बालोद: जिले के सहकारी संस्था की ओर से संचालित दूधगंगा के दूध खरीदने से इंकार करने पर किसानों ने हंगामा कर दिया. दुग्ध उत्पादक किसानों ने आरोप लगाया कि हम सुबह और शाम दोनों समय दूधगंगा में दूध बेचते थे, लेकिन अब इन्होंने दूध खरीदने से इंकार कर दिया है. इसी के चलते आक्रोशित किसानों ने करीब 300 लीटर दूध सड़क पर बहा दिया.
मामले की जानकारी जब बालोद कलेक्टर को लगी, तो उन्होंने किसानों से व्हाट्सएप के माध्यम से चर्चा की. जिस पर किसानों ने अपनी परेशानी बताते हुए उचित समाधान की मांग की है. इस पर कलेक्टर ने आश्वासन देते हुए कहा कि किसानों से दूध खरीदा जाएगा, हालांकि यह नहीं बताया है कि कब तक खरीदा जाएगा. वहीं दूध व्यापारियों ने भी किसानों पर कई आरोप लगाते हुए कलेक्टर से शिकायत की है. जब किसान विरोध स्वरूप दूध सड़क पर फेंक रहे थे, तब बहुत से लोगों की भीड़ मौके पर जमा हो गई थी. हालांकि जब कलेक्टर से दूध खरीदने का आश्वासन मिला, तो किसानों ने दूध बहाना बंद कर दिया. किसानों का कहना है कि अब कलेक्टर के लिखित आदेश का इंतजार है.
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किसानों ने किया रोड पर हंगामा
बता दें कि सैकड़ों किसान अपना दूध दूधगंगा के माध्यम से बेचते हैं, ऐसे में लॉकडाउन के दौरान उन्हें काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. गौरतलब है कि पूरे देश में लॉकडाउन लगा हुआ है. वहीं छत्तीसगढ़ सरकार ने एक ओर फरमान जारी करते हुए कहा है कि मई माह में हर शनिवार और रविवार को टोटल लॉकडाउन किया जाएगा, जिसके तहत सभी दुकानें और प्रतिष्ठान बंद रहेंगे. इसी के तहत दूधगंगा ने दूध खरीदने से मना कर दिया था, जिसके चलते किसानों ने हंगामा कर दिया.