बीजापुर: इस बार कोरोना संकट ने सारे त्योहारों की रौनक छीन ली. छत्तीसगढ़ में लगातार बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के बीच 3 अगस्त को रक्षाबंधन का त्योहार मनाया जाएगा. धुर नक्सल प्रभावित क्षेत्र बीजापुर के भैरमगढ़ में 5 महिला स्वसहायता समूह की महिलाएं रक्षाबंधन के लिए राखियां बना रही है. यहां महिलाएं बांस और ताड़ की लकड़ियों का इस्तेमाल कर राखियां बना रही है.
महिलाओं ने बताया कि वे रोजाना 120 से 150 राखियां बनाती हैं. वे कहती हैं कि इस बार त्योहारों पर भी कोरोना का असर पड़ा है. छत्तीसगढ़ में बीजापुर जिले में लॉकडाउन के चलते सारा बाजार बंद रहा है. वहीं ग्रामीण भी इससे डरे हुए हैं इसलिए घरों में ही रह रहे हैं.
प्रदेश के कई हिस्सों में गोबर और बांस से बनाई गई राखियां
बता दें कि प्रदेश में दो-तीन महीनों से लगातार कई जिलों में लोग हाथों से राखी बनाने की पहल कर रहे हैं. इस बार प्रदेश में गोबर और बांस की हाथ से बनी राखियों ने काफी सुर्खियां बटोरी. लोगों ने इस पहल को पसंद भी किया.
पढ़ें- 3 अगस्त को रक्षाबंधन का त्यौहार , दिनभर रहेगा मुहूर्त
रक्षाबंधन का त्यौहार इस साल कोरोना संक्रमण और लॉकडाउन के बीच में पड़ रहा है. रक्षाबंधन का त्यौहार श्रावण महीने की पूर्णिमा के दिन मनाया जाता है. इसलिए इसे कई जगह राखी पूर्णिमा भी कहते हैं. इस बार के रक्षाबंधन में सर्वार्थसिद्धि और आयुष्मान दीर्घायु का संयोग भी बन रहा है.
सुबह 9:28 से शुभ मुहूर्त
राखी बांधने के लिए मुहूर्त की बात की जाए तो राखी बांधने के लिए दिनभर मुहूर्त है. यह मुहूर्त सुबह 9:28 मिनट से शुरू होकर रात 9:27 मिनट तक रहेगा. रक्षाबंधन के दिन बहुत ही अच्छे ग्रह नक्षत्रों का संयोग बन रहा है. इस दिन सर्वार्थसिद्धि योग होने के कारण सारी मनोकामनाएं पूरी होती है. इसके अलावा इस दिन आयुष्मान दीर्घायु संयोग भी है.