गौरेला-पेंड्रा-मरवाही: जिले वासियों के स्वास्थ्य से जुड़ी एक अच्छी खबर है. अब जिले के लोगों को छोटे मोटे ऑपरेशन के लिए बिलासपुर और दूसरे शहरों का रुख नहीं करना पडे़गा. जिला अस्पताल में महिलाओं के प्रसव समेत दूसरे ऑपरेशन की सुविधा हो गई है.
जिला अस्पताल में सुविधाओं की बढ़ोतरी
नव गठित जिला गौरेला-पेंड्रा-मरवाही में लंबे समय से स्वास्थ्य व्यवस्था बदहाल थी. अस्पताल महज एक रेफर सेंटर बन कर रह गया था. जिला गठन के साथ ही लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा की अपेक्षा थी. गौरेला के सेनेटोरियम परिसर स्थित मातृ शिशु अस्पताल को तात्कालिक व्यवस्था के तहत जिला अस्पाताल के रूप में बदला गया था. जिला प्रशासन और जिले के स्वास्थ्य अमला प्रयास करते हुए यहां स्वास्थ्य सेवाओं में बढ़ोतरी कर रहा है. ऑपरेशन से जुड़े सामग्री का क्रय कर जिला अस्पताल में ऑपरेशन की सुविधा लोगों को मुहैया कराई है.
पढ़ें: EXCLUSIVE : छत्तीसगढ़ के इस अस्पताल को मिला देश के उत्कृष्ट हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर का अवॉर्ड
समय और पैसों की होगी बचत
जिले वासियों के साथ आसपास और मध्यप्रदेश के सीमावर्ती क्षेत्र के लोग जो स्वास्थ्य व्यवस्था के लिए पेंड्रा क्षेत्र पर ही आश्रित रहते थे, उनके लिए भी यह अच्छी और सुखद खबर है. पहले जिले वासियों के साथ ही मध्यप्रदेश के सीमावर्ती गावों के लोग इलाज के लिए पेंड्रा पहुंचते थे. यहां पर उन्हें प्राथमिक इलाज के बाद बिलासपुर या और दूसरे बड़े शहरों में भेजा जाता था. समय के साथ निजी अस्पतालों में इलाज के लिए ज्यादा पैसा देना पड़ता था.
इलाज के लिए बाहर नहीं जाना पड़ेगा
जिला अस्पताल में इलाज के लिए सुविधा मुहैया हो जाने के बाद अब लोगों को बाहर नहीं जाना पड़ेगा. छोटे मोटे ऑपरेशन के साथ महिलाओं के सुरक्षित प्रसव के दौरान होने वाले सीजर की भी व्यवस्था दुरुस्त कर ली गई है. पहला सीजर ऑपरेशन गौरेला के बांधामुड़ा गांव की रहने वाली महिला का सुरक्षित प्रसव भी कराया गया है.