत्तीसगढ़ के राज्यपाल के पद पर हूं जहां डॉक्टर भंवर सिंह पोर्ते की कर्मभूमि और जन्म भूमि है वही राज्यपाल महोदया ने कहा कि आदिवासी महिला को छत्तीसगढ़ का राज्यपाल बनाया गया जिसके लिए राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री का आभार व्यक्त करती हैं वहीं छत्तीसगढ़ में राज्यपाल के रूप में दायित्व दिया है पांचवी अनुसूचित राज्यपाल के पास सुरक्षित होता है इसके अंतर्गत में ध्यान रखूंगी कि आदिवासियों के साथ अन्याय ना हो मेरा प्रयास रहेगा कि सभी को न्याय मिलेगा वही अनसूया उनके ने कहा कि छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री से भी चर्चा की है प्रदेश में बेरोजगारी ज्यादा है उसके उन्मूलन का प्रयास जारी रहेगा योजनाओं का लाभ मिल रहा है समीक्षा करूंगी वही मरवाही क्षेत्र के लोगों के लिए जो भी होगा वह अच्छा होगा शांति सुख और कल्याण के दिशा के क्षेत्र में मेरी ओर से प्रयास जारी रहेगा वही अनुसुइया उइके ने कहा आजादी के 70 साल बाद जिन क्षेत्रों की विकास पिछड़ी हुई है उस पर खास ध्यान दिया जाएगा वहीं छत्तीसगढ़ प्रदेश में नक्सलवाद के मुद्दे पर अनसूया मरा वीके ने कहा वर्ष वर्षों की समस्या 6 महीनों में समाप्त नहीं की जा सकती प्रयास जारी है केंद्र और राज्य सरकार दोनों तमाम प्रकार से प्रयास कर रहे हैं नक्सलवाद की समस्या धीरे-धीरे ही समाप्त होगी जिस पर प्रयास भी जारी है वहीं कार्यक्रम में शामिल हुए अनुसूचित जनजाति के राष्ट्रीय अध्यक्ष नंदकुमार साय ने कहा जनजाति समाज के लोगों को संगठित करने का काम किया जा रहा है 72 सालों में जनजाति समाज का बस्तर इलाका में सर्वे नहीं हो पाया है इन क्षेत्रों में बहुत काम करना बाकी है जनजाति समाज को संगठित कर वह खड़ा कर एक नए भारत का निर्माण करना है


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बाइट अनुसुइया उइके राज्यपाल छत्तीसगढ़ शासन
बाइट नंद कुमार साहू राष्ट्रीय अध्यक्ष अनुसूचित जनजाति आयोग
Last Updated : Nov 16, 2019, 10:35 PM IST
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