बिलासपुर : अरपा नदी के तट पर स्थित छठघाट मैदान में शहर और आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों से आए लोगों ने अस्ताचल सूर्य को अर्घ्य दिया. रविवार को छठव्रती उगते सूरज को अर्घ्य देकर छठ पूजा का विधिवत समापन करेंगी.
बिलासपुर के इस छठघाट मैदान में हजारों की तादात में लोग एक साथ छठपूजा करते नजर आए. यह छठघाट मैदान देश के सबसे बड़े छठघाट मैदान के रूप में जाना जाता है.
सूर्य उपासना के इस पर्व की शुरुआत बिहार से मानी जाती है जिसका विस्तार अब पूरे देश में हो चुका है. छठ पर्व को विशेष सिद्धि का पर्व माना जाता है और ऐसी मान्यता है कि जो लोग पूरी निष्ठा से छठ माता की पूजा करते हैं तो उनकी मनोकामना जरूर पूरी होती है.
लोक आस्था के महापर्व छठ पूजा के तीसरे दिन विभिन्न छठ घाटों पर व्रतियों ने डूबते सूर्य की आराधना कर उन्हें दूध और जल का अर्घ्य दिया. इससे पहले छठ व्रती और श्रद्धालु डाला में पूजा की सभी सामग्री लेकर घाट पर पहुंचे. वहीं कई श्रद्धालुओं दंड प्रणाम देते हुए छठ घाट पहुंच कर भगवान भास्कर की आराधना की. इस दौरान घाटों पर हजारों की संख्या में श्रद्धालु मौजूद रहे.