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1 मार्च से आम आदमी को कैसे लगेगा कोरोना का टीका ?

छत्तीसगढ़ में 1 मार्च से अब आम लोगों के लिए भी वैक्सीनेशन की प्रक्रिया शुरू होने जा रही है. अब शासकीय और निजी अस्पतालों में भी आम लोग टीका लगवा सकेंगे. जानिए वैक्सीन लगाने की पूरी प्रक्रिया.

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Published : Feb 27, 2021, 6:42 PM IST

Updated : Jul 25, 2023, 8:01 AM IST

corona vaccine in Chhattisgarh from First March
स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव

सरगुजा: अब प्रदेश में जल्द ही आम लोगों को भी टीका लगने वाला है. प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव से ETV भारत ने वैक्सीनेशन को लेकर बातचीत की. मंत्री सिंहदेव ने बताया कि अब जल्द ही आम लोगों को कोरोना का टीका लगाया जाएगा. इसके लिए केंद्र सरकार ने अनुमति दे दी है.

कोरोना टीका को लेकर स्वास्थ्य मंत्री से बातचीत

पहले बुजुर्ग और बीमार व्यक्तियों को लगेगी वैक्सीन

कोरोना वैक्सीनेशन के लिए 1 मार्च से जो प्रक्रिया शुरू हो रही है. उसमें 60 साल से ज्यादा उम्र वाले व्यक्ति को पहली प्राथमिकता में रखा गया है. इसके अलावा 45 साल से ज्यादा उम्र वाले ऐसे लोग जो गंभीर बीमारियों से ग्रसित हैं उन्हें भी प्राथमिकता में शामिल किया गया है. वैसे लोग जिन्हें कोरोना का सबसे ज्यादा खतरा है. उनको सबसे पहले टीका लगाया जाएगा. सरकार की तरफ से फेज टू टीकाकरण में बीमार व्यक्तियों को प्राथमिकता में रखा गया है. लेकिन किन-किन बीमारियों को इसमें शामिल किया गया है. इसका जिक्र नहीं है. सूत्रों के मुताबिक हाइपरटेंशन, डायबिटीज, कैंसर के अलावा दिल, गुर्दे और फेफड़े से जुड़ी कुछ बीमारियों के मरीजों को प्राथमिकता मिल सकती है.

कहां लगेगा टीका ?

शुरुआत में हर संभाग में 2 सेंटर में शुरू करने की योजना है. एक निजी क्षेत्र में और एक शासकीय क्षेत्र में.

टीका मुफ्त होगा या देनी होगी कीमत ?

मंत्री सिंहदेव ने बताया कि निजी अस्पतालों में टीका लगवाने के लिए अस्पताल 100 रुपये प्रति व्यक्ति इंजेक्शन लगाने का चार्ज कर सकते हैं. साथ ही वैक्सीन की जो कीमत निर्धारित की जाएगी वो अस्पताल लेगा. अस्पतालों को वैक्सीन राज्य अपने कोटे से उपलब्ध कराएगा. लेकिन पैसा वो सीधे केंद्र को देंगे. यही व्यवस्था शासकीय अस्पताल में मुफ्त रहेगी.

को-विन एप में होगा अपडेट, शनिवार-रविवार को बंद रहेगा टीकाकरण

टीका लगवाने के लिए क्या करना होगा ?

मंत्री सिंहदेव ने बताया कि वैक्सीन लगवाने के लिए कोविन एप में रजिस्ट्रेशन कराना होगा. फिलहाल कोविन एप 2 दिन के लिए बंद किया गया है. इसे अपडेट किया जा रहा है. 2 दिन बाद कोविन एप 2 लांच होगा. जिसे सर्व साधारण के लिए खोल दिया जाएगा.

क्या ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन जरूरी है ?

ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन निजी अस्पतालों के लिए अनिवार्य है. लेकिन शासकीय अस्पताल में दस्तावेज दिखाकर भी रजिस्ट्रेशन कराया जा सकेगा. एक हफ्ते के बाद हर सेंटर में आम लोगों को टीका लगना शुरू हो जाएगा.

कैसे होगा वेरिफिकेशन?

सरकार ने लाभार्थी के वेरिफिकेशन के लिए 12 तरह के पहचान पत्रों की लिस्‍ट जारी की है. इसके अलावा मतदाता सूची से भी मिलान किया जाएगा. आधार नंबर, ड्राइविंग लाइसेंस, हेल्‍थ इंश्‍योरेंस स्‍मार्ट कार्ड, मनरेगा जॉब कार्ड, वोटर आईडी, पैन कार्ड, बैंक/पोस्‍ट ऑफिस के पासबुक, पासपोर्ट, पेंशन डॉक्‍यूमेंट, MP/MLA/MLC का आईडी कार्ड, सरकारी कर्मचारियों का सर्विस आईडी कार्ड, नेशनल पॉपुलेशन रजिस्‍टर के तहत जारी स्‍मार्ट कार्ड दिकाकर भी आप खुद को वेरिफाई करा सकते हैं.

निजी अस्पतालों को कैसे मिलेगी वैक्सीन

सूत्रों की माने तो निजी अस्पतालों को वैक्सीन देने की व्यवस्था की गई है. लेकिन अभी इसकी कीमत निर्धारित नहीं की गई है. निजी अस्पताल मामूली चार्ज लेकर वैक्सीन लोगों को लगाएगी.

वैक्सीनेशन के बाद कलेक्टर ने कहा सभी लगवाएं टीका

क्‍या होगी सेकेंड डोज की प्रक्रिया ?

जिन लोगों को वैक्‍सीन की पहली डोज मिलेगी, वे मोबाइल ऐप के जरिए एक QR आधारित सर्टिफिकेट डाउनलोड कर सकेंगे. वैक्‍सीन से जुड़ा अवेयरनेस मैटीरियल भी उनके लिए उपलब्‍ध होगा. पहली डोज के 28 दिन बाद दूसरी डोज लगेगी.

580 सेंटरों में शुरू होगी वैक्सीनेशन प्रक्रिया

टीएस सिंहदेव ने बताया कि टीकाकरण के पहले चरण में हेल्थ केयर वर्कर को टीका लगाया गया था. जिसमें 85.95% रजिस्टर्ड हेल्थ केयर वर्कर्स को वैक्सीन लगाई जा चुकी है. इसके बाद फरवरी महीने में वैक्सिनेशन के दूसरे चरण में फ्रंटलाइन वर्कर्स को टीका लगाया गया. इसमें भी 70.95% रजिस्टर्ड फ्रंटलाइन वर्कर्स को टीका लग चुका है. प्रदेश के 1 हजार 349 वैक्सिनेशन सेन्टर में से 580 सेंटर फ्रंटलाइन वर्कर्स के लिए आरक्षित किए गए थे. वो अगले एक हफ्ते तक फ्रंटलाइन वर्कर्स के लिए आरक्षित रहेंगे. एक हफ्ते बाद 580 सेंटर में भी सर्व साधारण के लिए टीकाकरण की प्रकिया शुरू कर दी जाएगी.

मीडिया कर्मी भी फ्रंटवारियर्स की तरह काम कर रहे थे, इन्हें क्यों फ्रंटलाइन वर्कर्स नहीं माना गया ?

ये मापदंड केंद्र सरकार ही बना रही है. राज्य को अगर अधिकार मिल जाए तो हम इसे अपना लेते. हमने सुझाव भी दिया था. ये माना जा रहा है की कम उम्र के लोग अधिक मजबूत हैं. कोरोना से लड़ने के लिए सिंहदेव आगे मुस्कुराते हुए बोले की शायद सरकार मीडिया के साथियों को अधिक जवान मान रही है. हालांकि अब कुछ दिनों की ही बात है, जल्द ही सभी को वैक्सीन मिल जाएगी. बस इसमें वैक्सीन की उपलब्धता को देखना होगा.

सरगुजा: अब प्रदेश में जल्द ही आम लोगों को भी टीका लगने वाला है. प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव से ETV भारत ने वैक्सीनेशन को लेकर बातचीत की. मंत्री सिंहदेव ने बताया कि अब जल्द ही आम लोगों को कोरोना का टीका लगाया जाएगा. इसके लिए केंद्र सरकार ने अनुमति दे दी है.

कोरोना टीका को लेकर स्वास्थ्य मंत्री से बातचीत

पहले बुजुर्ग और बीमार व्यक्तियों को लगेगी वैक्सीन

कोरोना वैक्सीनेशन के लिए 1 मार्च से जो प्रक्रिया शुरू हो रही है. उसमें 60 साल से ज्यादा उम्र वाले व्यक्ति को पहली प्राथमिकता में रखा गया है. इसके अलावा 45 साल से ज्यादा उम्र वाले ऐसे लोग जो गंभीर बीमारियों से ग्रसित हैं उन्हें भी प्राथमिकता में शामिल किया गया है. वैसे लोग जिन्हें कोरोना का सबसे ज्यादा खतरा है. उनको सबसे पहले टीका लगाया जाएगा. सरकार की तरफ से फेज टू टीकाकरण में बीमार व्यक्तियों को प्राथमिकता में रखा गया है. लेकिन किन-किन बीमारियों को इसमें शामिल किया गया है. इसका जिक्र नहीं है. सूत्रों के मुताबिक हाइपरटेंशन, डायबिटीज, कैंसर के अलावा दिल, गुर्दे और फेफड़े से जुड़ी कुछ बीमारियों के मरीजों को प्राथमिकता मिल सकती है.

कहां लगेगा टीका ?

शुरुआत में हर संभाग में 2 सेंटर में शुरू करने की योजना है. एक निजी क्षेत्र में और एक शासकीय क्षेत्र में.

टीका मुफ्त होगा या देनी होगी कीमत ?

मंत्री सिंहदेव ने बताया कि निजी अस्पतालों में टीका लगवाने के लिए अस्पताल 100 रुपये प्रति व्यक्ति इंजेक्शन लगाने का चार्ज कर सकते हैं. साथ ही वैक्सीन की जो कीमत निर्धारित की जाएगी वो अस्पताल लेगा. अस्पतालों को वैक्सीन राज्य अपने कोटे से उपलब्ध कराएगा. लेकिन पैसा वो सीधे केंद्र को देंगे. यही व्यवस्था शासकीय अस्पताल में मुफ्त रहेगी.

को-विन एप में होगा अपडेट, शनिवार-रविवार को बंद रहेगा टीकाकरण

टीका लगवाने के लिए क्या करना होगा ?

मंत्री सिंहदेव ने बताया कि वैक्सीन लगवाने के लिए कोविन एप में रजिस्ट्रेशन कराना होगा. फिलहाल कोविन एप 2 दिन के लिए बंद किया गया है. इसे अपडेट किया जा रहा है. 2 दिन बाद कोविन एप 2 लांच होगा. जिसे सर्व साधारण के लिए खोल दिया जाएगा.

क्या ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन जरूरी है ?

ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन निजी अस्पतालों के लिए अनिवार्य है. लेकिन शासकीय अस्पताल में दस्तावेज दिखाकर भी रजिस्ट्रेशन कराया जा सकेगा. एक हफ्ते के बाद हर सेंटर में आम लोगों को टीका लगना शुरू हो जाएगा.

कैसे होगा वेरिफिकेशन?

सरकार ने लाभार्थी के वेरिफिकेशन के लिए 12 तरह के पहचान पत्रों की लिस्‍ट जारी की है. इसके अलावा मतदाता सूची से भी मिलान किया जाएगा. आधार नंबर, ड्राइविंग लाइसेंस, हेल्‍थ इंश्‍योरेंस स्‍मार्ट कार्ड, मनरेगा जॉब कार्ड, वोटर आईडी, पैन कार्ड, बैंक/पोस्‍ट ऑफिस के पासबुक, पासपोर्ट, पेंशन डॉक्‍यूमेंट, MP/MLA/MLC का आईडी कार्ड, सरकारी कर्मचारियों का सर्विस आईडी कार्ड, नेशनल पॉपुलेशन रजिस्‍टर के तहत जारी स्‍मार्ट कार्ड दिकाकर भी आप खुद को वेरिफाई करा सकते हैं.

निजी अस्पतालों को कैसे मिलेगी वैक्सीन

सूत्रों की माने तो निजी अस्पतालों को वैक्सीन देने की व्यवस्था की गई है. लेकिन अभी इसकी कीमत निर्धारित नहीं की गई है. निजी अस्पताल मामूली चार्ज लेकर वैक्सीन लोगों को लगाएगी.

वैक्सीनेशन के बाद कलेक्टर ने कहा सभी लगवाएं टीका

क्‍या होगी सेकेंड डोज की प्रक्रिया ?

जिन लोगों को वैक्‍सीन की पहली डोज मिलेगी, वे मोबाइल ऐप के जरिए एक QR आधारित सर्टिफिकेट डाउनलोड कर सकेंगे. वैक्‍सीन से जुड़ा अवेयरनेस मैटीरियल भी उनके लिए उपलब्‍ध होगा. पहली डोज के 28 दिन बाद दूसरी डोज लगेगी.

580 सेंटरों में शुरू होगी वैक्सीनेशन प्रक्रिया

टीएस सिंहदेव ने बताया कि टीकाकरण के पहले चरण में हेल्थ केयर वर्कर को टीका लगाया गया था. जिसमें 85.95% रजिस्टर्ड हेल्थ केयर वर्कर्स को वैक्सीन लगाई जा चुकी है. इसके बाद फरवरी महीने में वैक्सिनेशन के दूसरे चरण में फ्रंटलाइन वर्कर्स को टीका लगाया गया. इसमें भी 70.95% रजिस्टर्ड फ्रंटलाइन वर्कर्स को टीका लग चुका है. प्रदेश के 1 हजार 349 वैक्सिनेशन सेन्टर में से 580 सेंटर फ्रंटलाइन वर्कर्स के लिए आरक्षित किए गए थे. वो अगले एक हफ्ते तक फ्रंटलाइन वर्कर्स के लिए आरक्षित रहेंगे. एक हफ्ते बाद 580 सेंटर में भी सर्व साधारण के लिए टीकाकरण की प्रकिया शुरू कर दी जाएगी.

मीडिया कर्मी भी फ्रंटवारियर्स की तरह काम कर रहे थे, इन्हें क्यों फ्रंटलाइन वर्कर्स नहीं माना गया ?

ये मापदंड केंद्र सरकार ही बना रही है. राज्य को अगर अधिकार मिल जाए तो हम इसे अपना लेते. हमने सुझाव भी दिया था. ये माना जा रहा है की कम उम्र के लोग अधिक मजबूत हैं. कोरोना से लड़ने के लिए सिंहदेव आगे मुस्कुराते हुए बोले की शायद सरकार मीडिया के साथियों को अधिक जवान मान रही है. हालांकि अब कुछ दिनों की ही बात है, जल्द ही सभी को वैक्सीन मिल जाएगी. बस इसमें वैक्सीन की उपलब्धता को देखना होगा.

Last Updated : Jul 25, 2023, 8:01 AM IST
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